दुर्ग-भिलाई : पूर्व महापौर नीता लोधी ने प्रेस विज्ञप्ति कर बताया कि केंद्र सरकार द्वारा जारी किए गए राजस्व संग्रहण के आंकड़े प्रमाणित कर रहे हैं कि छत्तीसगढ़ कांग्रेस सरकार की कृषि, वनोपज एवं पशुधन संबंधी नीतियां पूरे देश में सर्वोत्कृष्ट हैं। प्रदेश में पिछले वर्ष जुलाई में 1832 करोड़ रुपए का जीएसटी संग्रहण हुआ था, जबकि इस वर्ष जुलाई में 2432 करोड़ रुपए का जीएसटी संग्रहण हुआ है जो कि पिछले वर्ष से 33% अधिक है।
केंद्र सरकार द्वारा जारी किए गए ताजा आंकड़ों के मुताबिक छत्तीसगढ़ में जीएसटी संग्रहण में हुआ ग्रोथ मध्यप्रदेश के 16 प्रतिशत, कर्नाटक के 12 प्रतिशत, उत्तरप्रदेश के 18 प्रतिशत, बिहार के 21 प्रतिशत, पंजाब के 29 प्रतिशत, उत्तराखंड के 12 प्रतिशत, राजस्थान के 12 प्रतिशत, पश्चिम बंगाल के 15 प्रतिशत, केरल के 27 प्रतिशत, और आंध्रप्रदेश के 28 प्रतिशत की तुलना में कहीं अधिक है।
जीएसटी संग्रहण में वृद्धि का यह प्रतिशत न केवल अन्य राज्यों के मुकाबले, बल्कि देश में हुए कुल जीएसटी संग्रहण से भी यह 1% अधिक है। कृषि के मामले में समृद्ध माने जाने वाले राज्य, पंजाब के मुकाबले छत्तीसगढ़ के जीएसटी संग्रहण में 4% अधिक बढ़ोतरी हुई है।
कोरोना महामारी की विभीषिका को झेलकर भी माननीय मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी की नीतियों ने राज्य की समृद्धि को बनाए रखा। कांग्रेस सरकार द्वारा कर्ज माफी के बाद, कृषि छोड़ चुके हजारों किसान कृषि की ओर वापस लौटे। उसके बाद राजीव गांधी किसान न्याय योजना से किसानों को आर्थिक मजबूती मिली। पिछले वर्ष प्रदेश के करीब 19 लाख किसानों को इस योजना का लाभ मिला था जबकि इस वर्ष 22 लाख किसान इस योजना का लाभ ले रहे हैं।
वनोपज संग्रहण के मामले में भी छत्तीसगढ़ अव्वल है। छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार ने तेंदूपत्ता का समर्थन मूल्य ₹2500 प्रति मानक बोरा से बढ़ाकर ₹4000 प्रति मानक बोरा कर दिया है, इसके अलावा राज्य में 51 वनोपजों की खरीदी समर्थन मूल्य पर हो रही है। यह नीतियां आदिवासी क्षेत्रों के आर्थिक उन्नयन में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं।
ग्रामीण क्षेत्रों में महात्मा गांधी रोजगार गारंटी योजना से रोजगार तो मिला ही है, साथ ही गोधन न्याय योजना के माध्यम से गोबर खरीदी, जैविक खाद निर्माण और बिक्री से किसान, पशुपालक व स्वसहायता समूह के सदस्य भी लाभान्वित हुए हैं।
कुल मिलाकर जीएसटी संग्रहण में वृद्धि, छत्तीसगढ़ कांग्रेस सरकार की कुशल एवं दूरदर्शी नीतियों का परिणाम है जिनपर केंद्र सरकार के आंकड़ों ने आज मुहर लगा दी हैं।