निगम को 950 दुकानो से 65 लाख रुपए वसूलने की चुनौती…

[highlight color=”blue”]किराया नही जमा करने वाले दुकानदारो की दुकाने होगी निरस्त..[/highlight]

 

[highlight color=”red”]अम्बिकापुर[/highlight]

 

अम्बिकापुर नगर निगम क्षेत्र मे निगम स्वामित्व की 950 दुकान है। जिसके हर महीने निगम को किराया के रुप मे आय़ प्राप्त होती है। इस वर्ष निगम को इन 950 दुकानो से 65 लाख रुपए का राशि वसूलना है। लेकिन कुछ दुकानो संचालको द्वारा प्रति माह किराया ना पटाने के कारण निगम को प्रति माह राजस्व की हानि भी होती है। हांलाकि ऐसे मामलो मे निगम के प्रावधानो को मुताबिक राशि वसूल तो ली जाती है। लेकिन सही समय मे राशि ना मिल पाने के काऱण निगम का आर्थिक कठिनाईयो का सामना करना पडता है।

निगम के राजस्व विभाग के मुताबिक शहर के डेढ दर्जन स्थान पर निगम स्वामित्व की दुकाने संचालित है। जिससे निगम को किराया के रुप मे प्रतिवर्ष लाखो रुपए की आय प्राप्त होती है। इसी तरह इस वर्ष निगम स्वामित्व की 950 छोटी बडी दुकानो से निगम को 65 लाख रुपए की वसूली करना है। जिसके एवज मे निगम के राजस्व अमले ने पिछले तीन महीने मे 18 लाख रुपए की वसूली कर ली है। लेकिन इस वसूली मे कुछ ऐसे दुकानदार भी है जो तीन महीने मे किसी भी महीने का किराया नही जमा किए है। गौरतलब है कि शहर मे संचालित इन दुकानो से 12 लाख पिछले सत्र की राशि भी वसूलना है।

[highlight color=”blue”]जुर्माना का प्रवाधान[/highlight]

अम्बिकापुर के राजस्व अलमे के पास हर वर्ष करोडो की राजस्व वसूली का दारोमदार होता है। लेकिन कई मामलो मे निगम का राजस्व अमला वसूली करने मे असक्षम रहता है। जिनमे से कुछ रसूकदार तो कुछ दंबग और नेता किस्म के व्यक्तियो से निगम को किराया वसूलने मे काफी दिक्कतो का सामना करना पडता है। जिसके लिए निगम मे जुर्माना का प्रावधान भी है। निगम के राजस्व अधिकारी अमरेश सिंह के मुताबिक समय पर किराया जमा नही करने वाले दुकान संचालको के खिलाफ एक महीने मे 50 , दो महीने पर 100  औऱ तीसरे महीने मे 2150 रुपए का जुर्माना लगाया जाता है। इतना ही नही सील की गई दुकानो को फिर से खोलने के लिए बकाया किराया के साथ तीन महीने का जुर्माना और सील खोलने का 2000 रुपए भी अतिरिक्त शुल्क लिया जाता है। जिसके बाद दुकान को खोलने का प्रवाधान है।

[highlight color=”blue”]नोटिस और निरस्तीकरण की प्रकिया[/highlight]

गौरतलब है कि निगम की दुकानो का तीन महीने तक किराया नही पटाने वाले दुकान संचालको को तीन बार नोटिस दी जाती है। उसके बाद दुकान को सील किया जाता है। और सील नही करने के बाद भी अगर कोई दुकानदार जुर्माना पटाकर दुकान नही खुलवाता है तो फिर दुकान के आबंटन को निरस्त करने का प्रस्ताव राजस्व विभाग द्वारा एमआईसी और सामान्य सभ मे रखा जाता है।

वित्तीय वर्ष 2016-17 मे ऐसी ही 18 दुकाने निगम के राजस्व अमले की लिस्ट मे है। जिनको 48 घंटे की अंतिम नोटिस दी जा चुकी है। ऐसे मे अगर ये दुकान संचालक 48 घंटे के भीतर जुर्माना सहित बकाया राशि नही जमा करते है तो फिर इनके निरस्तीकरण का प्रस्ताव आगे के सदन मे भेज दिया जाएगा। जानकारी के मुताबिक पिछले सत्र मे किराया ना पटाने वाले पुराना बस स्टैंड के ऐसे ही 8 दुकानदारो की दुकान सामान्य सभा द्वारा निरस्त भी की जा चुकी है।
[highlight color=”blue”]स्थान जहा संचालित है निमग स्वामित्व की दुकान [/highlight]

अम्बिकापुर नगर निगम क्षेत्र के मालवीय मार्केट ,स्कूल रोड ,स्टेडियम , स्टेडियम काम्पलेक्स के सिटिंग टायर , न्यायालय के सामने स्टेडियम काम्पलेक्स , गांधी चौक , रामानुजगंज चौक , मणिपुर स्कूल के सामने , पुराना बस स्टैंड ,नया बस स्टैंड ,प्रतिक्षा बस स्टैंड , मठपारा, बनारस रोड , मैरिन ड्राईव ,निगम काम्पलेक्स जैसे स्थानो मे निगम स्वामित्व की दुकान संचालित है।