महासमुंद। रायपुर निवासी सुरेन्द्र अग्रवाल उड़ीसा व बंगाल ट्रांसपोर्ट कंपनी के संचालक हैं। उन्होंने बसना थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। कहा था कि कर्नाटक पासिंग कंपनी का एक ट्रक झारसुगुडा वेदांता कंपनी से एल्युमिनीयम लोड कर बैंगलोर के लिए रवाना हुआ था। बसना के पास ट्रक में लगे जी.पी.एस. का लोकेशन आखिरी बार बताया रहा है। इसके बाद से ट्रक चालक एल्युमिनीयम के साथ लापता है।
ट्रांसपोर्ट कंपनी के संचालक ने पुलिस को बताया था कि ट्रक में एल्युमिनीयम की 1320 नग सिल्लीया भरी हुई है। इसकी कीमत 64 लाख 28 हजार रुपए है। ट्रक का कहीं लोकेशन नहीं मिल रहा है। पुलिस ने विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज किया। जांच शुरू की गई। पता चला कि कंपनी का फरार ड्राईवर परमेश्वर उर्फ परसराम सोनकाम्बले फर्जी ड्राईविंग लाईसेन्स के सहारे कंपनी में नौकरी कर रहा था।
पुलिस फर्जी ड्राईविंग लाईसेन्स और सीसीटीवी के जरिए पुणे महाराष्ट्र पहुंची और नेशनल हाइवे पर पेट्रोल पंप के पास फरार ड्राईवर परमेश्वर सोनकाम्बले को ट्रक के साथ ही धर दबोचा। कड़ी पूछताछ के बाद आरोपी ड्राईवर ने अपना जुर्म कबूल कर लिया। दो अन्य साथी होने की जानकारी पुलिस को दी। बताया कि इस पूरे प्रकरण में उसके साथ 2 साथी और मिले हैं।
इसमें एक नाबालिग भी शामिल है। पकड़ में ना आए, इसके लिए चालक ने ट्रक में लगे GPS को बसना में ही निकाल कर फेंक दिया और फरार हो गया। कर्नाटक पासिंग की ट्रक को महाराष्ट्र पासिंग बनाने की मंशा से नंबर भी बदल दिया। गिरफ्तारी के बाद पुलिस को बताया कि चोरी की घटना को अंजाम देने के लिए वेब सीरिज फिल्मों का सहारा भी लिया था। महासमुंद पुलिस ने मामले में 407, 419, 467, 468 और 379 धाराओं के तहत केस दर्ज किया है।