लखनऊ. लॉकडाउन 3.0 की शुरुआत के बाद अब एक-एक कर कई रियायतें लोगों को दी जा रही हैं. इसी क्रम में बुधवार से ग्रीन जोन में यूपी रोडवेज के बसों का संचालन कुछ शर्तों के साथ शुरू हो रहा है. इस दौरान डाइवर, कंडक्टर और यात्रियों को मास्क पहनना अनिवार्य होगा. साथ ही बसों को चलाने से पहले और यात्रियों को उनके गंतव्य तक छोड़ने के बाद सैनीटाइज करना भी आवश्यक होगा. अधिकतम 26 यात्रियों को बस में बैठाया जाएगा. बसों का संचालन ग्रीन जोन से ग्रीन जोन वाले जिलों में ही होगा. अगर बीच में रेड या ऑरेंज जोन का जिला पड़ेगा तो वहां से न तो सवारियां ली जाएंगी और न ही बस वहां रुकेगी. साथ ही इन बसों की निगरानी टास्क फोर्स के माध्यम से की जाएगी.
फ़िलहाल यूपी में 12 जिले ग्रीन जोन घोषित हैं. ये जिले हैं लखीमपुर खीरी, शाहजहांपुर, अम्बेडकरनगर, बलिया, चंदौली, चित्रकूट, फर्रुखाबाद, फतेहपुर, हमीरपुर, ललितपुर, सोनभद्र व अमेठी. इन जिलों से 500 बसों का संचालन 6 मई से शुरू हो रहा है. परिवहन निगम के प्रबंध निदेशक डॉ राजशेखर ने मंगलवार को इस बाबत दिशा निर्देश जारी किए हैं. उन्होंने सभी क्षेत्रीय प्रबंधकों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कर कहा कि ग्रीन जोन के अंदर के जिलों में ये बसें कस्बे और तहसील मुख्यालय तक जाएंगी.
बुधवार से ही यूपी में कई तरह के उद्योगों के साथ ही निजी कंपनियों के दफ्तर भी खुल रहे हैं. कोल्ड स्टोरेज, डेयरी, ग्लास निर्माण, एल्युमिना का विनिर्माण, अलमुनियम धातु का निर्माण ग्रीन और ऑरेंज जोन में खुल सकेंगे. ग्रीन और ऑरेंज जोन में खुलने वाली इकाइयों को बिना किसी एनओसी के चलाया जा सकेगा. रेड जोन में खुलने वाली इकाइयों में स्व घोषणा पत्र जमा करना होगा. इकाइयों की सूची जिला अधिकारी को उपलब्ध करानी होगी. लखनऊ में सुबह 7 से शाम 7 बजे तक निजी दफ्तर 33 फ़ीसदी स्टाफ के साथ खुलेंगे. इसके लिए कंपनी के लेटरपैड पर लिख कर घोषणा पत्र देना होगा कि नियमों का उलंघन करने पर उनके खिलाफ कार्रवाई होगी.