घर पर ही रहकर ठीक हो गए 104 कोरोना के मरीज.. 127 का इलाज जारी

अम्बिकापुर. वैश्विक महामारी कोरोना से निपटने के लिए जिले के मेडिकल अस्पताल कोविड़ सेन्टर सहित सांई आईसोलेशन सेन्टर, घंघरी आईसोलेशन सेन्टर, सीएचसी उदयपुर, बतौली, मैनपाट तथा सकालो में आईसोलेशन सेन्टर स्थापित किए गए हैं.. इन सेन्टरों में कोरोना मरीजों को भर्ती कर स्वास्थ्य विभाग द्वारा बेहतर ईलाज तो किया जा रहा है… पर बढते कोरोना मरीजो की संख्या औऱ सरकार की गाईड लाईन के मुताबिक कोरोना मरीजो का इलाज होम आईसोलेशन मे शुरु हो चुका है… स्वास्थ्य विभाग के निर्देश पर सरगुजा जिले में होम आईसोलेशन प्राप्त करने वाले कुल 231 कोविड के मरीज है.. जिनमें 104 ठीक हो चुके है.. वही 127 लोग चिकित्सकीय परामर्ष उपरांत अभी भी होम आईसोलेशन में है.. इधर स्वास्थ विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक होम आईसोलेषन के लिए जिला स्तर पर कोविड कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है जहां से संबंधित की मॉनिटरिंग नियमित रूप से की जा रही है।

स्वास्थ्य विभाग द्वारा उपलब्ध कराए जा रहे निःशुल्क चिकित्सीय परामर्श एवं आवश्यक दवाई से बिना लक्षण वाले कोरोना के मरीज अब होम आईसोलेशन को प्राथमिकता दे रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग द्वारा निर्धारित दिशा निर्देशानुसार होम आईसोलेशन के लिए मरीज के लिए अलग कमरा और शौचालय होना जरूरी है। कमरे में परिवार के अन्य सदस्यों का आना-जाना नहीं चाहिए। कलेक्टर श्री संजीव कुमार झा के द्वारा होम आईसोलेशन के लिए शासन द्वारा निर्धारित मापदण्ड़ो का पालन कराने के निर्देश दिए गए हैं। इसके साथ ही मरीज के घर से घरेलू अपशिष्ट पदार्थों के संग्रहण एवं इसके समुचित प्रबंधन के लिए भी जरूरी व्यवस्था मुहैया कराने के निर्देश दिए गए हैं।

कोरोना से बचाव हेतु यह करें

अपने मोबाईल फोन पर आरोग्य सेतु एप्प डाउनलोड करें जिससे कोविड संबधित सभी जानकारी प्राप्त करें। किसी भी स्थिति में मरीज आइसोलेषन अवधी में अपने घर से बाहर न निकलें। मरीज हमेषा ट्रिपल लेयर मेडिकल मास्क पहनकर 8 घंटे बाद बदल दें। मरीज अपने कमरे में उन चीजें  को जिसे बार-बार छुआ जाता है जैसे टेबल,दरवाजा का हैंण्डल,मोबाईल फोन कम्प्यूटर,रिमोट इत्यादि को साफ रखें। मरीज ज्यादा से ज्यादा आराम करें। किसी भी स्थिति में शरीर में पानी कम होने न दें। प्रतिदिन तीन बार कार्बोहाइड्रेट,उच्च प्रोटीन युक्त आहार,सब्जी और फलों का सेवन करे। मरीज हमेषा मास्क,रूमाल या अपनी कोहनी ढॅंक कर खॉसे या छीकें। मरीज आइसोलेषन के दौरान किसी भी प्रकार का नषा षराब अथवा धूम्रपान ना करें। जॉच के बाद तापमान, पल्स रेट और कोई अन्य लक्षण को मरीज द्वारा संलग्न प्रपत्र पर समय और तारीख के साथ नोट किया जाना। मरीज का तापमान 100 एफ से ज्यादा हो या पल्स 100 बीटस प्रति मिनट से अधिक हो तो तुरंत स्वास्थ्य दल से सम्पर्क करें। बुखार के अलावा कोविड-19 के नीचे दिये गये लक्षणों के लिये मरीज एवं उनके अटेडेंट  पूर्णत सर्तक रहें क्योकि इस सकेतों के मिलते ही डॉक्टर की सलाह पर अस्पताल जाना पड सकता है। यदि मरीज को उपर बताए गये लक्षण दिखे तो अटेंडर, मरीज के परिजन फोन पर स्वास्थ्य दल से तुरंत सम्पर्क करें। मरीज के अटेंडर का स्वास्थ्य अच्छा होना चाहिये और उसकी उम्र 24 से 50 वर्ष के बीच होनी चाहिये। उन्हें न तो डायबीटीज,बीपी,हदय रोग,अस्थमा,फेफडा या लीवर रोग,गर्भवती या कैंसर पीडित जैसी कोई बीमारी नहीं होनी चाहिये। अटेंडर को मरीज को भोजन उनके कमरे के बाहर से ही प्रदाय किया जाये। खाना एक स्टूल या टेबल पर रख दिया जाना चाहिये निर्देषित करें कि भोजन देते समय मरीज के सीधे सम्पर्क में नही आए। हमेशा डिस्पोजेबल गब्लस का उपयोग करें। अटेंडर व मरीज के संपर्क में रहने वालों के द्वारा प्रतिदिन शरीर के तापमान के साथ अपने स्वास्थ्य की निगरानी किया जाना अनिवार्य है।

जब तक मरीज ठीक न हो तब तक वे उनकी मदद करें उनकी जरूरत का सामान जैसे कि दवाईयॉ, राषन, सब्जी इत्यादि उनके घर के दरवाजे के बाहर रख दें। पैसे का लेन देन डिजिटल पेमेंट द्वारा करें। पडोस में कोई होम आइसोलेषन में हो तो वे समय-समय पर उनसे फोन पर बात करते रहें ताकि उनका मनोबल बढे। मरीज के परिवार के हर संभव सहायता करें। यह आवष्य ध्यान रखें कि हर समय मरीज से दूरी बना के रखें खासकर बच्चे, बुजुर्ग व गर्भवती महिला को दूर रखें। यदि मरीज होम आइसोलेषन के नियमों का पालन नहीं कर रहा है अथवा उससे संबधित किसी भी अन्य तरह की सहायता के लिये सरगुजा कोविड कन्ट्रोल रूम 7999647868 पर कॉल कर तत्काल सूचित करें।