अम्बिकापुर
सरगुजा पुलिस ने चिटफंड कंपनियों के खिलाफ शिकंजा कशना शुरु कर दिया है ! दरअसल बीते कुछ महीने पूर्व टीशा ग्रुफ ऑफ कंपनी के विरुद्ध कंपनी के ही एक एजेंट नें एफआईआर दर्ज कराया था ! जिसके तहत पुलिस लगातार जांच में जुटी हुई थी ! पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार इस ग्रुप के डायरेक्टर सोमित्र दास तरुण डे और चंदुलाल केशवानी नें मिलकर इस कंपनी की स्थापना की थी ,और एजेंटो के माध्यम से पैसे की उगाही का काम शुरू किया था! कंपनी के कर्मचारी से मिली शिकायत के बाद पुलिस नें कंपनी के दफ्तर को सील कर दिया था !
पुलिस और प्रशासन की इस के बाद से कंपनी के डायरेक्टर और संचालक मंडल के अन्य सदस्य पिछले कई महीनो से फरार थे,, लेकिन इनकी फरारी के बाद से पुलिस लगातार इन पर नजर बनाए हुए थी,, जिसमें अब सरगुजा पुलिस को सफलता मिल गई है !वेस्ट बंगाल के मेधनीपुर से सोमित्र दास और रायगढ से तरुण डे को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है,, पुलिस की माने तो इस कंपनी के माध्यम से लगभग दो करोङ चालिस लाख रुपए का फर्जीवाङा किया गया है पुलिस की जांच अभी जारी है,, बहरहाल इनकी गिफ्तारी से अन्य चिटफंड कंपनियों के उपर दबाव तो बढा ही है साथ ही जिन कंपनियों के विरुद्ध थाने में शिकायत दर्ज है उनके संचालक भी फरार हो गए है ,,
जानकारी के मुताबिक टीशा कंपनी का एक संचालक चंदुलाल केशरवानी रायगढ में पुलिस की दबिश पङते ही वहां से फरार हो गया है ,,, यहां यह बताना लाजमी होगा की इस तरह के कारोबार के लिए उस जिले के कलेक्टर की अनुमति लेना आवश्यक होता है ,, लेकिन टीला नामक कंपनी के संचालको ने बिना अनुमती के सरगुजा जिला मुख्यालय अम्बिकापुर और ग्रामीण इलाकों के लोगों से करोङो रुपए की उगाही की थी ,, फिलहाल पुलिस ने दो लोगो को गिरफ्तार कर लिया है ,,बांकी फरार आरोपियों की जल्द गिरफ्तारी का पुलिस दावा कर रही है,,, लेकिन अब देखना ये है कि टीसा नामक चिट फंड कंपनी के ठगी के शिकार लोगो को कब तक न्याय मिल पाता है!