लालबागचा राजा के दरबार में भी भेदभाव, VIP लोगों के दर्शन के लिए आम लोगों के साथ हुआ जानवरों जैसा सुलूक

Lalbaugcha Raja: कहते है कि भगवान सबके लिए हैं। लेकिन यह सब सिर्फ कहने की बातें हैं। ये बातें इंसानों के बीच ही क्या भगवान के दरबार में भी लागू नहीं होती। वैसे, अगर घर्म और आस्था की पट्टी अपनी आंखों से हटाकर देखें तो यह भी कहा जा सकता है कि इंसान ही इन सभी चीजों के लिए जिम्मेदार है। जी हां, बात हो रही मुंबई के लालबागचा राजा की, जहां आम लोगों के दर्शन के लिए अलग जगह है और VIP लोगों या मशहूर हस्तियों के लिए अलग जगह है। दोनों लोगों को एकदम अलग तरीके से ट्रीट किया जाता है। यानी भगवान के दरबार में भी भेदभाव का रंग इतना गहरा है कि अब आम इंसान भगवान से क्या ही उम्मीद करेगा।

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भगवान के दरबार में भक्तों के साथ हुआ भेदभाव

इस भेदभाव का जीता-जागता उदाहरण मुंबई के लालबागचा राजा के दरबार से सामने आया है। जो सोशल मीडिया पर आग की तरह फैल रहा है। मुंबई के लालबागचा राजा के दरबार में भक्तों को उनकी औकात के हिसाब से बांट दिया गया है। वीडियो में देखा जा रहा है कि एक तरफ ‘गणपति बप्पा’ के दर्शन के लिए पहुंचे आम लोगों को वहां की सिक्योरिटी हाथ जोड़ने तक का भी मौका नहीं देती। सिक्योरिटी लोगों की गर्दन पकड़कर भगवान के कदमों में स्पर्श करा उन्हें जानवरों की तरह धक्का मारकर निकाल दे रही है। भक्त जैसे ही गणपति की मूर्ति के करीब जाते हैं वैसे ही उनकी गर्दन पकड़कर उन्हें धकेलते हुए बाहर कर दिया जा रहा है। वहीं, दूसरी तरफ VIP लोगों को इसके ठीक उल्टा भाव दिया जा रहा है। वीडियो में देखा जा सकता है कि लालबागचा राजा के दरबार में एक VIP फैमिली भी गणपति के दर्शन के लिए पहुंची हुई है। जो गणपति बप्पा के दरबार में आराम से दर्शन कर पूरी फैमिली फोटोशूट करा रही है। कोई भी उनसे कुछ कहने वाला तक नहीं। 

Video देख भड़के लोग

इस वीडियो को इंस्टाग्राम पर @NAUGHTYWORLD नाम के पेज से शेयर किया गया है। जिसे खबर लिखे जाने तक लाखों लोगों ने देखा और इसे लाइक किया है। वीडियो को देखने के बाद लोगों को बहुत बुरा लग रहा है लेकिन क्या करें हमारे समाज की यहीं सच्चाई है। VIP कल्चर के नाम पर अच्छा-खासा चंदा भी मिल जाता है और कुल मिलाकर जीवन में पैसा ही सबकुछ है। अगर पैसा नहीं तो आपको भी दर-दर पर ऐसे ही ठोकरें खानी पड़ेगी। लोग अपनी भड़ास वीडियो पर कमेंट कर निकाल रहे हैं। जहां एक यूजर ने लिखा –  वीआईपी कल्चर को खत्म कर देना चाहिए। दूसरे ने लिखा – भारत हमेशा इन चीजों में ही लगा रह जाएगा। धर्म की ओट में कुछ खास तरक्की नहीं कर पाएगा। तीसरे ने लिखा – इस कमेटी की रोजी-रोटी VIP लोगों के चंदे पर ही चलती है।