
सूरजपुर। छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले में रामानुजनगर थाना क्षेत्र के बांसबाड़ी गांव में एक दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है, जहां एक 60 वर्षीय चौकीदार ने मासूम बालिका की बेरहमी से हत्या कर दी। पुलिस ने साक्ष्य जुटाकर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है।
दरअसल, 26 अप्रैल 2025 को बांसबाड़ी गांव में एक बालिका का शव संदिग्ध अवस्था में पड़ा होने की सूचना मिलने पर रामानुजनगर पुलिस तत्काल मौके पर पहुंची। एफएसएल और डॉग स्क्वाड टीम के साथ घटनास्थल का गहन निरीक्षण किया गया। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजते हुए धारा 103 बीएनएस के तहत अज्ञात आरोपी के विरुद्ध अपराध पंजीबद्ध किया गया।
मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए डीआईजी एवं एसएसपी सूरजपुर प्रशांत कुमार ठाकुर के मार्गदर्शन में थाना रामानुजनगर और साइबर सेल की संयुक्त टीम गठित की गई। लगातार निगरानी व पूछताछ के दौरान मृतिका के परिजनों व अन्य लोगों से बयान लिए गए।
पूछताछ में चौकीदार शिवराम (उम्र 60 वर्ष) की गतिविधियाँ संदिग्ध पाई गईं। लगातार गुमराह करने की कोशिशों के बावजूद पुलिस ने एफएसएल की मदद से आरोपी के कपड़े और टांगी की जांच करवाई। टांगी और टी-शर्ट पर मिले खून के धब्बे मृतिका के डीएनए से मेल खा गए, जिससे मामले में शिवराम की संलिप्तता की पुष्टि हुई।
हत्या की कहानी आरोपी की जुबानी
पूछताछ में आरोपी ने कबूल किया कि 25 अप्रैल की सुबह जब वह ड्यूटी पर था, उसने एक बालिका को साइकिल से जाते देखा और गलत नीयत से उसे रोका। विरोध करने पर उसने पास रखी टांगी से वार कर उसकी हत्या कर दी। पहले शव को गड्ढे में छिपाया, फिर शक होने पर बाहर निकालकर कुछ दूरी पर निर्वस्त्र हालत में फेंक दिया। टिफिन और साइकिल को साल्ही बांध में फेंक कर अपने कपड़े धोकर घर लौट गया।
सबूतों के आधार पर आरोपी शिवराम को गिरफ्तार कर उसके खिलाफ साक्ष्य छिपाने की धारा 238 बीएनएस भी जोड़ी गई है।
इस पूरे मामले में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक संतोष महतो, एसडीओपी प्रेमनगर नरेंद्र सिंह पुजारी, थाना प्रभारी राजेंद्र साहू, साइबर सेल प्रभारी राकेश यादव, एएसआई मनोज पोर्ते व उनकी टीम में प्रधान आरक्षक निमेश शर्मा, आरक्षक दीपक यादव, रौशन सिंह, युवराज यादव, विनोद सारथी, रूपदेव सिंह, सैनिक देवचंद पाण्डेय, रजनीश पटेल और सम्मत सिंह की अहम भूमिका रही।