बलरामपुर..(कृष्णमोहन कुमार)…आज कांग्रेस के दो दिग्गज नेताओं मध्यप्रदेश के प्रथम मुख्यमंत्री पण्डित रविशंकर शुक्ल, पूर्व केंद्रीय मंत्री पण्डित विद्याचरण शुक्ल की जयंती मना रहा है..इसी बीच कांग्रेस के परम्परा के अनुरूप पार्टी की अंतर्कलह एक बार फिर सामने आ गई है..वही एक युवक ने खुद को कट्टर कांग्रेस कार्यकर्ता होने का हवाला देते हुए..शोसल मीडिया पर दो पोस्ट किए है..और ब्लाक कांग्रेस कमेटी पर यह सवाल दागा है..की आखिर प्रदेश की सत्ता में होने के बाद भी पार्टी के महापुरुषों की जयंती मनाने के लिए अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं को उपेक्षित कर ..अन्य पार्टी के कार्यकर्ताओं आमंत्रित किया गया!..
दरअसल शोसल मीडिया पर शंकरगढ़ ब्लाक के डीपाडीह निवासी युवक अमित पांडे ने 2 पोस्ट किए है..इस पोस्ट की खासियत यह है..की उसने स्थानीय कांग्रेस में चल रही आपसी खींचतान को जगजाहिर कर दिया है..कट्टर कांग्रेस कार्यकर्ता के रूप में अपनी छवि बना चुके अमित पांडे का आरोप है..की कांग्रेस प्रदेश की सत्ता में है..और कांग्रेस दो महापुरुषों की आज जयंती मनाई गई..लेकिन पार्टी के दिग्गज नेताओं को आमंत्रित तक नही किया गया..और तो और ब्लाक कांग्रेस कमेटी के कार्यक्रम में अन्य राजनैतिक दल से ताल्लुकात रखने वाले कार्यताओ को आमंत्रित गया ..
आज शंकरगढ़ ब्लाक कांग्रेस अध्यक्ष सत्यनारायण अग्रवाल ने लोकनिर्माण विभाग के विश्राम गृह में पंडित रविशंकर शुक्ल,पण्डित विद्याचरण शुक्ल की जयंती के अवसर पर एक कार्यक्रम का आयोजन किया था..जिसमे क्षेत्र के वरिष्ठ कांग्रेसी केपी सिंहदेव(नान बाबा),महेश्वर पैकरा समेत अन्य पार्टी पदाधिकारी तो नही दिखे..लेकिन जो इस कार्यक्रम की जो फोटो शोसल मीडिया पर वायरल हुई..उसमे दिलचस्प तो यह है कि..2 भगवाधारी जरूर दिखे..कांग्रेस कार्यकर्ता अमित पांडे के मुताबिक इस कार्यक्रम में वरिष्ठ नेताओं को तो आमन्त्रित नही किया गया..लेकिन दो भगवाधारी बुलाये गए थे..और लगभग दर्जनभर लोग कार्यक्रम में सम्मिलित हुए थे..पार्टी के इन दिवंगत महापुरुषों के तस्वीरों को रखने के लिए भी..ब्लाक कांग्रेस अध्यक्ष कपड़े की व्यवस्था तक नही कर पाए..
बता दे कि शंकरगढ़ सामरी विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत है..और यहाँ से चिंतामणि महराज विधायक है..और अब तो उन्हें संसदीय सचिव के पद से नवाजा गया है..ये वही चिंतामणि महाराज जिन्हें कांग्रेस पार्टी ने 2018 के विधानसभा चुनाव में चुनाव मैदान में उतारा था..या यूं कहें तो उनकी सीट बदलकर उन्हें किश्मत आजमाने का मौका दिया था..उस वक्त कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व शंकरगढ़ जनपद पंचायत अध्यक्ष केपी सिंहदेव ,महेश्वर पैकरा समेत कई स्थानीय दिग्गज नेताओं ने चिंतामणि महराज के लिए चुनाव कैम्पेनिग की..और उन्होंने जीत दर्ज की..लेकिन जीत के बाद पार्टी में गुटबाजी का दौर शुरू हो गया..और स्थानीय कांग्रेसियो ने खुद ही संज्ञा दी पुराना कांग्रेसी और नया कांग्रेसी..
बहरहाल समय रहते विधानसभा चुनाव से पहले चिंतामणि महराज को गुटबाजी ठीक करनी होगी..और यह स्थिति जस की तस बनी रही तब आगामी विधानसभा चुनाव के परिणाम घातक साबित हो सकते है!..