छत्तीसगढ़: नर्स अपहरण कांड के आरोपी पुलिस के शिकंजे में… महिला के पहचान के व्यक्ति ने रची थी साजिश… डरा-धमका कर 2 करोड़ रुपए वसूलने की थी प्लानिंग

कोरबा. 25 दिसंबर की रात करीब 08:30 बजे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भिलाई बाजार में कार्यरत एक नर्स को अज्ञात सर्पियो सवार अपहरणकर्ताओं द्वारा अपहरण किए जाने की सूचना मिलने पर चौकी हरदीबाजार थाना कुसमुंडा में अपराध क्र. –592/2021 धारा 365 भादवि पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया था.

घटना की सूचना मिलने पर कोरबा एसपी भोजराम पटेल, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अभिषेक वर्मा, नगर पुलिस अधीक्षक दर्री लितेश सिंह रात में ही घटनास्थल पर पहुंचकर घटनास्थल का मुआयना किया एवं अलग अलग टीम का गठन कर अलग अलग दिशाओं में भेजा गया  तथा पूरे कोरबा जिले में नाकेबन्दी करवाकर संदिग्ध वाहनों की चेकिंग करवाया जा रहा था.

बिलासपुर आईजी रतनलाल डांगी घटना की सूचना मिलने पर रात में ही 1:00 बजे पुलिस चौकी हरदी बाजार पहुंचे एवं मामले के बारे में जानकारी लेकर अधिकारियों को उचित दिशा निर्देश गए थे.

पुलिस टीम द्वारा रात में ही अलग-अलग दिशाओं में अपहृत महिला एवं अपहरणकर्ताओं के भागने के सभी रास्तों पर सघन चेकिंग अभियान चलाया जा रहा था. पुलिस के बढ़ते दबाव एवम सभी दिशाओं में की गई नाकेबंदी के कारण अज्ञात अपहरणकर्ताओं द्वारा अपहृत  महिला को ग्राम रतीजा के आगे जंगल में छोड़कर फरार हो गए थे. जिसे पुलिस टीम द्वारा बरामद कर परिजनों को सुपुर्द कर दिया गया था.

अपहृत महिला के बरामद हो जाने से पुलिस टीम को तत्कालिक सफलता मिल गई थी किंतु अज्ञात आरोपीगण के गिरफ्तारी एवं अपहरण के कारण का पता लगाने के लिए आईजी रतनलाल डांगी द्वारा पुलिस अधीक्षक कोरबा को निर्देश दिए गए थे.

वाहन के रजिस्ट्रेशन नंबर ने पहुंचाया आरोपियों तक

मामले में पूछताछ के दौरान एक प्रत्यक्षदर्शी ने बताया था कि अज्ञात अपहरणकर्ताओं द्वारा जिस स्कॉर्पियो वाहन में  अपहरण किया था. वह  CG-12 पासिंग की थी, इस आधार पर CG-12 पासिंग के सफेद रंग के स्कॉर्पियो के पंजीकृत स्वामियों का जानकारी परिवहन कार्यालय कोरबा से प्राप्त किया गया. सभी वाहनों के बारे में पता किया गया. साथ ही प्रथम दृष्टया ऐसा प्रतीत हो रहा था कि घटना को महिला के किसी करीबी व्यक्ति के द्वारा ही किया गया है, इस आधार पर घटनास्थल के आसपास के इलाके में चलने वाले स्कॉर्पियो वाहन को पहले टारगेट में किया गया. परिवहन कार्यालय से जानकारी प्राप्त हुआ कि कुसमुंडा, गेवरा, हरदी बाजार, दीपका  इलाके में CG 12 पासिंग की कुल 21 स्कार्पियो वाहन चल रही हैं. इस आधार पर सभी 21 स्कॉर्पियो वाहन के बारे में गोपनीय तौर पर जानकारी एकत्रित किया गया कि घटना दिनांक को वाहन कहां-कहां पर चल रहे थे.

पतासाजी के दौरान  जानकारी प्राप्त हुआ कि स्कॉर्पियो क्रमांक सीजी-12-AW-4542 जो संदीप कुमार मानिकपुरी के नाम पर पंजीकृत है. जिसे वाहन चालक अरविंद प्रताप कोर्राम घटना दिनांक को चला रहा था. अरविंद प्रताप कोर्राम को हिरासत में लेकर पूछताछ करने पर उसने बताया कि संजीव कुमार गोंड़ नामक व्यक्ति घटना दिनांक को 3 हजार रुपए में वाहन को बुक किया था. अरविंद प्रताप सिंह से सख्ती से पूछताछ करने पर उसने पूरे घटना के बारे में विस्तार से जानकारी दी. अरविंद प्रताप सिंह से मिली जानकारी के आधार पर संजीव कुमार गोंड़ पिता नारायण सिंह गोंड़ निवासी ग्राम चोढा चौकी हरदीबाजार को हिरासत में लेकर पूछताछ की गई. जिसने बताया कि आरोपी सुरेंद्र कुमार राठौर पिता शत्रुघ्न राठौर निवासी भठोरा चौकी हरदी बाजार का मामले का मास्टर माइंड है. जिसने संजीव कुमार गोंड को महिला के अपहरण हेतु 3 लाख रुपए में सुपारी दिया था. घटना के कुछ दिन पूर्व आरोपी सुरेंद्र कुमार राठौर संजीव कुमार गोंड़ शत्रुघ्न सिंह गोंड, गोवा राज एवं सुनील सिंह आपस में मिलकर महिला के अपहरण के बारे में योजना बनाए.

उधार का रकम वसूलने एवं मुआवजे की रकम बनी अपहरण का मुख्य कारण

आरोपी सुरेंद्र कुमार राठौर पूर्व में अपहृत महिला को 80 हजार रुपए उधार में दिया था. जिसे महिला वापस नहीं कर रही थी. साथ ही महिला को मुआवजा में बड़ी रकम मिली थी जिससे लालच में आकर आरोपी सुरेंद्र राठौर ने अपहरण की योजना बनाई.

महिला का करीबी निकला मुख्य साजिशकर्ता

मामले में गिरफ्तार आरोपी सुरेंद्र कुमार राठौर महिला से पूर्व परिचित एवं उसके परिवार का करीबी है, जिसे मालूम था, कि महिला को एसईसीएल से मुआवजे में बड़ी रकम मिली है. आरोपी सुरेंद्र कुमार राठौर की योजना थी कि महिला को अपहरण कर उससे 2 करोड़ रुपए फिरौती की मांग की जाए, क्योंकि महिला के पति की मौत हो चुकी है और महिला अकेले रहती है, इसलिए आसानी से उसे रकम हासिल किया जा सकता है. सुरेंद्र राठौर ने योजना बनाया की संजीव कुमार गोंड़ अपने साथियों के साथ स्कॉर्पियो में लेकर महिला को जंगल की ओर चले जाएगा. बाद में सुरेंद्र कुमार राठौर महिला को खोजते खोजते घटनास्थल की ओर पहुंचेगा और महिला और अपहरणकर्ताओं के बीच मध्यस्थ की भूमिका निभा का रकम देने हेतु तैयार करेगा.

इस तरह से दिया घटना को अंजाम

मुख्य आरोपी एवं साजिशकर्ता सुरेंद्र कुमार राठौर ने अन्य आरोपीगण को बताया कि महिला प्रतिदिन रात्रि में 8:00 बजे ड्यूटी के लिए जाती है, घर से निकलते ही उसका अपहरण किया जा सकता है. घटना दिनाक को महिला जैसे ही अपने घर से ड्यूटी के लिए बाहर निकलती उसे वहीं पर अपहरण करना था, किंतु वहां पर भीड़ होने के कारण आरोपीगण अपने प्लान में बदलाव किया और महिला को पीछा करते हुए सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भिलाईबाजार तक पहुंचे और जैसे ही महिला अस्पताल के पास पहुंची, आरोपी संजीव कुमार गोंड़ और शत्रुघ्न गोंड नीचे उतरे और महिला को जबरन उठाकर वाहन में भर लिया और फरार हो गए.

रात भर जंगल में अलग-अलग रास्तों पर घुमाया

मामले में अपहृत महिला को आरोपी गण संजीव कुमार गोंड़ शत्रुघ्न गोंड, अरविंद प्रताप सिंह गोवा राज और सुनील सिंह स्कॉर्पियो वाहन में लेकर रतीजा के आगे और बोइदा के बीच के जंगलों में अलग-अलग लोकेशन पर रातभर घुमाते रहे और सुरेंद्र कुमार राठौर के अगले आदेश का इंतजार करते रहे.

सहानुभूति हासिल करने आरोपी सुरेंद्र राठौर निकला महिला की तलाश में

मुख्य आरोपी सुरेंद्र राठौर अपहृत महिला एवं परिवार की सहानुभूति प्राप्त करने हेतु अपने एक अन्य साथी मुकेश यादव नामक व्यक्ति के साथ रात में ही कड़कड़ाती ठंड में बुलेट मोटरसाइकिल से आरोपी को खोजने हेतु निकला और अलग-अलग स्थानों पर रातभर खोजने का नाटक करता रहा.

पुलिस की कड़ी नाकेबंदी से महिला को जंगल में छोड़ कर भागे

घटना की सूचना मिलते ही कोरबा पुलिस द्वारा आरोपीगण के भागने के संभावित रास्तों पर कड़ी नाकेबंदी कर दी गई थी और लगातार वाहनों की चेकिंग की जा रही थी. जिसकी सूचना सोशल मीडिया के माध्यम से हो गई थी. अपहरणकर्ता जंगल में अलग-अलग दिशाओं में घूम रहे थे. अपहरणकर्ताओं ने सुरेंद्र राठौर को फोन कर बताया कि चारों तरफ पुलिस की नाकेबंदी है पकड़े जाने का खतरा है. हम लोग महिला को लेकर बाहर नहीं नहीं जा सकते, पकड़े जाने से भयभीत होकर महिला को बोइदा के पास जंगल में छोड़ कर भाग गए. इसके बाद इसके बाद आरोपी सुरेंद्र कुमार राठौर महिला को खोजते हुए बोइदा जंगल में ओर पहुंचा और अपने बुलेट में बैठा कर वापस लेकर आया. महिला को पुलिस के पास न ले जाकर कर सीधे खरमोरा हाउसिंग बोर्ड स्थित अपने घर पर ले गया और अपहरणकर्ताओं द्वारा जंगल में छोड़े जाने और सुरेंद्र कुमार राठौर के द्वारा महिला को जंगल से घर तक लाने की बात को पुलिस को न बताने हेतु समझाया.

घटना में प्रयुक्त स्कॉर्पियो वाहन जप्त, 05 आरोपी गिरफ्तार

मामले में आरोपीगण द्वारा घटना में उपयोग किए गए स्कार्पियो वाहन सीजी-12 AW 4542 को बरामद कर जप्त कर लिया गया है. मामले में मुख्य साजिशकर्ता आरोपी सुरेंद्र कुमार राठौर, अरविंद प्रताप सिंह, शत्रुघ्न सिंह ,संजीव कुमार, गोवा राज को गिरफ्तार कर लिया गया है. जिन्हें न्यायिक रिमांड पर भेजा जा रहा है। 01 आरोपी सुनील कुमार सिंह फरार है. जिसे शीघ्र ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा.

पुलिस अधीक्षक ने 10 हजार रुपए नगद इनाम की घोषणा की

उपरोक्त मामले में अपहृत महिला को बरामद करने एवं आरोपीगण को गिरफ्तार करने में शामिल सभी अधिकारी कर्मचारियों को पुलिस अधीक्षक कोरबा भोजराम पटेल ने 10 हज़ार रुपए नगद पुरस्कार से पुरस्कृत करने की घोषणा की है.
     
इस कार्यवाही में  थाना प्रभारी कुसमुंडा निरीक्षक लीलाधर  राठौर, चौकी प्रभारी हरदी बाजार निरीक्षक अभय सिंह बैस, सायबर सेल प्रभारी उप निरीक्षक कृष्णा साहू, प्रधान आरक्षक अश्वनी वर्मा, आर जितेंद्र रात्रे, संजय चंद्रा, डेमन ओगरे, विकेश्वर सिंह, प्रशांत सिंह, रवि चौबे, गंगाराम डांडे का महत्वपूर्ण योगदान रहा है.

गिरफ्तार आरोपीगण-

1- सुरेंद्र कुमार राठौर पिता शत्रुघ्न राठौर, उम्र 25 वर्ष निवासी भठोरा चौकी हरदी बाजार
2-  संजीव कुमार गोंड पिता नारायण सिंह रोड, उम्र 30 वर्ष निवासी ग्राम चोढा  चौकी हरदी बाजार
3- अरविंद प्रताप सिंह कोर्राम पिता विशाल सिंह कोराम, उम्र 27 वर्ष निवासी गांधीनगर सिरकी पाली रोड थाना दीपका
4- सत्रुघन सिंह रोड पिता गोलन सिंह, उम्र 35 वर्ष निवासी ग्राम चोढा  चौकी हरदी बाजार
5- गोवा राज पिता सुखदेव सिंह राज, उम्र 43 वर्ष निवासी चोढा चौकी हरदी बाजार