कर्नाटक की मांड्या सीट से पूर्व सांसद रहे जी मेड गौड़ा का मांड्या के एक अस्पताल में निधन हो गया। बताया जा रहा है कि फेफड़े की बीमारी से ग्रसित जी मेड गौड़ा का अस्पताल में इलाज चल रहा था। पूर्व सांसद के निधन पर कर्नाटक के मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने अपनी संवेदना प्रकट की है। उन्होंने महात्मा गांधी की दी हुई शिक्षा को आत्मसात किया था। कावेरी नदी के पानी के बंटवारे को लेकर हुए आंदोलन में वो सबसे आगे थे। जी मेड गौड़ा का निधन 94 साल की उम्र में हुआ है। जी मेड गौड़ा मांड्या के एक बड़े नेता थे। जी मेड गौड़ा किरुगावल्लू से छह बार विधायक भी रहे। बताया जाता है कि छात्र जीवन के दौरान उन्होंने आजादी की लड़ाई में भी हिस्सा लिया और जेल भी गये। मांड्या जिले के गुरुदेवराहल्ली में साल 1928 को जन्में जी मेड गौड़ा ने मैसूर स्थित महाराजा कॉलेज और बेंगलुरु स्थित सरकारी लॉ कॉलेज से पढ़ाई की।
जी. मेड गौड़ा साल 1989 में मांड्या से सांसद बने। इसके बाद वो साल 1991 में वो दोबारा सांसद बने। इससे पहले वो साल 1980-1983 के बीच गुंडू राव सरकार में वन विभाग का मंत्रालय भी संभाला।
तमिलनाडु के कावेरी नदी के पानी को लेकर विवाद के दौरान गौड़ा ने किसानों के हित में लंबी लड़ाई लड़ी। गौड़ा कावेरी किसान कल्याण समिति के प्रमुख भी रहे। पारिवारिक सूत्रों के मुताबिक पूर्व सांसद के पार्थिव शरीर को उनके घर मांड्या ले जाया जाएगा। यहां लोगों के अंतिम दर्शन के लिए शव को रखा जाएगा। गौड़ा के निधन पर कई राजनेताओं, किसान संगठनों और कई अन्य हस्तियों ने उनके निधन पर शोक जाहिर की है। पूर्व सांसद का अंतिम संस्कार आज किया जाएगा।