अंबिकापुर. पूरे देश मे सडको मे नमाज और हनुमान पाठ पढने को लेकर बहुत बवाल हो चुका . इसी बीच अम्बिकापुर मे अतिथि व्यख्याताओ ने बजरंग दल के कार्यकर्ताओ के साथ सडक मे बैठकर हनुमान पाठ किया. लेकिन ये लोग किसी दल से प्रभावित नहीं है. बल्कि ये लोग अपने अपने उस रोजगार के लिए ये धार्मिक प्रदर्शन कर रहें है.. जिसके सहारे कई वर्षो से इन लोगो के परिवार का पालन पोषण हो रहा था..
अम्बिकापुर के अम्बेडकर चौक पर सडक पर बैठे ये लोग जिले के शासकीय कालेजों मे पढाने वाले अतिथि व्यख्याता हैं.. अतिथि व्यख्याता मतलब शासकीय कालेजो मे नियमित व्यख्याताओ की कमी को पूरा करने वाले वो शिक्षक जो, अभी तक विभिन्न महाविद्यालयो मे छात्रो का भविष्य गढ रहें थे.. लेकिन अब इन्हे मजबूरी मे सडक पर हनुमान पाठ पढना पड रहा है.. हनुमान पाठ भी इस लिए क्योकिं छत्तीसगढ शासन को सद्बुद्धी आ सके. इधर इस आंदोलन मे अथिति व्यख्याताओ की मांग को पुरजोर तरीके से उठाने का बीडा उठाने वाले बजरंग दल के लोगो की माने तो कालेजो मे इस शैक्षणिक सत्र को करीब 144 घंटे बीत गया है. एक महीने बाद कालेज मे परीक्षाए शुरु हो जाएगी. ऐसे मे अब तक अतिथि व्यख्याताओ की नियुक्ति नहीं हुई है.. जिससे कालेजी छात्रो का भविष्य अधर मे लटक गया है..
धार्मिक अंदाज मे किए इस प्रदर्शन मे अतिथि व्यख्याताओ की माने तो वर्षो से कालेजो की पढाई मे बेहतर भूमिका निभाने के बाद भी राज्य सरकार उनकी नियुक्ति को लेकर कोई कदम नही उठा रही है. दरअसल कालेजो मे पढाने वाले अतिथि व्यख्याताओ की माने तो उनको बाहर का रास्ता दिखाने के बाद उनके द्वारा उच्च न्यायालय बिलासपुर से स्टे लाया गया, सीएम से मुलाकात की गई. रायपुर के कटोरा तालाब के पास प्रदेश भर के अतिथि व्यख्याताओ ने अपनी नियुक्ति की मांग को लेकर प्रदर्शन भी किया. उसके बाद भी उनके नियुक्ति मे आ रहे संकट के कारण.. अब इन लोगो ने संकट मोचन हनुमान जी का पाठ कर सरकार को सद्बुद्धी देने की प्रार्थना की है..
वैसे को पूरे प्रदेश मे अतिथि व्यख्याताओ की नियुक्ति अब तक किसी भी कालेज मे नहीं हुई है. लेकिन अम्बिकापुर मे धार्मिक अंदाज मे किया गया ये प्रदर्शन निश्चित तौर पर सरकार की निगाहे अपनी ओर इनायत करने को मजबूर कर सकता है.. बहरहाल ये तो सरकार के पाले की बात है कि अतिथि व्यख्याताओ की नियुक्ति होती है.. या फिर सरकार खाली पडे पदो मे नियमित व्यख्य़ाताओ की नियुक्ति पर ध्यान देती है..