कोरबा
कोरबा के बालको संयंत्र में 15सूत्रीय मांगो को लेकर श्रमिको ने बालको प्रबंधन के खिलाफ एक बार फिर मोर्चा खोल दिया हैं । समान काम समान वेतन की मांग, फार्म 14 की मांग फैक्ट्री एक्ट ,बोनस सहित 15 मांगो को लेकर सोमवार को संयंत्र के भीतर कंप्रेसिव भवन के सामने एक घंटा जमकर नारे बाजी की और साथ ही श्रमिको ने खून का बैग भी कंप्रेसिव भवन रखकर बालको प्रबंधन के खिलाफ नारे-बाजी की । श्रमिको की माने तो बालको प्रबंधन रोज उनका खून चूस रहा हैं । थोडा-थोडा खून देने की बजाये हम एक साथ खून देगे । गौरतलब हैं कि 350 करोड रुपये का ई पी एफ घोटाला सामने आया था । जिसकी की शिकायत सहायक श्रमायुक्त से श्रमिक नेताओ ने की थी । जिसकी जांच तत्कालीन सहायक श्रमायुक्त एस पी वर्मा कर रहे थे । जांच में बालको प्रबंधन द्वारा कर्मचारियो के ई पी एफ की राशि उनके खाते मे जमा नहीं होना पाया गया । जिसके बाद तत्कालीन सहायक श्रमायुक्त एस पी वर्मा ने बालको के जिम्मेदार अधिकारियो के खिलाफ बालकोनगर थाना मे लिखित रुप से की हैं । वही इस मामले में तत्कालीन सहायक श्रमायुक्त की शिकायत के बाद उनका तबादला रायपुर कर दिया गया । उनके स्थान पर जांजगीर जिले के सहायक श्रमायुक्त विकास सरोदे को कोरबा जिला का भी प्रभार दिया गया हैं । न तो अब तक बालको प्रबंधन सहायक श्रमायुक्त के आदेशो का पालन किया गया और न ही इस मामले मे बालको के जिम्मेदार अधिकारियो के खिलाफ कोई कारवाई की गई । इधर बालको के अधिकारी कुछ भी कहने से बच रहे है। वही श्रमिक संगठनो ने अपने दो दिवसीय आंदोलन के तहत रोज श्रमिक एक घंटे प्रदर्शन कर अपना खून बालको प्रबंधन को सौपेंगे,उसके बाद भी उनकी मांगे पूरी नहीं कि गई । तो फिर से संयंत्र बंद करने की चेतावनी दी हैं । आंदोलन को देखते हुये बालकोनगर पुलिस संयंत्र में सुरक्षा के लिये तैनात थी ।