रायपुर। छत्तीसगढ़ के कोरबा में आदिवासी पहाड़ी कोरवा परिवार के 3 सदस्यों की हत्या कर दी गई। मृतकों में पिता-पुत्री और 4 साल की नातिन शामिल है। तीनों के शव मंगलवार को गांव से लगे जंगल में बरामद हुए हैं। बताया जा रहा है कि किशोरी को जिंदा दफन कर दिया गया था। उसे अस्पताल ला रहे थे तो रास्ते में मौत हो गई। बाकी दोनों की सिर कुचलकर हत्या की गई है। पुलिस ने मंगलवार देर शाम मुख्य आरोपी संतराम यादव सहित 4 को गिरफ्तार कर लिया है। संतराम ने अपने साथी उमाशंकर यादव, अब्दुल जब्बार, अनिल सारथी, परदेशी दास व अनंत दास के साथ मिलकर उनकी हत्या की। वहीं परदेशी दास व अनंत दास फरार है।
लेमरू थाना क्षेत्र के देवपहरी गांव निवासी धरमू उर्फ झकड़ी राम (45), उसकी बेटी तीजमति (16) और नातिन सतमति (4) की गढ़ जंगल में हत्या कर दी गई। तीनों शुक्रवार से लापता थे। परिजन उनकी तलाश कर रहे थे। मंगलवार को गढ़-उपरोड़ा के जंगल में धरमू का शव मिला। इसकी सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची, तो सर्चिंग के दौरान सतमति का शव बरामद हुआ। जबकि तीजमति बेहद गंभीर हालत में मिली थी।
बताया जा रहा है कि धरमू उर्फ झकड़ी कोरवा अपनी पत्नी और बच्चों के साथ संतराम यादव के यहां करीब एक साल से मवेशी चराने का काम करता था। संतराम यादव ने शुक्रवार को काम नहीं होने की बात कहकर उन्हें गांव जाने के लिए कह दिया। इस पर धरमू अपनी पत्नी, बेटी और नातिन के साथ पैदल ही गांव लौट रहा था। आरोप है कि रास्ते में संतराम यादव बाइक लेकर अपने कुछ साथियों के साथ पहुंचा और उन्हें घर तक छोड़ने की बात कही।
इस पर संतराम यादव की बाइक में धरमू कोरवा अपनी बेटी तीजमति और नातिन सतमति के साथ बैठ गया। जबकि एक अन्य बाइक पर उसकी पत्नी अपने डेढ़ साल के पुत्र के साथ बैठ गई। कुछ समय बाद बच्चे के साथ पत्नी गांव पहुंच गई, लेकिन धरमू और दोनों लड़कियां नहीं पहुंचे। आरोप है कि इस संबंध में जब परिजनों ने संतराम से पूछा तो उसने गांव के पास ही छोड़कर जाने की बात कही। इसके बाद से ही परिजन तीनों की तलाश कर रहे थे।
चार दिन तलाश के बाद भी तीनों का पता नहीं चला तो परिजन मंगलवार को थाने पहुंच गए। उनकी शिकायत पर पुलिस ने जांच शुरू की तो धरमू का शव पड़ा होने का पता चला। इस पर पुलिस ने संतराम को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो उसने जंगल में लड़कियों के होने की बात बताई। पुलिस ने निशानदेही पर 4 साल की बच्ची का शव बरामद किया, लेकिन तीजमति की सांसे चल रही थी। उसे जिला अस्पताल लाने के दौरान रास्ते में मौत हो गई।