अम्बिकापुर। सरगुजा में लगातार बढ़ते कोरोना संक्रमण को देखते हुए जिला कलेक्टर ने 13 अप्रैल से 10 दिनों का सख़्त लॉकडाउन लगा दिया है। ऐसे में सब्जी-भाजी की खेती कर अपनी आजीविका चलाने वाले किसान बुरी तरह परेशान हो गए हैं। हालात ये है की किसानों ने सब्जी बीज खरीदने से लेकर उगाने तक जो लागत लगाई है। वो भी नहीं मिल पा रहा है।
दरअसल, इस लॉकडाउन में सब्जी बेचने की अनुमति तक नही दी गई है। जबकि इससे पहले लगे लॉकडाउन में एक निश्चित समय पर सब्जी बेचने की अनुमति थी। लेकिन इस बार कोरोना महामारी के ज्यादा फैलने के कारण सब्जी बेचने की अनुमति नही दी गई है। जिससे मायूस किसान अब चिंतित हो गए है। अम्बिकापुर के किसान राजेश हलधर बताते हैं कि वो कई वर्षों से खीरे और करेले की खेती करते आ रहे हैं। इस बार लगभग सवा तीन लाख रुपये खर्च कर 6 एकड़ में अच्छी कीमत मिलने की उम्मीद से खीरे और करेले की खेती की है। लेकिन कोरोना का कहर ऐसा बरपा कि पिछले वर्ष भी फसल का लागत नही निकल पाया.. और इस वर्ष भी लगता है लागत निकाल पाना मुश्किल है।
ऐसे ही एक और किसान है बाबूलाल… जो हमेशा से ही फूल की खेती करते है। बीते वर्ष 4 एकड़ में फूल की खेती की थी। लेकिन लॉकडाउन होने से पूरी तरह फसल बर्बाद हो गया। इस वर्ष तीन एकड़ में फूल की खेती कि है लेकिन इस बार भी लॉकडाउन लग गया है। जिससे एक बार फिर बाबूलाल को फूल नहीं बिकने की चिंता सताने लगा है।
वही सरगुजा कलेक्टर संजीव कुमार झा ने बड़े पैमाने पर खेती करने वाले किसानों के लिए चिंता जाहिर की है। उन्होंने कहा ऐसे किसानों के फसल को जिले से बाहर बेचने के लिए उपाय किया जाएगा। जिससे किसानों को नुकसान ना उठाना पड़े।