ट्रेन हादसे में अब तक 141 लोगों की मौत, अब भी कई लापता..देखें मृतकों की सूची

पुखरायां

कानपुर के पुखरायां में रविवार सुबह हुए इंदौर-पटना एक्सप्रेस हादसे में मरने वालों की संख्या बढ़कर 141 हो गई है, जबकि 200 से ज्यादा लोग जख्मी हुए हैं। हादसे के बाद से अब भी कई लोग लापता हैं। ट्रेन में सवार यात्री हादसे की वजह रेलवे की लापरवाही बता रहे हैं तो रेलवे हादसे का कारण पटरियों में दरार बता रहा है।

बहरहाल, रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने मामले की जांच के आदेश दे दिए हैं और कहा कि हादसे के जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। रेलवे का कहना है कि घटनास्थल पर सभी बोगियों को खाली करा लिया गया है। अब वहां कोई नहीं बचा है। हालांकि एहतियातन पूरे इलाके में सर्च ऑपरेशन चलाया जा रहा है।

कानपुर में ट्रेन हादसे की त्रासदी ने पूरे देश को हिला कर रख दिया। रविवार सुबह से ही पीड़ितों को बचाने और उनके परिजनों को जानकारी पहुंचाने का काम युद्धस्तर पर किया गया, लेकिन अभी भी कई ऐसे लोग हैं जिनके अपनों का पता नहीं चल पाया है। हादसे के बाद से गायब लोगों को खोजने का काम लगातार चल रहा है।

सेना ने भी रातभर घटनास्थल पर राहत और बचाव काम किया, लेकिन इन सबके बीच कई सवालों के जवाब भी मांगे जा रहे हैं कि आखिर कौन है भयानक ट्रेन हादसे का जिम्मेदार? किसकी वजह से गईं 141 से ज्यादा जानें? किसकी वजह से 200 से ज्यादा लोग हुए घायल? हादसा हुआ तो कोई न कोई जिम्मेदार भी होगा लेकिन अभी तक हादसे का जिम्मेदार सामने नहीं आया है। मौके पर पहुंचे रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने जरूर भरोसा दिलाया है कि दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने कहा, यह बड़ा हादसा है। हमने जानकारी मिलते ही रिसोर्स मूव किए। राहत कार्य चल रहा है। जांच के बाद जो भी दोषी पाया जाएगा उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। ट्रेन में सवार कुछ यात्री हादसे के लिए रेलवे की लापरवाही को जिम्मेदार मानते हैं। इसी ट्रेन से झांसी से उरई तक सफर करने वाले सुनील कुमार का कहना है कि मोठ के पास ट्रेन से तीन मवेशी टकराए थे, जिससे ट्रेन की हॉज पाइप टूट गई थी जिसके बाद मरम्मत करने के लिए 15 मिनट तक ट्रेन रोकी भी गई।

सुनील कुमार के मुताबिक मरम्मत के बाद से ही ट्रेन में बहुत ज्यादा आवाज होने लगी और काफी हिलने भी लगी। इसकी शिकायत रेल अधिकारियों से भी की गई तो उन्होंने इसको टाल दिया। हालांकि रेलवे प्रशासन यात्रियों के इस दावे को गलत मान रहा है। रेलवे का कहना है कि सच्चाई जांच के बाद ही सामने आ पाएगी।

भारतीय रेलवे के डीजीपीआर अनिल सक्सेना के मुताबिक आम मुसाफिर का अपना एक परसेपसन होता है। वो कितना सही है? यह जांच का विषय है।

सभी संभावनाओं की बात है।कमीशनर रेलवे सेफ्टी इसकी जांच करेंगें।

हादसे में घायल यात्रियों को राहत बचाव के दौरान भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। यात्रियों का कहना है कि सरकार ने घायलों को अस्पताल मुफ्त में भेजने का इंतजाम किया इसके बावजूद कुछ निजी नर्सिंग होम वाले उनसे पैसे वसूल रहे थे।

रेल हादसे में मरने वालों की सूची-

इंदौर-पटना एक्सप्रेस के पटरी से उतरने के कारण हुए हादसे में मारे गए लोगों में से अभी तक जिन यात्रियों की पहचान हुई है उनके नाम इस प्रकार हैं। सूची उत्तर मध्य रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी ने जारी की है।

1: अशलम खान, शाहजहांपुर (उत्तर प्रदेश)

2: उमा शंकर, चंदौली (उत्तर प्रदेश)

3: पति राम, उज्जैन (मध्यप्रदेश)

4: अमित गुप्ता, कानपुर (उत्तर प्रदेश)

5: रत्निका सिंह, सिवान (बिहार)

6: शांति देवी, इंदौर (मध्यप्रदेश)

7: जिक्तेस, भोपाल (मध्यप्रदेश)

8: हृदय नारायण, बहराइच (उत्तर प्रदेश)

9: अनिल किशोर, रोहतास (बिहार)

10: रामेश्वर प्रजापति, ग्वालियर (मध्यप्रदेश)

11: रजत कुमार, पटना (बिहार)

12: अमित भाकनी, ग्वालियर (मध्यप्रदेश)

13: लखन सिंह, शिवली (मध्यप्रदेश)

14: ज्योति भारती, बलिया (उत्तर प्रदेश)

15: सोनू कुमार उर्फ विवेक खरार, आजमगढ़ (उत्तर प्रदेश)

16: अरूण आडवाणी, नागपुर (महाराष्ट्र)

17: गोविन्द हरी गौर, कानपुर (उत्तर प्रदेश)

18: बृजमोहन दास, इंदौर (मध्यप्रदेश)

19: आशीष शर्मा, ललितपुर (उत्तर प्रदेश)

20: माजीद अहमद, चम्पारण (बिहार)

21: राजकला, इंदौर (मध्यप्रदेश)

22: शकुंतला, कानपुर (उत्तर प्रदेश)

23: शीलवती, इलाहाबाद (उत्तर प्रदेश)

24: प्रभु नारायण सिंह (सेना)

25: सती प्रसाद, कानपुर (उत्तर प्रदेश)

26: पूनम तिवारी, जौनपुर (उत्तर प्रदेश)

27: राधे श्याम, आजमगढ़ (उत्तर प्रदेश)

28: जगमोहन दास गुजराती, इंदौर (मध्यप्रदेश)

29: संजय सिंह, इंदौर (मध्यप्रदेश)

30: रजनी सिंह, भोपाल (मध्यप्रदेश)

31: संजय सिन्हा, वाराणसी (उत्तर प्रदेश)

32: नरेंद्र कुमार सिन्हा, पटना सिटी (बिहार)

33: शत्रुघ्न सिंह, देवास (मध्यप्रदेश)

34: डॉक्टर कोमल, दानापुर (बिहार)

35: सौरभ रॉय, गाजीपुर (उत्तर प्रदेश)

36: बसजु पंडित

37: ज्योति प्रकाश