इंदौर
- शिक्षा के लोकव्यापीकरण से ही आयेगा सामाजिक बदलाव : राष्ट्रपति
राष्ट्रपति श्री प्रणब मुखर्जी ने कहा है कि शिक्षा के लोक व्यापीकरण की पहल के माध्यम से ही सामाजिक बदलाव की प्रक्रिया शुरू हो सकती है। वे आज इंदौर में ब्रिलिएंट कन्वेंशन सेंटर में राज्य सरकार के ‘स्कूल चलें हम’ अभियान कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।
राष्ट्रपति ने साक्षरता बढ़ाने की मध्यप्रदेश की पहल की सराहना करते हुए कहा कि इस महत्वपूर्ण काम में सभी वर्गों का सहयोग लिया गया है और जन-जागरूकता बढ़ायी जा रही हैं। उन्होंने अभियान की शुरूआत को मध्यप्रदेश के इतिहास में मील का पत्थर बताया। श्री मुखर्जी ने राज्य सरकार से संकल्प लेने का आग्रह किया कि इस अभियान को तब तक जारी रखें जब तक प्रदेश 100 प्रतिशत साक्षरता हासिल न कर ले।
श्री मुखर्जी ने कहा कि स्कूल चलें अभियान के माध्यम से मध्यप्रदेश ने शिक्षा के लोक व्यापीकरण की पहल कर सामाजिक बदलाव की शुरूआत की है। श्री मुखर्जी ने कहा कि यह काम संभव है क्योंकि यह अभियान केवल सरकारी मशीनरी पर निर्भर नहीं है। सरकार हर काम नहीं करती। उन्होंने कहा कि साक्षरता बढ़ाने के काम में हर वर्ग का सहयोग जरूरी है। राष्ट्रपति ने कहा कि उन्हें इस बात की प्रसन्नता है कि इस कार्य में कार्पोरेट, एनजीओ और संबंधित हितग्राही वर्ग को भी जोड़ा गया है।
राष्ट्रपति ने कहा कि संविधान बनाते समय हमने यह संकल्प लिया था कि 14 साल तक के हर बच्चे को प्राथमिक शिक्षा देंगे लेकिन साठ साल बाद भी यह वचन पूरा नहीं कर पाये। अंतत: हमने शिक्षा का अधिकार अधिनियम लागू किया। उन्होंने कहा कि सिर्फ कानून बनाने से अशिक्षा दूर नहीं होगी। यदि ज्यादा संख्या में हमारे बच्चे अशिक्षित रहें तो देश का निर्माण करने वाले इंजीनियर्स और चिकित्सक कहाँ से आयेंगे। उन्होंने कहा कि यदि भारत में सबसे ज्यादा अशिक्षित लोग हैं तो हमने कौन सी प्रगति की है। श्री मुखर्जी ने समाज के शिक्षित वर्ग इंजीनियर्स, चिकित्सकों से आग्रह किया कि वे शिक्षा का अधिकार कानून में ज्यादा से ज्यादा बच्चों को शिक्षित करने की जिम्मेदारी उठायें। राष्ट्रपति ने कहा कि केवल दाखिले की प्रक्रिया तक सीमित रहने से काम नहीं चलेगा। स्कूलों में बच्चों की उपस्थिति जरूरी है। उन्होंने कहा कि भारत को अशिक्षा दूर करने की दिशा में आगे बढ़ने से कोई नहीं रोक सकता। राष्ट्रपति ने कहा कि इस दिशा में मध्यप्रदेश ने महत्वपूर्ण पहल की है।
राज्यपाल श्री रामनरेश यादव ने कहा कि अच्छे भविष्य का आधार मजबूत स्कूल शिक्षा होती है। स्कूल चलें हम अभियान मध्यप्रदेश में एक नया इतिहास बना रहा है। इस अभियान को सभी मिलकर सफल बनायें। मध्यप्रदेश तेजी से विकसित होता प्रदेश है। राज्य सरकार इस अभियान के माध्यम से शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार की पहल कर रही है। यह समाज के हर व्यक्ति की जिम्मेदारी है कि वह हर बच्चे को पढ़ायें।
लोकसभा अध्यक्ष श्रीमती सुमित्रा महाजन ने कहा कि शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार के लिये आधुनिक तकनीक का उपयोग करें। शिक्षकों के प्रशिक्षण पर भी ध्यान दिया जाना चाहिये। अपने आसपास के हर बच्चे को स्कूल भेजें। स्कूल शिक्षा पूरी करने के बाद ही जीवन को उन्नत बनाने वाली उच्च शिक्षा की ओर बढ़ा जा सकता है। मध्यप्रदेश को शिक्षा के क्षेत्र में भी अग्रणी प्रदेश बनायें।
मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि मध्यप्रदेश को विकसित और समृद्ध बनाने के लिये शिक्षित मध्यप्रदेश बनाना होगा। हम प्रदेश के हर बच्चे को स्कूल भेजेंगे। बच्चे पढ़ेंगे तभी प्रदेश बढ़ेगा। बच्चों को स्कूल भेजने के इस अभियान से समाज का हर वर्ग जुड़े। हमारा सपना है कि मध्यप्रदेश का हर बच्चा स्कूल जाये और अपना बेहतर भविष्य बनाये। सरकार के साथ जब समाज जुड़ता है तो हर काम संभव होता है। सरकार ने बच्चों की शिक्षा के लिये कई योजनाएँ बनाई हैं। बच्चों को निःशुल्क किताबें, गणवेश, साइकिल और छात्रवृत्ति दी जा रही है। बारहवीं कक्षा में 85प्रतिशत अंक लाने पर लेपटॉप और महाविद्यालय में प्रवेश लेने पर स्मार्ट फोन दिया जायेगा । प्रतिभाशाली बच्चों की शिक्षा में कोई बाधा नहीं आने देने के लिये उच्च शिक्षा ऋण गारंटी योजना शुरू की गयी है, जिसमें शिक्षा ऋण की गारंटी राज्य सरकार लेती है। उन्होंने कहा कि बच्चे पढ़ें और देश और प्रदेश को आगे बढ़ायें। स्वामी विवेकानंद का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि दृढ़ निश्चय करके आगे बढ़ते हैं, तो हर कार्य संभव होता है।
मुख्य सचिव श्री एंटोनी डिसा ने अभियान की रूप रेखा बतायी। उन्होंने कहा कि अभियान से 2 लाख प्रेरक जुड़ गये हैं। स्कूलों की अधोसंरचना में सुधार के लिये निजी व्यक्तियों द्वारा योगदान के लिये स्कूल उपहार योजना शुरू की जा रही है।
कार्यक्रम में अभियान के प्रेरणा गीत, सरस्वती वंदना और भारत वंदना की प्रस्तुति दी गयी। कार्यक्रम में नगरीय प्रशासन तथा विकास मंत्री श्री कैलाश विजयवर्गीय, स्कूल शिक्षा मंत्री श्री पारस जैन, आदिम जाति एवं अनुसूचित-जाति कल्याण मंत्री श्री ज्ञानसिंह, स्कूल शिक्षा राज्य मंत्री श्री दीपक जोशी, महापौर श्री कृष्णमुरारी मोघे, इंदौर विकास प्राधिकरण के अध्यक्ष श्री शंकर ललवानी, जिला पंचायत अध्यक्ष श्री ओमप्रकाश परसावदिया, विधायक सर्वश्री सुदर्शन गुप्ता, रमेश मेंदोला, सुश्री उषा ठाकुर, श्रीमती मालिनी गौड़ और श्री राजेन्द्र वर्मा, लोकायुक्त श्री पी.पी. नावलेकर सहित बड़ी संख्या में स्कूली बच्चे उपस्थित थे। आभार प्रदर्शन अपर मुख्य सचिव श्री एस.आर. मोहंती ने किया।
राष्ट्रपति को इंदौर विमान तल पर दी गयी विदाई
राष्ट्रपति श्री प्रणब मुखर्जी को आज एक दिवसीय इंदौर यात्रा के बाद इंदौर विमान तल पर भावभीनी विदाई दी गई। राज्यपाल श्री रामनरेश यादव, लोकसभा अध्यक्ष श्रीमती सुमित्रा महाजन, मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान ने इंदौर यात्रा के प्रति आभार व्यक्त करते हुए उन्हें विदाई दी। मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान ने राष्ट्रपति को उनकी मध्यप्रदेश यात्रा के चित्रों का एलबम भेंट किया।
विमान तल पर राष्ट्रपति को विदाई देने वालों में नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री श्री कैलाश विजयवर्गीय, मुख्य सचिव श्री अंटोनी डिसा, लेफ्टिनेंट जनरल एम.सी.टी.ई. महू श्री राजेश पंत, कमिश्नर, कलेक्टर, पुलिस महानिरीक्षक,डीआईजी, विधायक, अन्य जन-प्रतिनिधि मौजूद थे।