मध्यप्रदेश निर्माण की प्रक्रिया से लोगों को जोड़ने मुख्यमंत्री श्री चौहान करेंगे जनसंवाद..

कमिश्नर-कलेक्टर संवेदनशीलता के साथ दिल से करें काम

भोपाल : गुरूवार, दिसम्बर 19, 2013, 21:55 IST
 

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने मध्यप्रदेश के निर्माण की प्रक्रिया से आम लोगों को जोड़ने के लिये जनवरी-फरवरी माह से जनसंवाद श्रंखला की शुरूआत करेंगे। वे प्रत्येक जिले में जायेंगे और लोगों को सरकार के जन हितैषी कामों से जुड़ने के लिये प्रेरित करेंगे।

श्री चौहान ने इस बात का खुलासा आज यहाँ दस घंटे चली कमिश्नर-कलेक्टर कांफ्रेंस के समापन सत्र के संबोधन में किया।

श्री चौहान ने कमिश्नर-कलेक्टरों का आव्हान किया कि वे अपनी पूरी क्षमता, प्रतिभा और मानवीय संवेदना प्रदर्शित करते हुये लोगों के हित में काम करें। उन्होंने कहा कि संवेदनशीलता से काम करने से न सिर्फ जन समस्याओं का सकारात्मक समाधान निकलता है बल्कि विकास योजनाओं का प्रभावी क्रियान्वन होता है।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि सरकार की जन हितैषी योजनाओं और विकास कार्यक्रमों को विशाल जनादेश मिला है। उन्होंने शांतिपूर्वक एवं निष्पक्ष चुनाव के लिये अधिकारियों को बधाई दी। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश ने अनेक उपलब्धियाँ हासिल की है। सड़कें बनी, 24 घंटे बिजली मिली और सिंचाई हुई। अगले पाँच साल में मध्यप्रदेश को विकास के शिखर पर पहुँचायेंगे। उन्होंने कहा कि मानवीय संवेदना के साथ काम करने से विकास योजनाएँ ठीक से अमल में आयेंगी। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि वे दिल से काम करें। विकास का लाभ हर घर पहुँचना चाहिये।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कमिश्नर-कलेक्टर से कहा कि वे ऑफिस में बैठने और मैदानी दौरों के बीच समन्वय बनायें। काम की गुणवत्ता से समझौता न करें। अपनी क्षमता पहचानें और अपने अधिकारों का जनहित में उपयोग करें।

कानून-व्यवस्था को सर्वोच्च प्राथमिकता बताते हुये मुख्यमंत्री ने पुलिस अधिकारियों से कहा कि वे आम लोगों से संवाद स्थापित करें। संवाद से कई समाधान निकलते हैं। उन्होंने कहा कि डाकुओं का कोई नया दल पैदा न हो इस पर निगरानी जरूरी है। धार्मिक आयोजनों के पहले विस्तृत योजना बनायें। यदि माफिया सिर उठाये तो पूरी सख्ती बरतें। जन सुनवाई को प्रभावी बनायें। लोगों को सकारात्मक समाधान उपलब्ध करायें। भूमि अधिग्रहण जैसे काम को संवेदनशीलता के साथ करें।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने पुलिस प्रशासन से कहा कि आम आदमी से संवाद करने के लिये थाना दिवस जैसे आयोजन की रूपरेखा बनाने पर विचार करें। इससे कानून-व्यवस्था की स्थिति बनाये रखने में समाज की मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि जनहित में अच्छे इरादे से काम करने में गल्तियां भी हों तो सरकार साथ है।

श्री चौहान ने कहा कि लोगों और प्रशासनिक तंत्र के परस्पर सहयोग और समन्वय से मध्यप्रदेश चमत्कार कर सकता है।

उच्च स्तरीय समितियों का गठन

भ्रष्टाचार उन्मूलन के संबध में संस्थागत संरचना तैयार करने के लिये राज्य शासन ने एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया है। यह समिति एक माह में अपनी अनुशंसाएँ राज्य सरकार को देगी।

समिति के अध्यक्ष अपर मुख्य सचिव वित्त श्री अजयनाथ होंगे। सचिव श्री सतीश मिश्रा समिति में सदस्य श्री राधेश्याम जुलानिया, श्रीमती अरूणा शर्मा, श्री प्रवीरकृष्ण , श्री विवेक अग्रवाल शामिल होंगे। समिति की अनुशंसाओं पर राज्य सरकार द्वारा भ्रष्टाचार विरोधी तंत्र बनाया जायेगा।

राज्य शासन ने व्यावसायिक परीक्षा मंडल के ढाँचे को मजबूत बनाने और परीक्षा संबंधी व्यवस्थाएं सुधारने के बारे में अनुशंसाएं देने के लिये उच्च स्तरीय समिति का गठन किया है। यह समिति एक महीने में राज्य शासन को अपनी अनुशंसाएँ देगी।

समिति के अध्यक्ष डॉ. देवराज बिरदी होंगे। सदस्य सचिव श्री तरूण पिथोड़े होंगे। सदस्यों में अपर मुख्य सचिव श्री अजयनाथ, प्रमुख सचिव श्री आर के स्वाई, सचिव श्री हरिरंजन राव, सचिव श्रीमती दीपाली रस्तोगी और सचिव श्री अशोक वर्णवाल शामिल होंगे।

खाद्य सुरक्षा

खाद्य सुरक्षा अधिनियम के प्रभावी क्रियान्वयन के लिये समग्र डाटा में पात्र परिवारों का चिन्हांकन और सत्यापन समय-सीमा में करने के निर्देश दिये गये। समग्र पोर्टल पर हितग्राही परिवारों की जानकारी के निर्देश दिये । मुख्यमंत्री ने कहा कि कोई भी पात्र परिवार खाद्य सुरक्षा से वंचित नही रहना चाहिए।

कलेक्टरों को मुख्यमंत्री मजदूर सुरक्षा योजना, संनिर्माण मण्डल, वन पट्टाधारी, हम्माल, कामकाजी घरेलू महिलाएं, बीड़ी कामगार, भूमिहीन कोटवार, फेरी वालों का पंजीयन कर सत्यापित डाटा उपलब्ध करवाने के निर्देश दिये गये।

हितग्राही परिवारों की अंतिम सूची जल्दी ही तैयार कर ली जायेगी। सत्यापित सूची के संबंध में दावों का आमंत्रण एवं निराकरण को प्रभावी रूप से निपटारा करने के निर्देश दिये है। अनुसूचित जातियों/जनजातियों के परिवारों के किसी एक सदस्य का जाति प्रमाण पत्र का सत्यापन किया जायेगा।

बैठक में बताया गया कि माह जनवरी से एक रूपये किलो चावल का वितरण शुरू हो जायेगा। मुख्यमंत्री अन्नपूर्णा योजना के अंतर्गत उचित मूल्य की दुकानों की भण्डारण क्षमता बढ़ाने के लिये सहकारी समितियों के माध्यम से 100 टन क्षमता के 14 हजार गोदाम बनाने की योजना प्रयोग के तौर पर चलाई जायेगी।

ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल व्यवस्था और भावी रणनीति पर चर्चा के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि हेण्डपम्प आधारित जल प्रदाय व्यवस्था पर धीरे-धीरे निर्भरता कम कर नल-जल प्रदाय योजना लागू की जायेगी। बताया गया कि नल जल योजना के माध्यम से यह 55 लीटर प्रति व्यक्ति जल उपलब्धता से बढ़ाकर 70 लीटर जल प्रति व्यक्ति किया जायेगा। प्रत्येक परिवार को 100 लीटर के दायरे में पीने का पानी मिल जाये।

कानून व्यवस्था

मुख्यमंत्री ने कानून व्यवस्था की स्थिति पर प्रस्तुति के बाद कहा कि स्वच्छ, पारदर्शी और जबावदेह सरकार पहली प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि अपराधियों के प्रति कठोर रूख अपनाएँ और आम लोगों को पूरी सुरक्षा दें। सी सी टी व्ही के उपयोग को बढ़ावा दें जिससे विवेचना में पर्याप्त साक्ष्य मिल सकें। बताया गया कि धार्मिक क्षेत्रों के आयोजन में मेला अधिकारी को नियुक्ति की जायेगी। महिलाओं के प्रति अपराध रोकने के लिये 141 महिला थानों की स्थापना की जायेगी।

स्वास्थ्य विभाग

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि महत्वपूर्ण चिकित्सकीय उपकरण सुचारू रूप से कार्य करें इसकी सुनिश्चितता हो। इस अवसर पर प्रमुख सचिव स्वास्थ्य ने सबके लिये स्वास्थ्य के लक्ष्य के लिए स्वास्थ्य सेवाओं के प्रदाय में निर्देशात्मक बदलाव का प्रस्तुतीकरण दिया। उन्होंने कहा कि ग्रामीण अंचल में स्वास्थ्य सेवाओं के लिये आवश्यक सभी संसाधन उपलब्ध करा दिए गए हैं। उनके संचालन, क्रियान्वयन की निरंतर और नियमित निगरानी हो। उन्होंने कहा कि लक्ष्य को विकेन्द्रीकृत करके कार्य किये जायें। प्रत्येक गाँव में स्वास्थ्य विभाग के दो कार्यकर्ता उपलब्ध हैं। वे अनिवार्यत: मुख्यालय पर उपलब्ध रहें, इसकी सुनिश्चितता जरूरी है। उन्होंने रिपोर्टिंग कार्य को व्यवहारिक और वास्तविक रूप में किये जाने की जरूरत बताई। उन्होंने बताया कि प्रचलित सभी रिपोर्टिंग प्रपत्रों को निरस्त कर दिया गया है। कुल 10 सॉफ्टवेयर में ऑनलाइन एन्ट्री की व्यवस्था की गई है। एन्ट्री कार्य के लिय आउटसोर्स और संविदा पर एन्ट्री ऑपरेटर नियुक्त करने के अधिकार कलेक्टरों को दिए गए हैं। चिकित्सकों की कमी वाले क्षेत्रों में 75 हजार से एक लाख रूपये तक के वेतन पर संविदा नियुक्ति देने की भी व्यवस्था की गई है। उन्होंने आगामी 100 दिन की कार्ययोजना, प्रेरणा अभियान, बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम, मातृ स्वास्थ्य सुरक्षा कार्यक्रम, टेली मेडिसन और मोबाइल चिकित्सा योजना के विषय में जानकारी दी।

सुशासन

सुशासन के लक्ष्य विजन 2018 के तहत लोक सेवाओं की तत्परता और भ्रष्टाचार के जड़-मूल से उन्मूलन के प्रयास किए जाएँगे। त्वरित लोकसेवा की दिशा में पहली कक्षा में प्रवेश के समय ही जाति प्रमाण-पत्र दिये जाने की व्यवस्था दी गई है। यह बताया गया कि कहीं भी कभी भी सेवा प्रदाय के लक्ष्य के लिये कार्य किए जा रहे हैं। विभागों की प्रक्रियाओं के सरलीकरण और विकेन्द्रीकरण करने की कार्ययोजना बनाई गई है। समस्त निर्माण विभागों/ एजेन्सियों के कार्मिकों के प्रशिक्षण हेतु राज्य स्तरीय अकादमी की स्थापना की जाएगी। सभी विभागों और कार्यालयों में ट्रेनिंग कैलेण्डर बनाया जाएगा।

उत्कृष्टता पुरस्कार

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बैठक के बाद वर्ष 2010-11 और 2011-12 के लिये मुख्यमंत्री उत्कृष्टता पुरस्कार प्रदान किये। उन्होंने इस अवसर पर वर्ष 2010-11 के लिये 5 व्यक्तिगत और तीन संस्थागत पुरस्कार प्रदान किये। वर्ष 2011-12 के लिये 7 व्यक्तिगत पुरस्कार प्रदान किए। व्यक्तिगत पुरस्कार प्राप्त करने वालों में वर्ष 2010-11 के लिये तात्कालीन कलेक्टर शाजापुर श्रीमती सोनाली एन वायंगणकर, तत्कालीन आयुक्त नगर निगम जबलपुर श्री ओमप्रकाश श्रीवास्तव, उप अधीक्षक जेल शिवपुरी श्री विजयसिंह जाटव, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता श्रीमती ऊषा सिंघल, सहायक सूचना अधिकारी श्री अनिल कुमार पटले, वर्ष 2011-12 के व्यक्तिगत पुरस्कार प्राप्त करने वालों में तत्कालीन कलेक्टर सीहोर श्री संजय गोयल, पटवारी शिवपुरी श्री बृजेश कुमार नामदेव, राज्य शिष्टाचार अधिकारी श्री संजय कुमार मिश्र, तत्कालीन कलेक्टर श्योपुर श्री एस.एन. रूपला, तत्कालीन कलेक्टर खंडवा श्री कवीन्द्र कियावत, तत्कालीन मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत सिवनी श्री संकेत भोंडवे, शासकीय माध्यमिक विद्यालय क्रमांक 51 इंदौर के भृत्य श्री धीरेन्द्र शुक्ला, सेवानिवृत्त उप संचालक पशुचिकित्सा श्री एस.के. त्रिपाठी हरदा और तत्कालीन कलेक्टर धार श्री बी.एम. शर्मा शामिल थे। संस्थागत पुरस्कारों में प्राचार्य शासकीय उच्चतर माध्यमिक कन्या विद्यालय रांझी जबलपुर, कार्यालय नगर परिषद गौतमपुरा इंदौर और कार्यालय नगर परिषद सैलाना रतलाम शामिल थे।

राज्य सत्कार कार्यालय की वेबसाइट का लोकार्पण

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने राज्य अतिथि ऑनलाइन प्रणाली का लोकार्पण किया। यह वेबसाइट पूरे देश में प्रथम बार राज्य सत्कार कार्यालय, मध्यप्रदेश द्वारा बनाई गई है। www.stateprotocol.mp.gov.in पर प्रोटोकॉल मेन्युअल, प्रोटोकॉल से संबंधित समस्त निर्देश, जिला प्रोटोकॉल अधिकारी एवं कलेक्टर के सम्पर्क नम्बर आदि महत्वपूर्ण जानकारी उपलब्ध हैं।