टी.बी. एच.आई.बी. सः सक्रमण पर कार्यशाला
अ-क्षय भारत परियोजना ग्लोबल फण्ड राउंड-9 फेज प्प् टी.बी. नियंत्रण कार्यक्रम के अन्तर्गत जिला एड्स नियंत्रण सोसायटी, केयर इण्डिया, वल्र्ड विजन एवं रायगढ़ अम्बिकापुर हेल्थ एसोशिएशन (राहा) के संयुक्त तत्वाधान मे एच आई वी, एड्स पिड़ित रोगियों का टी.बी. बिमारी के विषय में प्रशिक्षण दिया गया। यह प्रशिक्षण अम्बिकापुर के होटल कुमंकुम मे डाँ. पी. के. सिन्हा के मुख्य अतिथि एवं डाँ. हबिब विशिष्टि अतिथि केयर इंण्डिया के कार्यक्रम अधिकारी मनोज कुमार सतपथी एवं आर.टी.सेंटर के जिला समन्वयक सबिना खातुन के उपस्थिति मे सम्पन्न हुआ। प्रशिक्षण मे कोरीया जशपुर एवं सरगुजा जिला के एड्स-एच आई वी रोगियों ने भाग लिया।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथी डाँ. पी. के. सिन्हा एड्स नियंत्रण सोसायटी के नोडल अधिकारी के कहा कि समाज मे सभी को जिनेका अधिकार है कोई भी व्यक्ति हीन भावना से ग्रसीत हो कर न जिये, हम समाज के अंतिम व्यक्ति तक पहुंच कर सेवा देगे। एड्स के विषय मे कहा गया है की जानकारी ही बचाव है इस क्षेत्र मे केयर इण्डिया एवं राहा संस्था सराहनीय कार्य कर स्वास्थ्य विभाग को सहयोग दे रहा है। विशिष्ट अतिथि डाँ. हबिब ने कहा की एड्स एवं टी.बी. का सः सक्रमण को रोकने के लिए जागरूक्ता की जरूरत है केयर इण्डिया के मनोज कुमार सतपथी ने बताया की 25 लाख व्यक्ति एच आई वी से संक्रमीत है। जिसमे 10 लाख व्यक्ति को टी.बी. एच. आई. बी सः सक्रमणः से ग्रसीत है। जिनकी लम्बी आयु के लिए हम प्रयासरत है। ए.आर.टी. सेन्टर जिला चिकित्सालय के समन्वयक सविना खातुन ने कहा की एच आई वी रोगियों को टी.बी. होने की सम्भावना ज्यादा रहती है इसलिए समय समय पर बलगम की जांच जरूरी है। एड्स की बिमारी से आज डरने की जरूरत नही है समय पर इलाज होने से जिवन को खुसहाल बनाया जा सकता है अक्षय भारत परियोजना के जिला समन्वयक राज नारायण द्विवेदी ने कहा की टी.बी. बिमारी के कारण लगभग तीन मिनट मे दो व्यक्ति की मौत होती है। करीब एक लाख महिलाओं को क्षय रोग से ग्रसीत होने के कारण परिवार से अस्वीकार कर दिया जाता है। जबकी टी.बी. बिमारी का इलाज निःशुल्क है यदी रोगी पुरा दवा खाये तो निश्चित तौर पर ठिक हो जायेगा। कार्यक्रम मे सुरेश कुमार कश्यप, मोहित राम, धरमेश कुमार का सहयोग सराहनीय रहा।