सी.एस.आर. की राशि ग्राम सभा से पूछकर खर्च करने की जरूरत : मुख्यमंत्री
रायपुर, 21 जनवरी 2014
मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने राज्य सरकार की उद्योग नीति के प्रावधानों के अनुरूप प्रदेश के औद्योगिक विकास में भागीदार बन रहे निवेशकों और उद्यमियों को विश्वास दिलाया है कि उनकी सभी स्थानीय समस्याओं का समयबद्ध निराकरण किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने आज रात यहां अपने निवास कार्यालय के सभाकक्ष में भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के प्रतिनिधि मण्डल और प्रदेश सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों की संयुक्त बैठक में राज्य के उद्योगपतियों और निवेशकों की विभिन्न समस्याओं तथा जरूरतों के बारे में विचार-विमर्श किया।
उन्होंने प्रतिनिधि मण्डल से कहा कि राज्य के सामाजिक-आर्थिक विकास में उद्योगों की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है। सरकार उन्हें अपनी उद्योग नीति के तहत हर प्रकार के सहयोग के लिए तत्पर है। डॉ. सिंह ने उद्योगों की कार्पोरेट सामाजिक जिम्मेदारी (सी.एस.आर.) मद की राशि ग्राम सभा में ग्रामीणों से पूछकर खर्च करने की जरूरत पर बल दिया। उन्होंने कहा कि उद्योगपतियों को अपने-अपने उद्योगों के आस-पास के गांवों और ग्रामीणों के साथ नियमित संवाद बनाए रखना चाहिए और उनके लिए सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवाओं सहित उनके बच्चों की शिक्षा आदि के लिए सी.एस.आर. की राशि का उपयोग किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि उद्योगपतियों को ग्रामीणों के साथ बेहतर तालमेल बनाकर उनकी समस्याओं के निराकरण के लिए भी प्रयास करना चाहिए, ताकि ग्रामीणों को उन पर भरोसा हो। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि औद्योगिक क्षेत्रों के गांवों से जुड़ी सड़कों के निर्माण, वर्तमान सड़कों के बेहतर रख-रखाव और बिजली तथा स्वच्छ पेयजल जैसी बुनियादी सुविधाओं पर भी उद्योगपतियों को ध्यान देना चाहिए।
इस मौके पर सी.आई.आई. के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री के समक्ष छत्तीसगढ़ के त्वरित औद्योगिक विकास के बारे में अपने विभिन्न सुझावों के साथ एक प्रस्तुतिकरण दिया। बिजली, पानी, भूमि और पर्यावरण से संबंधित जरूरी स्वीकृतियां उद्योगों को नियमानुसार समय पर प्राप्त हो, इसके लिए भी राज्य निवेश प्रोत्साहन बोर्ड, छत्तीसगढ़ राज्य औद्योगिक विकास निगम और अन्य सभी सरकारी एजेंसियों की ओर से उन्हें पूर्ण सहयोग मिलेगा। राज्य सरकार के अधिकारियों ने सी.आई.आई. के प्रतिनिधि मण्डल को बताया कि प्रदेश के स्पंज आयरन उद्योगों को लौह अयस्क पर्याप्त मात्रा में मिल सके, इसके लिए मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने स्वयं राष्ट्रीय खनिज विकास निगम (एन.एम.डी.सी.) के अधिकारियों से चर्चा की है। एन.एम.डी.सी. के अधिकारियों ने इसके लिए पूर्ण सहयोग का वायदा किया है।
मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में आज की बैठक में प्रदेश सरकार के मुख्य सचिव श्री सुनिल कुमार, वित्त विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री डी.एस. मिश्रा, वाणिज्य और उद्योग विभाग के प्रमुख सचिव श्री एन. बैजेन्द्र कुमार, उर्जा विभाग के प्रमुख सचिव श्री अमन कुमार सिंह, प्रमुख सचिव स्वास्थ्य एवं नगरीय प्रशासन श्री एम.के. राउत, वन विभाग के प्रमुख सचिव श्री अमिताभ जैन, राजस्व विभाग के सचिव श्री के.आर. पिस्दा, खनिज विभाग के सचिव श्री एम.के. त्यागी, वाणिज्यिक कर विभाग के सचिव श्री आर.एस. विश्वकर्मा, संचालक उद्योग श्रीमती श्रुति सिंह, अपर मुख्य वन संरक्षक श्री मुदित कुमार सिंह और राज्य शासन के अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) की ओर से सर्वश्री मनीष गुप्ता, बी.एल. अग्रवाल, डॉ. सौगत मुखर्जी, दिनेश अग्रवाल तथा अन्य पदाधिकारियों ने बैठक में हिस्सा लिया।