विज्ञान विकास केन्द्र दुर्ग में 328 बालिकाओं को मिल रहा उच्च शिक्षा की निःशुल्क अध्ययन

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रायपुर

राज्य सरकार के आदिम जाति कल्याण विभाग द्वारा आदिवासी उप-योजना क्षेत्र के विद्यार्थियों के लिए विज्ञान तथा वाणिज्य शिक्षण की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए जिला मुख्यालय दुर्ग में 500 सीटर के शिक्षण केन्द्र चलाए जा रहे हैं। विज्ञान विकास केन्द्र में वर्तमान में 16 जिलों के 328 बालिकाएं रहकर विभिन्न कॉलेजों में निःशुल्क अध्ययन कर रही हैं। राज्य सरकार द्वारा उन्हें शिक्षण केन्द्र में निःशुल्क भोजन और आवास सुविधा  भी मुहैया कराई गई है। राज्य के दूर-दराज आदिवासी इलाकों में विज्ञान और वाणिज्य जैसे विषयों में शिक्षकों की कमी को पूरा करने के लिए यह योजना आर्यभट्ट विज्ञान-वाणिज्य शिक्षण प्रोत्साहन योजना के नाम से चलाई जा रही है। इसमें  प्रदेश के अनुसूचित क्षेत्रों में निवासरत अनुसूचित जनजाति तथा अनुसूचित जाति वर्ग के प्रतिभाशाली विद्यार्थियों को उनके अभिरूचि के अनुरूप विज्ञान तथा वाणिज्य विषय के साथ स्नातक, स्नातकोत्तर तथा बी.एड की पढ़ाई करने के अवसर प्रदान किए जा रहे हैं, जिससे ये विद्यार्थी वहां अनुसूचित क्षेत्र में शिक्षकों के रूप में सेवाएं भी प्रदान करने के लिए तैयार हो सकें।
उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह द्वारा 13 सितम्बर 2013 को शिक्षा केन्द्र के रूप में पहचाने जाने वाले दुर्ग शहर में इस योजना के अंतर्गत आर्यभट्ट विज्ञान-वाणिज्य शिक्षण प्रोत्साहन केन्द्र का शुभारंभ किया गया था। प्रदेश में इस योजना के अंतर्गत दूसरा केन्द्र संभागीय मुख्यालय जगदलपुर में स्थापित किया जाएगा। यह केन्द्र भी पांच सौ सीटर का होगा, जिसके लिए भवन निर्माण का कार्य अंतिम चरण में है। संभवतया शैक्षणिक सत्र 2016-2017 से शुरू हो जाएगा। यह केन्द्र बालकों के लिए होगा।
स्कूल शिक्षा और आदिम जाति कल्याण मंत्री श्री केदार कश्यप ने बताया है कि यह येाजना प्रदेश के अनुसूचित जनजाति तथा अनुसूचित जाति के प्रतिभावान विद्यार्थियों को उनके रूचि के अनुसार उच्च शिक्षा की पढ़ाई में काफी मददगार साबित हो रही है। वर्तमान में शिक्षण प्रोत्साहन केन्द्र दुर्ग में सोलह विभिन्न जिलो के 328 बालिकाएं अध्ययनरत हैं। जिनमें अंबिकापुर जिले से सात बालिकाएं, बलरामपुर जिले से तीन बालिकाएं, बस्तर जिले से 27 बालिकाएं और बीजापुर जिले से 28 बालिकाएं अध्ययन कर रहे हैं। इसी तरह दक्षिण बस्तर दंतेवाड़ा जिले से 21 बालिकाएं, धमतरी जिले से 11 बालिकाएं, जशपुर जिले से 12 बालिकाएं और उत्तर बस्तर कांकेर जिले से 94 बालिकाएं पढ़ाई कर रही हैं। इसके अलावा कोण्डागांव जिले से 15 बालिकाएं, कोरिया जिले से 8 बालिकाएं, नारायणपुर जिले से 23 बालिकाएं, राजनांदगांव जिले से 28 बालिकाएं लाभान्वित हो रहे हैं। केन्द्र में सुकमा जिले से  15 बालिकाएं, सूरजपुर जिले से 26 बालिकाएं, बालोद जिले से 8 बालिकाएं और कोरबा जिले से 2 बालिकाएं उच्च शिक्षा की अध्ययन सुविधा का लाभ उठा रहे हैं।