Raipur News: दिल्ली दौरे से राज्यपाल अनुसूईया उइके लौट चुकी हैं, उनके लौटने के बाद ही सबकी निगाहें इस बात पर टिकी थी कि आखिरकार आरक्षण को लेकर राष्ट्रपति से क्या बातचीत हुई होगी। लेकिन इधर राज्यपाल अनुसूईया उइके जब रायपुर लौटी, तो उन्होंने साफ कह दिया कि अभी वे उन 10 सवालों के जवाब का इंतज़ार कर रही हैं, जो उन्होंने सरकार को पत्र लिखकर पूछा था। हालांकि, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इस सवालों को राज्यपाल के अधिकार क्षेत्र से बाहर बताया हैं। उन्होंने कहा कि जब विधानसभा में विधेयक पारित हो गया हैं, तो सवालों का क्या मतलब, लेकिन फिर भी इसका जवाब देने के लिए सीएम तैयार है।
रायपुर हेलिपैड में आरक्षण विषय पर पत्रकारों से चर्चा के दौरान सीएम ने कहा कि उन्हें जल्दी हस्ताक्षर करके देना चाहिए। छात्रों के भविष्य का सवाल है, बहुत सी भर्तियां होना है, उसमें लागू होना है। हाईकोर्ट का आदेश आया है, ऐसे में विशेष सत्र लाकर सर्वसम्मति से पारित किया, तो तत्काल हस्ताक्षर कर देना चाहिए। इतने दिन में सब क्लियर हो चुका होगा।
वहीं सीएम ने 10 सवालों की लिस्ट पर कहा कि ये उनके अधिकार क्षेत्र से बाहर है, लेकिन फिर भी हम सवाल का जवाब भेज देंगे, जो चीजें विधानसभा से पारित हो चुका है उसमें विभाग थोड़ी ना जवाब देता है। राज्यपाल हठधर्मिता पर अड़ी हुई है। नियम से बाहर जाकर करना चाहते हैं तो हमें कोई तकलीफ नहीं है। प्रदेश के हित में बच्चों के भविष्य में किसी प्रकार से उनका अहित नहीं होने देंगे, वह चाहती हैं जीद पूरी हो तो हम भिजवा देंगे, मामले को जबरदस्ती उलझा रहे हैं। पहले तो महामहिम तैयार थी 1 मिनट नहीं लगेगा बोली थी। हस्ताक्षर करने में पर किसका फोन आया, वह भाजपा मुख्यालय से किस की पर्ची आई, पूरा मामला रुक गया, यह उचित तो नहीं है।