सूरजपुर। अन्नदाताओं के ऊपर एक और आफत आती दिख रही है। पहले कोविड के कारण फसलों की बुआई, रोपाई की लागत के बढ़ोतरी ने किसानों की कमर तोड़ दी, और अब फसल पककर तैयार हो गयी तो आसमान पर छाए बादलों की बूंदाबांदी ने टेंशन बढ़ा दी है। सोमवार की दोपहर के बाद और मंगलवार की सुबह-सुबह आसमान पर बादल छाए रहे। 5-10 मिनट की बूंदाबांदी भी हुई। जिससे किसानों को खेतों में पककर तैयार हो चुके धान के नुकसान होने की आशंका है।
दरअसल, सूरजपुर जिला मुख्यालय से समीप सरस्वतीपुर, रामपुर, रुनियाडीह, नमदगिरी, रामनगर, सोहागपुर इलाक़े में पिछले दो दिन से आसमान पर काले बादल मंडरा रहे हैं। थोड़ा बहुत बरसते भी हैं। जिन किसानों के धान पककर तैयार हो गए हैं, वे मिसाई करने के लिए खलिहानो की साफ-सफाई में जुटे हैं, और धान की कटाई भी शुरू कर दी गयी है। ऐसे समय मे किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें साफ तौर पर नजर आ रही है, क्योंकि अगर ज्यादा वर्षा हुई तो फसलों को नुकसान होना तय है।
कई किसानों के धान के पौधे पकने के बाद झुक गए हैं। जिससे ये आशंका है कि बारिश की वजह से पौधे ज़मीन पर पड़े रहे तो फिर से अंकुरित हो सकते हैं। इससे भारी नुकसान होगा। फ़िलहाल किसान बेमौसम बारिश की आशंका को देखते हुए फसलों को सुरक्षित रखने की जुगत ने जुट गए हैं।