कलेक्टर डाँ. बसवराजु एस. ने कहा है कि जिले में सिचाई क्षमता की बढ़ौतरी हो इसे ध्यान में रखते हुए अधिकारी जलाषय, एनिकट निर्माण एवं पूराने नहरों एवं जलाषयों की मरम्मत कार्याें को गुणवत्तापूर्वक त्वरित गति से निर्धारित समयावधि में पूर्ण करें। कलेक्टर ने आज जल संसाधन विभाग की समीक्षा बैठक में वर्ष 2012-13 में सृजित की गई सिचाई क्षमता एवं वर्ष 2013-14 में सिचाई क्षमता का सृजन एवं योजनावार लक्ष्य की कार्यपूर्णता की समीक्षा की। उन्होंने जिले के जलाषयों में वर्तमान में शेष बचे जल का उपयोग जल उपभोक्ता समिति एवं कृषकों से परामर्ष कर आवष्यकतानुसार रबि फसल हेतु उपयोग के लाये जाने के निर्देष दिये। कलेक्टर ने जलाषय निर्माण के दौरान भू-अर्जन के लंबित प्रकरण के निराकरण हेतु सभी एस.डी.ओ. जल संसाधन को संबंधित एस.डी.एम. से स्वयं मिलकर प्रकरण निराकरण के लिए पहल करने के निर्देष दिये। उन्होंने कहा कि अधिकारी यह सुनिष्चित करें कि भू-अर्जन के कोई भी प्रकरण लंबित नहीं होना चाहिए। बैठक में बताया गया कि बेमेतरा जल संसाधन संभाग में 138 योजनाएं निर्मित है। उक्त योजनाएं36 हजार 531 हेक्टर हेतु निर्माण किया गया है। साथ ही तान्दुला जल संसाधन संभाग से जिले के बेरला क्षेत्र में 10 हजार 742 क्षेत्र में सिचाई होती है। जिले में 20 एनिकट निर्मित है। जिससे 2 हजार 665 हेक्टर में स्वयं के साधन से सिचाई का लाभ कृषकों को प्राप्त है। बैठक में जल संसाधन संभाग बेमेतरा के कार्यपालन अभियंता श्री एस.के. जार्ज, तान्दुला जल संसाधन संभाग के एस.डी.ओ. श्री बिसेन, तथा नलकूप विभाग एवं जल संसाधन विभाग के अनुविभागीय अधिकारी उपस्थित थे।
क्रमांक/ 14/सोरी/साहू