Balrampur : हालही में छत्तीसगढ़ सरकार ने अनुसूचित जनजातियों का आरक्षण 32 प्रतिशत से घटाकर 20 प्रतिशत कर दिया और वहीं सरगुजा एवं बस्तर संभाग में स्थानीय भर्ती में मिलने वाले 100% आरक्षण को भी समाप्त कर दिया इन दोनों मुद्दों को यथावत करने के लिए सर्व आदिवासी समाज गांव से शहर तक कार्यक्रम आयोजित कर रहा हैं। इस क्रम में जिले के रामचंद्रपुर विकासखंड अंतर्गत ग्राम महादेवपुर में विशाल पण्डो आदिवासी महासम्मेलन आयोजित किया गया था। पण्डो जनजाति समाज के लोगों ने परंपरागत रिति-रिवाज के अनुसार अपने अराध्य देवी-देवताओं का पूजा-पाठ बैगा एवं पण्डो समाज के वृद्ध जनों के द्वारा किया गया और परंपरागत सांस्कृतिक नाच-गान करमा , देवी-देवता भजन प्रस्तुत किया गया। पण्डो जनजाति के जाति प्रमाण पत्र नहीं बनने और मूलभूत सुविधाओं से वंचित होने के संबंध में चर्चा कर आगे इन सभी समस्याओं से निजात पाने के लिए शासन के समक्ष रखने का प्रस्ताव बनाया गया। इस महासम्मेलन में पण्डो समाज के लोग अपने साथ परंपरागत वस्तुएं, तीर-धनुष, बलुआ सहित अपना पहचान लेकर लगभग 10 हजार संख्या से ज्यादा की भीड़ में उपस्थित हुवे।
इस पण्डो महासम्मेलन में आरक्षण बचाओ जन जागरूकता कार्यक्रम सर्व आदिवासी समाज के सभी पदाधिकारियों द्वारा किया गया। आदिवासी समाज के लोगों ने कर्मा पारंपारिक रीति रिवाज से पूजा अर्चना कर कार्यक्रम का प्रारंभ किया। समाज के लोगों को आरक्षण बचाओ जन जागरूकता कार्यक्रम को जन जन तक पहुंचाने के लिए अपील किया गया। समाज के लोगों ने महादेवपुर, ब्राहनगर, डिंडो बाजार में भी हजारों की संख्या में पैदल मार्च किया गया। सर्व आदिवासी समाज के द्वारा बाइक एवं पैदल रैली भी निकाला।
12 अक्टूबर को सरगुजा संभाग के आयुक्त के माध्यम से राज्यपाल एवं मुख्यमंत्री के नाम से “आरक्षण बचाओ यात्रा एवं आरक्षण बचाओ जन जागरूकता कार्यक्रम”के आरंभ के लिए 16 अक्टूबर 2022 को प्रारंभ करने के लिए सूचना दिया गया था। आरक्षण बचाओ जन जागरूकता कार्यक्रम में प्रथम दिन ब्लॉक रामचंद्रपुर की समस्त गांव से 10,000 से ज्यादा आदिवासी लोग अपने खर्चे से इस यात्रा पर शामिल हुए।
सर्व आदिवासी समाज की प्रदेश उपाध्यक्ष उदय पण्डो समाज को संबोधित करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य में अनुसूचित जनजातियों का आरक्षण 32 प्रतिशत से घटाकर 20 प्रतिशत कर दिया जिससे हमें कई परेशानियों का सामना करना पड़ेगा। वर्तमान में सरगुजा और बस्तर संभाग में आदिवासियों का बहुल क्षेत्र है। शैक्षणिक की स्थिति भी बेहतर नहीं है। फिर भी आरक्षण को कम करना समझ के परे है। शिक्षण की स्थिति बेहतर नहीं होने के कारण लोगों में कुपोषण अंधविश्वास व्याप्त है। यदि राज्य सरकार सरगुजा संभाग एवं बस्तर संभाग में स्थानीय भर्ती में मिलने वाले 100% आरक्षण को यथावत नहीं करता है तो सर्व आदिवासी समाज इस यात्रा को गांव के जन जन तक पहुंच जाएगा। पण्डो समाज के प्रांतीय सचिव भी सभा को संबोधित करते हुए कहा कि हमारे विशेष पिछड़ी जनजातियों का जाति प्रकरण बनने में समस्या है एक तरफ हम अपनी वजूद बचाने की लड़ाई लड़ रहे हैं दूसरी तरफ हमारी अधिकार को हनन किया जा रहा है।
आदिवासी समाज युवा प्रभाग के जिलाध्यक्ष अमित सिंह ने विशेष रूप से युवाओं से अपील किया कि आरक्षण जब तक यथावत नहीं किया जाता है तब तक युवाओं के द्वारा बलरामपुर जिले के समस्त ग्रामों में यात्रा को पहुंचना है। जब तक हम अपना अधिकार 32 प्रतिशत आरक्षण नहीं ले लेते तब तक हम चैन से नहीं बैठने वाले। सर्व आदिवासी समाज जिला इकाई बलरामपुर के जिला अध्यक्ष राजकुमार मुर्मू, राजेंद्र सिंह, विनय सिंह, बंधु मरकाम, हंसराज नेताम, अमावस सिंह, रामाशंकर सिंह, चंद्रशेखर, नंद केश्वर पंडो, राजेंद्र पण्डो, मनोज सिंह, देवनारायण पंडो, ध्रुव कुमार, मिखईल एक्का, लल्लू पण्डो, राम प्यारे पंडो, राष्ट्रपति पण्डो, तिलकधारी पंडो, रामविचार पंडो, उदय सांडिल, मुनेश्वर सिंह, रामदेव खैरवार, श्यामसुंदर सिंह, राम ज्ञान सिंह, रामबृक्ष सोयामा, बाघनाथ, बल्लू राम आयाम, लक्ष्मी प्रसाद,मुखदेव श्याम,काफी संख्या में आदिवासी समाज के लोग उपस्थित हुए।