केन्द्रीय जेल के भीतर आत्महत्या : सवालो के घेरे में जेल की व्यवस्था

  • जेल अधीक्षक नें दो प्रहरियो को किया निलंबित
  • पिता नें जेल में अन्य कैदियो औऱ बंदियो द्वारा प्रताडित करने का लगाया आरोप
  • जेल बैरक के भीतर बने पृथकवास में चादर का फंदा लगाकर कैदी नें की आत्महत्या

अम्बिकापुर

अम्बिकापुर केन्द्रीय जेल में निरुद्द विचाराधीन कैदी नें आत्महत्या कर ली है.. आत्महत्या के बाद आज सुबह कैदी का पोस्टमार्डम जिला चिकित्सालय अम्बिकापुर में कराया गया है । जेल के भीतर आत्महत्या के इस संवेदनशील मामले में जंहा कैदी के पिता नें जेल में प्रताडना का आऱोप लगाया है वही जेल प्रबंधन ने इस मामले में फिलहाल दो जेल प्रहरियो को निलंबित कर दिया है।

अम्बिकापुर केन्द्रीय जेल समय समय पर अपने कारनामो के लिए चर्चा में बना रहता है.. मौजूदा मामला जेल के भीतर कैदी की आत्महत्या का है.. जिसको लेकर केन्द्रीय जेल के भीतर प्रताडना का संदेह जाहिर किया जा रहा है.. दरअसल जिले के सीतापुर थाना क्षेत्र के देवगढ बकरीपारा का रहने वाला आरोपी राजेन्द्र प्रसाद हत्या के मामले में ,, 27 मई 2015 को अम्बिकापुर केन्द्रीय जेल में दाखिल हुआ था,, जिसके बाद कल रात जेल से खबर आई कि विचाराधीन बंदी राजेन्द्र नें बैरक के अंदर पृथक वास में चादर से लटककर खुदखुशी कर ली है… इधर आज पोस्टमार्डम करने वाले जिला चिकित्सालय के डाक्टर के पी विश्वकर्मा नें भी आत्महत्या से राजेन्द्र के मौत की पुष्टी कर दी है।

जेल के भीतर इस घटना के बाद जेल अधीक्षक एन.के.टोप्पो नें एक मुख्य प्रहरी और एक प्रहरी को निलंबित कर दिया है… इधर केन्द्रीय जेल के भीतर बैरक और बैरक के भीतर बने पृथकवास में राजेन्द्र की खुदखुशी के बाद भले ही जेल प्रबंधन ने तत्काल प्रभाव से कार्यवाही कर दो कर्मचारी को निलंबित कर दिया हो.. लेकिन मृतक कैदी के पिता नें राजेन्द्र की मौत के लिए जेल में होने वाली प्रताडना को जिम्मेदार बताया है । कैदी राजेन्द्र के पिता के मुताबिक पिछले दिनो परिवार को कोई भी सदस्य जब जेल में राजेन्द्र से मुलाकात करने पंहुचा तो राजेन्द्र ने उनके जल्द से जल्द अपनी रिहाई करवाने की गुहार लगाई थी। और उसने जेल में अन्य बंदियो की प्रताडना कि शिकायत भी परिजनो से की थी।

अम्बिकापुर केन्द्रीय जेल के भीतर काफी दिनो की शांति के बाद राजेन्द्र की आत्महत्या मामले ने फिर से जेल प्रबंधन की कार्यप्रणाली पर सवाल खडा कर दिया है। बहरहाल जेल प्रबंधन नें पोस्टमार्डम के बाद शव परिजनो को सौंप दिया है… लेकिन परिजन अब भी अपने बेटे की मौत को लेकर जेल में मिलने वाली प्रताडना को जिम्मेदार बता रहे है..