अम्बिकापुर। ग्राम बासेन निवासी राम सिंह ने 16 जुलाई को राम सिंह ने थाना उदयपुर में रिपोर्ट दर्ज कराया की 5 जुलाई को अपने पत्नी बिजो बाई के साथ वंशी जाली खेलने ग्राम खुटखोरी गया था, जो 02 दिनों तक साथ में रहकर वहीं झाला बनाकर बंशी जाल खेला। 8 जुलाई की रात में करीब 6 बजे बिजो बाई कहीं चली गई। जिसका लगातार खोजबीन के बाद 16 जुलाई को करीब 12.00 बजे ग्राम परोंगिया जंगल जोरन झरिया के पास उसे मृत हालत में बिजो बाई का शव मिला।
राम सिंह की रिपोर्ट पर उदयपुर थाना में मर्ग कायम किया गया। बाद में पुलिस अधीक्षक अमित तुकाराम कांबले, अति० पुलिस अधीक्षक चंचल तिवारी के मार्गदर्शन पर एफएसएल युनिट वरिष्ठ वैज्ञानिक अधिकारी कुलदीप कुजूर को सूचना दिया गया। जो आने पर थाना प्रभारी निरीक्षक अलरिक लकडा, स०उ०नि० अजित मिश्रा, राजेन्द्र प्रताप सिंह, आरक्षक सिकन्दर आलम, आनंद प्रकाश, रामेश्वर प्रसाद व डॉक्टर जी०एल० मिरी के घटना स्थल परोगिया जंगल जोरन झरिया रवाना हुये जो करीब 07 कि०मी० जंगल के रास्ते पहाड़ में पैदल चलकर घटना स्थल पहुंचकर मर्ग पंचनामा कार्यवाही किया गया।
मृतिका का शव करीब 7-8 दिन पुराना होने के कारण मौके पर मृतिका के शव का पीएम कराया गया। बाद डॉक्टर के द्वारा शार्ट पीएम रिपोर्ट देने पर अपराध कमांक 93/2021 धारा 302 भादवि का अपराध कायम कर विवेचना में लिया गया। विवेचना में मृतिका के पति राम सिंह से लगातार पूछताछ करने पर अपना जुर्म स्वीकार कर बताया कि 8 जुलाई को पत्नी बिजो बाई घर जाने की जीद करने लगी, जो दूसरे दिन जाने की बात बोलने पर बिजो बाई नाराज होकर गाली गलौज कर झगडा करने लगी। जो आरोपी राम सिंह गुस्से में आकर हाथ मुक्का से मारपीट कर गला दबाकर हत्या कर देना बताया।
आरोपी मृतिका का पति राम सिंह को आज गिरफ्तार कर रिमांड पर न्यायालय पेश किया गया। पुलिस द्वारा अंधे कत्ल को 12 घण्टे के अंदर सुलझाया गया।
इसमें प्रमुख भूमिका एफएसएल युनिट वरिष्ट वैज्ञानिक अधिकारी कुलदीप कुजूर अम्बिकापुर, थाना प्रभारी निरीक्षक अलरिक लकडा, सउनि अजित मिश्रा, राजेन्द्र प्रताप सिंह, आरक्षक सिकन्दर आलम, आनंद प्रकाश, रामेश्वर प्रस सक्रिय रहे।
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