मुख्यमंत्री द्वारा ग्राम कयाबांधा में 1.07 करोड़ रूपए की
वार्षिकी राशि और भूखण्ड वितरण कार्य का शुभारंभ
रायपुर, 27 जनवरी 2014
मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने कहा है कि नया रायपुर के सभी 41 गांवों के समन्वित विकास के लिए विस्तृत कार्ययोजना बनायी गई है। इन गांवों में शहरों से भी बेहतर बुनियादी सुविधाएं होंगी। सभी गांवों में भूमिगत जल-मल निकासी, भूमिगत बिजली लाईन, शुद्ध पेयजल और पक्की सड़कों सहित सभी प्रकार की बुनियादी सुविधाएं होगी, जो केवल शहरों में होती है।मुख्यमंत्री डॉ. सिंह ने आज नया रायपुर के ग्राम कयाबांधा में आयोजित भूखण्ड और वार्षिकी राशि वितरण समारोह में इस आशय के विचार व्यक्ति किए। मुख्यमंत्री ने इस समारोह में कयाबांधा के ग्रामीणों को बारह सौ वर्गफीट से लेकर 5300 वर्गफीट तक 173 भूखण्डों के वितरण कार्यक्रम की शुरूआत की। मुख्यमंत्री ने कयाबांधा में नया रायपुर डेव्हलपमेंट अथॉरिटी को आपसी सहमति से अपनी जमीन देने वाले भू-स्वामियों को एक करोड़ सात लाख रूपए की वार्षिकी राशि के वितरण की भी शुरूआत की। इन भूमि स्वामियों को पन्द्रह हजार रूपए प्रति एकड़ की दर से राशि दी जा रही है। इस राशि का वितरण प्रतिवर्ष 750 रूपए की बढ़ोतरी के साथ वर्ष 2030-31 तक की जाएगी।
मुख्यमंत्री ने समारोह को सम्बोधित करते हुए कहा कि नया रायपुर के गांवों के विकास के लिए मुख्यमंत्री को आवेदन अथवा ज्ञापन देने की जरूरत नहीं है। इन गांवों के समन्वित विकास की जवाबदारी राज्य सरकार की है। हमारी मंशा है कि यहां के गांवों में भी सभी सुविधाएं हो। ग्रामीणों की भावनाओं के अनुरूप गांव में पक्की सड़क, शुद्ध पेयजल, बिजली के साथ ही बच्चों के लिए नये स्कूल भवन, मंगल भवन, रविदास भवन आदि की पूरी व्यवस्था होगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रामीणों ने जितना सोचा है, हम उससे भी ज्यादा सुविधाएं गांवों में मुहैय्या कराएंगे। नया रायपुर की तरह ही इस गांव को हम सजाएंगे और संवारेंगे। उन्होंने कहा कि कयाबांधा को एक ’मॉडल विलेज’ के रूप में विकसित करेंगे, ताकि राज्य के बाहर से भी लोग इस गांव को देखने आएं। मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रामीणों और जनप्रतिनिधियों से विचार-विमर्श के बाद राज्य सरकार ने किसानों को पन्द्रह हजार रूपए प्रति एकड़ की दर से वार्षिकी राशि और आवासीय भूखण्ड वितरण करने का निर्णय लिया था। आज उस निर्णय के क्रियान्वयन की शुरूआत हो चुकी है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने इन गांवों के युवाओं और महिलाओं के रोजगार की भी चिंता की है। मुख्यमंत्री कौशल उन्नयन योजना के तहत गांव के युवाओं और महिलाओं को रोजगारमूलक व्यवसायों में निःशुल्क प्रशिक्षण दिया जा रहा है। अब तक एक हजार 421 युवाओं को प्रशिक्षण दिया जा चुका है, जिनमें 521 युवाओं को रोजगार और स्वरोजगार से जोड़ा गया है। हमारा प्रयास है कि राष्ट्रीय स्तर के प्रशिक्षण संस्थाओं से प्रशिक्षण दिलाया जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार की स्पष्ट मान्यता है कि जब तक गांवों का विकास नहीं होगा, तब तक छत्तीसगढ़ का विकास नहीं हो सकता। राज्य सरकार ग्रामीणों के सुख-दुख में सहभागी है। ग्रामीण भी छत्तीसगढ़ के विकास में सहभागी बनें। मुख्यमंत्री ने कयाबांधा में हुए विकास कार्यों का भी अवलोकन किया।
आवास एवं पर्यावरण मंत्री श्री राजेश मूणत ने कहा कि ग्रामीणों की भावनाओं के अनुरूप सभी गांवों का विकास किया जाएगा। रायपुर लोकसभा क्षेत्र के सासंद श्री रमेश बैस ने कहा कि जिन किसानों ने अपनी जमीन दी है, उनका नुकसान नहीं होगा। राज्य सरकार मुआवजे के अलावा भी प्रतिवर्ष उन्हें राशि दी जा रही है। उन्होेंने कहा कि कयाबांधा में जो बुनियादी अधोसंरचना विकसित की जा रही है, वैसी सुविधाएं शहर की कालोनियों में भी नहीं है। समारोह को आरंग के विधायक श्री नवीन मार्कडेण्य और ग्राम पंचायत कयाबांधा निवासी श्री ईश्वरी मानिकपुरी ने भी सम्बोधित किया। नया रायपुर डेव्हलपमेंट अथॉरिटी के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री अमित कटारिया ने नया रायपुर के गांवों के विकास कार्ययोजना की विस्तार से जानकारी दी।
इस अवसर पर नया रायपुर डेव्हलपमेंट अथॉरिटी अध्यक्ष श्री एन.बैजेन्द्र कुमार, उपाध्यक्ष श्री एस.एस. बजाज, रायपुर े जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती लक्ष्मी वर्मा, जनपद पंचायत आरंग के अध्यक्ष श्री दीपक बैस, ग्राम पंचायत उपरवारा, खंडवा, कोटनी, तादुंल, बंजारी, नवागांव के सरपंच सहित अनेक जनप्रतिनिधि और ग्रामीण उपस्थित थे।