Chhattisgarh News: बिना दुल्हन बैरंग वापस लौटा दूल्हा, जानिए वजह

सूरजपुर। ग्रामीणों में बाल विवाह रोकने के प्रति जागरूकता आने लगी है। लोग नाम नहीं बताने की शर्त पर बाल विवाह रूकवा रहे हैं। तात्कालिक सूचना 1098 पर प्राप्त हुई कि ग्राम जूर बंजा बसदेई क्षेत्र मे एक नाबालिक का विवाह होने वाला है बारात आ गई है।

सूचना प्राप्त होने पर जिला बाल संरक्षण अधिकारी ने संयुक्त टीम बनाकर बाल विवाह रोकने के लिए जिला बाल संरक्षण इकाई महिला बाल विकास विभाग चाईल्ड लाईन सब सेन्टर ओड़गी एवं पुलिस विभाग चौकी बसदेई द्वारा मौके पर जा कर जांच किया गया। पता चला कि लड़की यहां नहीं पढ़ी है। कोई शैक्षणिक दस्तावेज उनके पास नहीं है। प्राथमिक शाला के प्रधान पाठक से सम्पर्क किया गया और शैक्षणिक दस्तावेज दाखिल खारिज पंजी का नकल मांगा गया। जिसे शिक्षक द्वारा शैक्षणिक दस्तावेज देने पर पता चला कि बालिका अभी 17 वर्ष की भी नहीं हुई है।

दोनो पक्ष को समझाईश दिया गया कि यदि यह विवाह हो जाता है। तो दोनों पक्ष के बहुत लोगो को सजा हो जायेगी, इस लिए विवाह को स्थगित किया जाये और बारात को बिना दुल्हन के ही वापस जाना पड़ेगा। दोनो पक्ष विवाह रोकने पर राजी नहीं थे। दोनों पक्ष विवाह हो जाने देने बहुत खर्च हो जाने की बात कर रहे थे। टीम द्वारा विवाह रोकने पर डट जाने से बाद में दोनों पक्ष विवाह नहीं करने को राजी हुए चाईल्ड लाईन द्वारा बालिका को बाल कल्याण समिति में प्रस्तुत किया गया।

जहां से उन्हें अभी पढ़ने की समझाईश दि गई और जब उम्र हो जाये तब विवाह हेतु कहा गया। बाल विवाह रोकवाने में जिला बाल संरक्षण अधिकारी मनोज जायसवाल, अखिलेश सिंह बाल संरक्षण अधिकारी संस्थागत देखरेख जैनेन्द्र दुबे, जर्नादन यादव बसदेई प्रधान आरक्षक राहुल गुप्ता, सुरेश साहू, श्रीमती चन्द्रकला जायसवाल एवं आंगनबाड़ी कार्यकर्ता उपस्थित थे।