पसीने की कमाई के लिए भटकते मजदूरों ने अब थाने मे टेका माथा… साहब पसीने की कमाई खा गए सरपंच लोग

  • भुगतान नही मिला तो सरपंच के विरुद्ध थाने में रिपोर्ट दर्ज कराने पहुँचे मजदूर।
अम्बिकापुर (सीतापुर से अनिल उपाध्याय )नरेगा के तहत डबरी निर्माण करने वाले मजदूर साल भर बाद भी मजदूरी नही मिलने से हताश होकर सरपंच के विरुद्ध थाने में रिपोर्ट दर्ज कराने थाने पहुँचे।थाने में उन्होंने सरपंच के ऊपर फर्जी मजदूरों के नाम से पैसा आहरण कर गबन करने का आरोप लगा कार्रवाई की माँग की थानेदार द्वारा आश्वासन के बाद मजदूर नरम पड़े।
पसीने की कमाई के लिए द साल से भटकते मजदूर
गौरतलब है कि सन 2016-17 में विकास खँड मैनपाट के ग्राम पंचायत चिड़ापारा में मनरेगा के तहत हुये डबरी निर्माण में गाँव के राजेश्वर, सुंदर, सविता,केन्दी,झुना, काया, निरंजन, बालम साय, छमिया, शांतिप्रकाश समेत दर्जन भर अन्य मजदूरों ने मजदूरी कार्य किया था किंतु साल भर बित गये इन मजदूरों को मजदूरी का भुगतान नही प्राप्त हुआ।कई बार इन्होंने सरपंच से मजदूरी भुगतान करने की गुहार लगाई लेकिन  सरपंच मजदूरी भुगतान कराने के बजाये चुप्पी साधे बैठा रहा।परेशान मजदूरो ने जनपद पंचायत से लेकर कलेक्टर कार्यालय तक गुहार लगाई जनदर्शन में भी अपना रोना रोया लेकिन किसी ने मजदूरों की नही सुनी….
फर्जी मस्टर रोल का खेल
इस संबंध में डबरी निर्माण में मजदूरी करने वाले मजदूरों ने बताया की सरपंच-सचिव एवं रोजगार सहायक ने काम करने वाले मजदूरों की जगह फर्जी मजदूरों का नाम मस्टर रोल में दर्ज कर दिया और उन फर्जी मजदूरों को अपने प्रलोभन में लेकर ग्राहक सेवा केंद्र के संचालक के सहयोग से पैसा आहरित कर आपस मे बंदरबांट कर लिया जब हमने आवाज उठाई तो हमे धमकाने लगा।इस संबंध में हमने सम्बंधित अधिकारियों को कई बार अवगत कराया किन्तु उन्होंने ध्यान नही दिया।अधिकारियों की उदासीनता एवं भाग-दौड़ से थक-हार कर हताश मजदूर और विकल्प न देख किसान काँग्रेस की प्रदेश महामंत्री सरिता चौहान के साथ थाने पहुँचे और सरपंच के विरुद्ध रिपोर्ट दर्ज कराने की माँग पर अड़ गये किन्तु थानेदार द्वारा उचित सहयोग के आश्वासन पर बात मान गये।
पहले सरपंच से मिलेंगे फिर होगी कार्यवाही
इस संबंध में थाना प्रभारी मनीष धुर्वे ने बताया कि वो सरपंच चिड़ापारा को बुला कर पूरी वस्तुस्थिति से अवगत होंगे फिर मजदूरों का भुगतान हेतु उचित कार्रवाई किया जायेगा।