छत्तीसगढ़ में निवेश के लिए व्यापक अवसर और प्रबल संभावनाएं
संयुक्त राज्य अमेरिका-भारत व्यापार परिषद ने आज न्यूयार्क में ’छत्तीसगढ़ निवेशक संगोष्ठी’ का आयोजन किया। परिषद ने इस अवसर पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह का आत्मीय स्वागत किया। संगोष्ठी में 80 से अधिक अमेरिकी उद्योगपति, प्रवासी भारतीय और विभिन्न कम्पनियों के मुख्य कार्यकारी अधिकारी शामिल हुए। यह संगोष्ठी भारतीय दूतावास में रखी गई। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ सरकार का उच्च स्तरीय प्रतिनिधि मंडल बिजनेस मिशन के तहत इन दिनों संयुक्त राज्य अमेरिका के दौरे पर है।
मुख्यमंत्री ने संयुक्त राज्य अमेरिका-भारत व्यापार परिषद (यूएसआईबीसी) की संगोष्ठी को सम्बोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा 500 और 1000 रूपए के पुराने नोटों के विमुद्रीकरण के फैसले का भी उल्लेख किया। डॉ. रमन सिंह ने कहा कि भारत में सबसे बड़े आर्थिक सुधारों की दिशा में प्रधानमंत्री का यह एक ऐतिहासिक कदम है। इससे काले धन के उन्मूलन में मदद मिली है और नक्सलवाद तथा आतंकवाद को वित्तीय सहायता का रास्ता भी बंद हो गया है। काले धन के बाहर आने पर राष्ट्र निर्माण के कार्यों के लिए धन राशि की उचित व्यवस्था भी हो रही है। डॉ. सिंह ने बिजनेस कौंसिल के अमेरिकी सदस्यों को बताया कि भारत सरकार ने देश में टैक्स सुधारों की दिशा में गुड्स एवं सर्विस टैक्स (जीएसटी) कानून लाकर एक महत्वपूर्ण कदम बढ़ाया है। विमुद्रीकरण और जीएसटी दोनों से भारत को विकास के लिए एक नई ताकत मिलेगी।
डॉ. रमन सिंह ने कहा कि छत्तीसगढ़ के नक्सल हिंसा पीड़ित बस्तर संभाग के जिलों में शिक्षा, स्वास्थ्य, कृषि, सड़क, रेल और संचार नेटवर्क को बेहतर बनाने की दिशा में तेजी से काम हो रहा है। केन्द्र और राज्य दोनों ने मिलकर बस्तर में नक्सल समस्या पर काफी हद तक नियंत्रण कर लिया है। अब बस्तर के ऐसे क्षेत्रों में लोग भयमुक्त होकर व्यापार-व्यवसाय कर रहे हैं। दंतेवाड़ा में एजुकेशन सिटी की स्थापना की गई है। दल्लीराजहरा-रावघाट-जगदलपुर 235 किलोमीटर की रेल परियोजना पर भी काम तेजी से चल रहा है। इसे मिलाकर राज्य में लगभग 1200 किलोमीटर के नये रेल कॉरिडोर विकसित किए जा रहे हैं। बस्तर के नगरनार में भारत सरकार के उपक्रम राष्ट्रीय खनिज विकास निगम द्वारा तीन मिलियन टन उत्पादन क्षमता का एक विशाल इस्पात संयंत्र बनाया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा -छत्तीसगढ़ में सूचना प्रौद्योगिकी, प्रतिरक्षा, खाद्य प्रसंस्करण, सौर ऊर्जा, जैव प्रौद्योगिकी जैसे नानकोर सेक्टर के उद्योगों के लिए व्यापक अवसर और काफी प्रबल संभावनाएं हैं। हमने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ’मेक-इन-इंडिया’ अभियान के तहत ’मेक-इन-छत्तीसगढ़’ की शुरूआत की है। देश-विदेश के पूंजी निवेशकों को हम राज्य में आमंत्रित कर रहे हैं। नया रायपुर में इलेक्ट्रॉनिक मेन्युफेक्चरिंग क्लस्टर बनाया जा रहा है। उद्यमियों और पूंजी निवेशकों की सुविधा के लिए ’ईज ऑफ डूइंग बिजनेस’ को अपनाने और परिणाम मूलक बनाने में छत्तीसगढ़ भारत का अग्रणी राज्य है। इस अवसर पर छत्तीसगढ़ सरकार के मुख्य सचिव विवेक ढांड ने अमेरिकी उद्यमियों और पूंजी निवेशकों के समक्ष ’विश्वसनीय छत्तीसगढ़’ का प्रस्तुतिकरण दिया। छत्तीसगढ़ सरकार के उद्योग सचिव सुबोध कुमार सिंह ने भी संगोष्ठी को सम्बोधित किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव अमन कुमार सिंह, सीएसआईडीसी के प्रबंध संचालक सुनील मिश्रा, उद्योग विभाग के संचालक कार्तिकेय गोयल और मुख्यमंत्री के ओएसडी विक्रम सिसोदिया भी उपस्थित थे।