चंडीगढ़। पंजाब में विधानसभा चुनाव की गहमागहमी के बीच एक बड़ी हलचल उस वक्त मच गई। जब प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गुरुवार देर रात मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी के भतीजे भूपिंदर सिंह हनी को गिरफ्तार कर लिया। ईडी ने भूपिंदर सिंह हनी के खिलाफ ये कार्रवाई अवैध रेत खनन मामले में मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों के तहत की है। इससे पहले ईडी ने इस मामले में भूपिंदर सिंह हनी से जालंधर में दिनभर करीब 8 घंटे तक लंबी पूछताछ की और इसके बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया।
गौरतलब है कि कुछ दिन पहले ही ईडी ने छापेमारी कर भूपिंदर सिंह हनी के घर से 7.9 करोड़ रुपए और उनके सहयोगी संदीप कुमार के ठिकानों से 2 करोड़ रुपए जब्त किए गए। जब्त किए गए कैश को लेकर ईडी के अधिकारी भूपिंदर सिंह हनी और संदीप सिंह सहित उनके दो सहयोगियों से फिर से पूछताछ करेंगे। ईडी के अधिकारियों को शक है कि अवैध रेत खनन मामले में मनी लॉन्ड्रिंग के लिए फर्जी कंपनियों का इस्तेमाल किया गया था। जांच में सामने आया कि भूपिंदर सिंह, कुदरतदीप सिंह और संदीप कुमार ऐसी ही एक कंपनी ‘प्रोवाइडर्स ओवरसीज सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड’ के निदेशक हैं। इसके बाद अधिकारियों ने इस मामले में इन तीनों से पूछताछ शुरू की थी।
‘प्रोवाइडर्स ओवरसीज सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड’ कंपनी अक्टूबर 2018 में बनाई गई थी। ईडी के अधिकारियों को शक है कि रेत खदान का ठेका इस कंपनी को दिलाने में बड़े पैमाने पर ब्लैक मनी का इस्तेमाल किया गया। ये कंपनी बहुत छोटे पैमाने की है और ऐसी कोई संभावना नहीं थी, जिससे इस कंपनी को करोड़ों का ठेका मिल सके। आपको बता दें कि मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी के भतीजे भूपिंदर सिंह हनी पर हुई इस कार्रवाई को लेकर पंजाब की सियासत भी गरमाई हुई है। विपक्ष ने सरकार पर अवैध रेत खनन में शामिल होने का आरोप लगाया है। इससे पहले दिसंबर 2021 में आम आदमी पार्टी ने आरोप लगाया था कि अवैध रेत खनन का कारोबार सीएम चन्नी के अपने निर्वाचन क्षेत्र चमकौर साहिब में बड़े पैमाने पर फल-फूल रहा है।