राजपुर सीईओ के खिलाफ 25 हजार का जुर्माना : RTI के तहत जानकारी नही देने का मामला

अम्बिकापुर

अधिवक्ता और आरटीआई कार्यकर्ता डीके सोनी नें सन् 2011 में जनपद पंचायत राजपुर के जनसूचना अधिकारी से सूचना के अधिकार के तहत जानकारी जानकारी मांगी थी। जिसमें आरटीआई कार्यकर्ता द्वारा रोजगार गारंटी योजना के तहत जनपद में संलग्न किराए के वाहनो की संख्या , वाहनो के किराए की राशि , उसका बिल बाउचर के साथ किराए के उक्त वाहनो का रजिस्टेशन एवं बीमा के कागजों की मांग की गयी थी । लेकिन राजपुर जनपद सीईओ और जनसूचना अधिकारी नें समय पर जानकारी नही दी । जिसके बाद डीके सोनी द्वारा इस प्रकरण में 14 अक्टूबर 2014 को प्रस्तुत किया । जिसमें प्रथम अपीलीय अधिकारी के समक्ष जन सूचना अधिकारी द्वारा 3 पेज की अधूरी जानकारी प्रदान कराई गई । और प्रथम अपीलीय अधिकारी ने कोई आदेश जानकारी देने हेतु पारित नहीं किया गया । जिसकं कारण आरटीआई कार्यकर्ता नें धारा 18 के तहत राज्य सूचना आयोग में शिकायत प्रस्तुत की।

इस शिकायत के प्रकरण पर राज्य सूचना आयोग ने शिकायत पंजीबद्ध करते हुए जन सूचना अधिकारी आरएचएस पैकरा मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत राजपुर को 21 जूलाई 2015  को कारण बताओं सूचना पत्र को जारी किया गया । लेकिन वो सुनावाई के दौरान प्रस्तुत नही हुए,, और ना ही उन्होने कोई जवाब दिया । इसलिए राज्य सूचना  आयोग नें उनके विरूद्ध एक पक्षीय कार्यवाही कर दी ।

इस प्रकरण में जन सूचना अधिकारी को अधिनियम की धारा 18(1) (बी) ( सी) का दोषी पाया गया । इसके बाद राज्य सूचना आयोग नें अनावेदक जन सूचना अधिकारी तथा मुख्य कार्यपानल अधिकारी जनपद पंचायत आर एसएच पैकरा पर अधिनियम  की धारा 20(1) के अंतर्गत 250 रू0 प्रतिदिन के हिसाब से 25000 जुुर्माना आरोपित किया है। साथ ही ये भी आदेश दिया है कि वसूली की राशि की वसूली जन सूचना अधिकारी के वेतन से कटौती कर शासकीय कोष मेे जमा कराया जाएगा। जिसके लिए राज्य सूचना आयोग नें कलेक्टर और जिला पंचायत सीईओ के पास भी जानकारी भेज दी है।