रायपुर :
छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में खुलने वाले नए पुलिस कैम्प को लेकर ग्रामीणों का विरोध प्रदर्शन लगातार जारी है। पिछले कई दिनों से सड़क किनारे टैंट लगाकर सैकड़ों ग्रामीण जुटे हुए हैं। कैम्प के विरोध में ग्रामीणों ने कई किमी लंबी सड़क भी खोद डाली है।
जानकारी के मुताबिक, अरनपुर थाना क्षेत्र के नहाड़ी गांव में पुलिस कैम्प खोले जाने के विरोध में नहाड़ी, ककाड़ी, बुरगुम, पोटाली, जबेली, गोण्डेरास, बर्रेम समेत करीब 18 पंचायतों के सैकड़ों ग्रामीण एकजुट होकर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।
बीते करीब पखवाड़े भर से ग्रामीणों का विरोध प्रदर्शन लगातार जारी है और सड़कों को काटने का काम ग्रामीणों द्वारा किया जा रहा है ताकि कैम्प स्थापित न हो सके। रविवार को भी हजारों ग्रामीणों ने काकड़ी से सोमापारा तक का रैली निकाली और पुलिस कैम्प के विरोध में आवाज बुलंद की।
बता दें कि नहाड़ी में पुलिस कैम्प खोले जाने का इस क्षेत्र के ग्रामीण लगातार विरोध कर रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि इलाके में स्कूल, आश्रम, आंगनबाड़ी, अस्पताल, तालाब व बिजली आदि सुविधाएं जरूरी है लेकिन पुलिस कैम्प खोलने की आवश्यकता नहीं है।
टैंट लगाकर ग्रामीणों ने खोला मोर्चा…
पुलिस कैम्प के विरोध में मोर्चा खोलते हुए सैकड़ों ग्रामीणों ने सड़क किनारे टैंट लगाकर कई दिनों से डेरा डाला हुआ है। राशन, बर्तन व जरूरी सामानों के साथ ग्रामीण टैंट में रूके हैं और सड़कों को खोदा जा रहा है।
ग्रामीणों ने नहाड़ी से ककाड़ी के बीच सड़क पर सैकड़ों गड्ढे कर दिए हैं। वहीं अब पोटाली मार्ग की सड़क को भी ग्रामीणों ने काटना शुरू किया है।
पुलिस कैम्प के विरोध में फावड़ा, गैंती, तगाड़ी, सब्बल लेकर महिला, पुरुष व बुजुर्ग सड़क काटने में लगे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि हमें किसी भी कीमत में पुलिस कैम्प नहीं चाहिए।
कैम्प खुलने से पुलिस निर्दोष ग्रामीणों को नक्सल मामलों में पकड़कर जेल भेज देगी। इससे पहले भी गांव के लोगों को पकड़कर पुलिस जेल भेज चुकी है।
सड़क खोदने वालों पर कार्रवाई होगी: एसपी
इधर, इस मामले में दंतेवाड़ा एसपी डॉ. अभिषेक पल्लव का कहना है कि नक्सलियों के इशारे पर ग्रामीणों द्वारा पुलिस कैम्प का विरोध किया जा रहा है। पुलिस व प्रशासन को बिना सूचना दिए ग्रामीण प्रदर्शन कर रहे हैं, जो गलत है।
और तो और सड़कें खोदकर ग्रामीणों ने गैर कानूनी काम भी किया है। इस मामले में पुलिस संबंधितों पर कार्रवाई करेगी।
एसपी के मुताबिक ग्रामीण इलाके में कैम्प खुलने से गांव वालों और पुलिस के बीच समन्वय स्थापित होगा। विकास के कार्य भी होंगे, इसे लेकर नक्सली बौखला गए हैं और कैम्प का विरोध करने ग्रामीणों को भड़काया जा रहा है।
एसपी डॉ पल्लव ने बताया कि अगर क्षेत्र में स्कूल, आश्रम व अस्पताल खोलने की जरूरत है तो ग्रामीणों को शासन—प्रशासन से इसकी मांग करनी चाहिए लेकिन कैम्प के विरोध के नाम पर सड़क काटने को किसी मायने में भी सही नहीं ठहराया जा सकता।