बलरामपुर..जिले के रामचंद्रपुर बीएमओ हेमंत दीक्षित को हटाने की मांग करने और बीएमओ पर संगीन आरोप लगाने के मामले में अब एक नया मोड़ आ गया है..बीएमओ पर कर्मचारी नेताओं द्वारा लगाये गये आरोपों की जांच के लिये स्थानीय प्रशासन ने जांच टीम का गठन किया था..और आरोपों के जांच के बाद जांच रिपोर्ट जिला प्रशासन को सौंप दी है..
वही बीएमओ दीक्षित पर लगे आरोपों को लेकर एक महिला स्वास्थ्यकर्मी ने बड़ा खुलासा किया है..इसके साथ ही महिला स्वास्थ्यकर्मी ने यह दावा करते हुए कलेक्टर बलरामपुर के नाम ज्ञापन सौंपा है ..जिसमें उसने दावा किया है..की बीएमओ पर संगीन आरोप षडयंत्र पूर्वक लगाया गया है!..
दरअसल 13 नवंबर को रामचंद्रपुर बीएमओ हेमंत दीक्षित पर गंभीर आरोप लगाते हुए स्वास्थ्यकर्मियों ने बीएमओ को हटाने एक दिवसीय प्रदर्शन किया था..प्रदर्शन में आदिवासी महिला स्वास्थ्यकर्मी को प्रताड़ित किये जाने का आरोप भी स्वास्थ्यकर्मियों ने लगाया था..लेकिन अब जब आरोपों की जांच के लिये टीम बनी ..और जांच टीम ने जांच पूरी कर ली है..इसके बाद उसी महिला स्वास्थ्यकर्मी ने बड़ा खुलासा किया है..महिला स्वास्थ्यकर्मी ने स्वास्थ्य विभाग में ही पदस्थ पुरुष स्वास्थ्य कार्यकर्ता सुनील गुप्ता, विवेकानंद गुप्ता पर गंभीर आरोप लगाए है..
महिला स्वास्थ्यकर्मी सोनिया सिंह ने कहा की 10 नवंबर की रात उसके घर पर पहुंचकर इन दोनों पुरुष स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं ने बीएमओ पर आरोप लगाने दबाव बनाया था..वही महिला स्वास्थ्यकर्मी ने दावा किया कि वह बीएमओ को हटाने के लिए किए गए प्रदर्शन का हिस्सा नहीं थी..जबकि प्रशासन को सौंपे गए ज्ञापन में उसका फर्जी हस्ताक्षर किया गया था..
बहरहाल बीएमओ को हटाने के लिए किया गया प्रदर्शन और उस प्रदर्शन के बाद महिला स्वास्थ्यकर्मी के इस दावे ने स्वास्थ्यकर्मचारियो के प्रदर्शन की पोल खोल कर रख दी है..और अब एक बात यह स्पष्ट हो गई है..की बीएमओ को हटाने गुटबाजी की राजनीति खेली गई थी..ऐसे में अब देखने वाली बात होगी की स्थानीय प्रशासन जांच रिपोर्ट के आधार पर क्या निर्णय लेती है!.
Tiger Reserve: इस राज्य में बना देश का तीसरा सबसे बड़ा टाइगर रिजर्व, इन लोगों को मिलेगा रोजगार
बीजेपी और कांग्रेस को चुनाव आयोग का नोटिस, नड्डा-खरगे से मांगा जवाब, जानें पूरा मामला