छत्तीसगढ़ में आम आदमी को अपनी पसंद की दुकान से राशन की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। प्रदेश के 25 जिलों में यह सुविधा शुरू हो गई है। इन दुकानों में कोई भी राशनकार्डधारी अपने हिस्से का राशन ले सकता है। प्रदेश में 13,304 शासकीय उचित मूल्य की दुकानें संचालित हो रही हैं। इसमें 12,314 दुकानों में ईपास मशीन के जरिए यह सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। महात्मा गांधी के 150वीं जयंती पर वर्ष 2019 को यूनिवर्सल पीडीएस का शुभारंभ किया गया। अब तक प्रदेश में 69.67 लाख राशनकार्डों के माध्यम से ढाई करोड़ से अधिक सदस्य पंजीकृत हैं।
प्रदेश की 12,314 राशन दुकानों में ईपास की सुविधा
खाद्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि राज्य में वंचितों, गरीबों व समान्य परिवारों सहित शत-प्रतिशत परिवारों के लिए राशनकार्ड जारी किए जा रहे है। प्रदेश में वर्तमान मे 69.67 लाख राशनकार्ड प्रचलित है। इनमें अनुसूचित जनजाति वर्ग के 20 लाख 73 हजार 954 राशनकार्ड, अनुसूचित जात वर्ग के नौ लाख 62 हजार 168 राशनकार्ड, अन्य पिछड़ा वर्ग के 32 लाख 73 हजार 937 राशनकार्ड और सामान्य वर्ग के छह लाख 41 हजार 692 राशनकार्ड जारी किए गए है। सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत ग्रामीण क्षेत्र में 54 लाख 62 हजार 125 और शहरी क्षेत्रों में 14 लाख 89 हजार 626 राशनकार्ड जारी किए गए है। अधिकारियों ने बताया कि पिछले तीन वर्षो में 11 लाख 15 हजार नवीन राशनकार्ड बनाए गए हैं। वहीं पांच लाख 52 हजार नए सदस्यों का नाम राशनकार्ड में जोड़ा गया है।
कोंडागांव जिले में एक नवंबर 2020 से पायलट प्रोजेक्ट के रूप में एनीमिया एवं अन्य पोषक तत्वों की कमी को दूर करने आयरन, फोलिक एसिड, विटामिन बी-12 युक्त फोर्टिफाइड चावल का वितरण उचित मूल्य दुकानों के माध्यम से किया जा रहा है। इसकी सफलता को देखेते हुए अब आकांक्षी एवं उच्च भार वाले 12 और जिलों में फोर्टिफाइड चावल वितरण करने का निर्णय लिया गया है।