स्वास्थ्य सेवा प्रदाय गारंटी योजना पर अमल करने वाला प्रदेश देश का पहला राज्य
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भोपाल : सोमवार, दिसम्बर 30, 2013, 17:25 IST | |
लोक स्वास्थ्य-परिवार कल्याण और चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा ने आज यहाँ विभागों की समीक्षा की तथा आगामी 100 दिवसीय कार्य-योजना की जानकारी ली। डॉ. मिश्रा ने राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन के आवंटित बजट का शत-प्रतिशत उपयोग करने के निर्देश देते हुए मातृ मृत्यु दर में 47 अंकों की गिरावट और स्वास्थ्य सेवा प्रदाय गारंटी योजना को क्रियान्वित करने वाला देश में पहला प्रदेश होने पर प्रसन्नता व्यक्त की। बैठक में प्रमुख सचिव श्री प्रवीर कृष्ण, सचिव श्रीमती सूरज डामोर, आयुक्त श्री पंकज अग्रवाल तथा राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन की संचालक श्रीमती एम. गीता सहित संबंधित विभागों के अन्य अधिकारी उपस्थित थे। मंत्री डॉ. मिश्रा ने कहा कि प्रदेश में बनने वाले नर्सिंग कॉलेज एवं स्कूलों का निर्धारित मापदण्ड पर परीक्षण एवं विश्लेषण किया जाये। उन्होंने शासन के नियमों एवं गुणवत्ता पर खरे नहीं उतरने वाले नर्सिंग कॉलेज एवं स्कूलों पर कड़ी कार्यवाही करने को कहा। उन्होंने ग्रामीण क्षेत्र के लिये चिकित्सकों की नियुक्ति के लिये अलग से व्यवस्था के निर्देश दिये। डॉ. मिश्रा ने प्रदेश में मातृ मृत्यु दर में 277 के स्थान पर 230 होने पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए आगामी दिनों में 100 अंक तक की गिरावट आने की उम्मीद जताई। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान की मंशानुसार जिला अस्पताल में केंसर रोगियों की फॉलोअप केयर की व्यवस्था के लिये चिकित्सकों को पर्याप्त प्रशिक्षण की व्यवस्था की जाये। मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा ने आगामी दिनों में लगाये जाने वाले आयुष शिविरों के विषय में जानकारी उपलब्ध करवाने को कहा। प्रमुख सचिव श्री प्रवीर कृष्ण ने बताया कि एक जनवरी से प्रदेश में मातृ एवं शिशु सुरक्षा कार्यक्रम एवं राष्ट्रीय रोग नियंत्रण कार्यक्रम की स्वास्थ्य सेवाएँ प्रदान करने के लिये ग्राम प्रहरी दलों को तैयार कर कार्य किया जायेगा। स्वास्थ्य आयुक्त श्री पंकज अग्रवाल ने बताया कि प्रदेश में नि:शुल्क दवा वितरण का कार्य शासकीय चिकित्सालयों से किया जा रहा है। योजना के निर्बाध रूप से कार्य के लिये मार्च से पूर्व ही टेण्डर आदि की प्रक्रिया पूरी कर ली जायेगी। अस्पतालों में काम आने वाले आवश्यक इक्यूपमेंट की पूर्ति भी जनवरी माह तक पूरी कर ली जायेगी। राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन की राज्य संचालक श्रीमती एम. गीता ने बताया कि अब राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन को राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के नाम से जाना जायेगा। उन्होंने बताया कि मिशन में ग्रामीण स्वास्थ्य के जितने भी घटक थे, वे सभी शहरी क्षेत्रों के लिये भी कार्य करेंगे। प्रदेश में मातृ स्वास्थ्य एवं शिशु स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ करने पर विशेष ध्यान दिया जायेगा। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम को ब्लॉक-स्तर पर क्रियान्वित करने की योजना में 2 चिकित्सक सहित 4 सदस्यीय एक टीम कार्य करेगी। सभी आँगनवाड़ी केन्द्रों एवं स्कूलों के बच्चों का स्वास्थ्य परीक्षण एवं आवश्यक चिकित्सा उपलब्ध करवाने का दायित्व इस टीम का होगा। उन्होंने बताया कि परिवार कल्याण को मातृ स्वास्थ्य से जोड़ा गया है। इस बार प्रदेश में लक्ष्य से 40 हजार अधिक नसबंदी ऑपरेशन हुए। परिवार कल्याण में माताओं के स्वास्थ्य के महत्व को बताते हुए परिवार नियोजन के लिये ‘प्रेरणा” अभियान चलाया जा रहा है। चिकित्सा शिक्षा विभाग की जानकारी देते हुए गाँधी मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. निर्भय श्रीवास्तव ने बताया कि प्रदेश में 6 शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय में 800 स्नातक तथा 496 स्नातकोत्तर सीट्स हैं। पूर्व की तुलना में 80 स्नातक एवं 43 स्नातकोत्तर सीट्स की बढ़ोत्तरी हुई है। प्रदेश में 6 निजी चिकित्सा महाविद्यालय में 900 स्नातक तथा 225 स्नातकोत्तर सीट्स हैं। शासकीय नर्सिंग कॉलेज 7 हैं, जिनमें 294 स्नातक तथा 10 स्नातकोत्तर सीट्स हैं। साथ ही 431 निजी नर्सिंग कॉलेज में 16 हजार 886 स्नातक एवं 396 स्नातकोत्तर कक्षाओं की सीट्स हैं। उन्होंने बताया कि रतलाम, विदिशा और शहडोल में नये शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय एवं निजी क्षेत्र में 11 चिकित्सा महाविद्यालय भी प्रस्तावित हैं। आयुष आयुक्त श्री एम.के. वार्ष्णेय ने बताया कि प्रदेश में 1773 आयुष औषधालय संचालित हैं। साथ ही 7 आयुर्वेद महाविद्यालय का उन्नयन किया जा रहा है। भोपाल स्थित आयुर्वेद, होम्योपैथी व यूनानी चिकित्सा भवन परिसर में संयुक्त छात्रावास भवन निर्माण का कार्य आरंभ किया गया है। उन्होंने बताया कि एक करोड़ 24 लाख 8507 रोगियों को आयुष चिकित्सा उपलब्ध करवाई गई है। चिकित्सा विहीन क्षेत्रों में 14 हजार 150 शिविर लगा कर 13 लाख 61 हजार 595 रोगी को नि:शुल्क आयुष चिकित्सा उपलब्ध करवाई गई है। उप सचिव गैस राहत श्री के.के. दुबे ने बताया कि आवासहीन गैस पीड़ितों के लिये ग्राम पलासी में 897 आवास गृह का निर्माण किया जा रहा है। |