अडाणी फाउंडेशन ने किया माहवारी स्वच्छता कार्यक्रम का आयोजन… महिलाओं को बांटें गए सेनेटरी पैड्स



सरगुजा: महिलाओं तथा युवतियों को माहवारी स्वच्छता के बारे में जागरूक करने के लिए अडाणी फाउंडेशन ने सरगुजा ज़िले के उदयपुर ब्लॉक में कई कार्यक्रमों का आयोजन किया। इस जागरूकता अभियान के तहत 28 मई से 10 जून तक जजगी, पटरापारा, पलका तथा परसा में विशेष शिविर लगाए गए और माहवारी स्वच्छत्ता के बारे में बताने के साथ-साथ महिलाओं को सेनेटरी पैड भी बांटे गए।

कार्यक्रम के दौरान फाउंडेशन के विशेषज्ञों ने इस बार पर ख़ास ध्यान दिया की शिक्षा के अभाव में गावों तथा दूर – दराज़ के इलाकों में रहने वाली काफी महिलाएं सेनेटरी पैड इस्तेमाल नहीं करती हैं, जिसकी वजह से उन्हें कई तरह की बीमारियों का भी खतरा बना रहता है। फाउंडेशन द्वारा पहला जागरूकता शिविर 28 मई को परसा में लगाया गया था, उसके बाद शिविरों का आयोजन जजगी, पतरापार और सलका में किया गया। कार्यक्रम में कुल मिला कर 250 से अधिक महिलाओं ने भाग लिया और भिन्न-भिन्न वर्कशॉप्स के माध्यम से सेनेटरी पैड का इस्तेमाल और माहवारी स्वच्छता के पहलुओं को जाना।

सरगुजा में सेनेटरी पैड्स के इस्तेमाल को बढ़ावा देने तथा माहवारी से सम्बंधित भ्रांतियाँ को दूर करने के महिला उद्द्यमी बहुउद्देशीय सहकारी समिति (MUBSS) ने गुमगा गांव में सेनेटरी पैड प्रोडक्शन यूनिट की भी स्थापना की है। इस प्रोडक्शन यूनिट में उत्तम क्वालिटी की सेनेटरी पैड बनायीं जाती हैं जो की पर्यावरण की नुक्सान भी नहीं पहुँचाती है।

पतरापारा में हुए तीसरे कार्यक्रम में जनपद अध्यक्ष भोजवंती सिंह, उदयपुर की बी डी सी एवं गा्म संगठन की सी आर पी पूष्पलता गुप्ता भी आयीं थी। पलका में हुए आखरी कार्यक्रम में भाजपा महिला मोर्चा की जिला अध्यक्ष फूलेश्वरी पैकरा, कल्पना भदौरिया, तपस्या पैकरा एवं मितानिन आंगनबाड़ी कार्यकर्ता समूह की महिलाओं ने भी भाग लिया और वर्कशॉप में शामिल आयी महिलाओं उत्साहवर्धन किया।

गौरतलब है कि मब्स की महिला सदस्यों द्वारा स्थापित, मसाला निर्माण, मास्क, सेनेटरी नेपकिन, केंचुआ खाद व कपड़ा बैग निर्माण इत्यादि यूनिट के माध्यम से स्थानीय महिलाओं को स्वरोजगार से जुड़ने का मौका मिला है। इससे सरगुजा व आस-पास की अनेकों महिलाओं को बेहतर आमदनी के अनेकों अवसर प्राप्त हुए हैं। जिनके जरिए वो न सिर्फ अपने परिवार को आर्थिक रूप से मदद कर रही हैं बल्कि अन्य माता पिता को बालिकाओं की अच्छी परवरिश व उच्च शिक्षा के लिए जागरूक बनाने में भी सफल हो रही हैं।