अम्बिकापुर नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव के निर्देश पर बीती रात कांग्रेस के प्रतिनिधि मंडल ने मेडिकल काॅलेज का निरिक्षण किया तथा एस.एन.सी.यू. वार्ड की वास्तु स्थिति से परिक्षित हुए। ज्ञात हो कि 1 जनवरी 2017 से 31 दिसम्बर 2017 तक मेडिकल काॅलेज के एस.एन.सी.यू. वार्ड के अनुसार 406 नवजात बच्चों की मौत हुई है, जिसे ध्यान में रखते हुए नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव ने यह जानना चाहा था कि रविवार के दिन मेडिकल काॅलेज के इस विभाग में चिकित्सकों की क्या स्थिती रहती है। रात्रि 8ः30 बजे जब कांग्रेस का प्रतिनिधि मंडल आदित्येश्वर शरण सिंह देव, हेमंत सिन्हा, इन्द्रजीत सिंह धंजल एवं शैलेन्द्र सोनी पहुंचे तो वहां पर देखा कि 18 बेड के एस.एन.सी.यू. वार्ड में 41 नवजात भर्ती हैं, एक बेड में दो नवजातों को चिकित्सीय व्यवस्था दी जा रही है, जबकि शेष बच्चे वार्ड के बाहर रूप में जमीन पर अपनी माता के साथ मिले। वार्ड में कार्यरत नर्सिंग स्टाॅफ ने बताया कि कई बार यह संख्या 50 से 60 तक चली जाती है और ऐसे ही ईलाज करना पड़ता है। मेडिकल काॅलेज बनने की बाद भी व्यवस्था में सुधार नहीं होने के कारण इस तरह की स्थिति निर्मित होती है।
निरिक्षण के दौरान ही एस.एन.सी.यू. वार्ड सहित महिला अस्पताल में बिजली चली गई और आधे घंटे से भी अधिक समय तक जनरेटर को चालु नहीं किया गया। वहीं उस दौरान कोई भी चिकित्सक अस्पताल में उपस्थित नहीं था, केवल नर्सिंग स्टाॅफ द्वारा कार्य किया जा रहा था। ऐसे में यह सोच सकते हैं कि किस तरह से विशेष गहन चिकित्सा कक्ष में बच्चों का ईलाज होता होगा। चिकित्सीय स्टाॅफ ने बताया कि अभी सप्ताह भर पहले दिन भर बिजली नहीं थी तो जनरेटर भी शुरू नहीं किया गया, दिनभर बच्चों का ईलाज ऐसे ही हुआ। कल रात भी बताया गया कि जनरेटर में डीजल नहीं होने के कारण शुरू नहीं किया गया है। निरिक्षण के दौरान कांग्रेस के प्रतिनिधि मंडल ने आमजनों से मुलाकात कर उनकी समस्याएं जानी। कई लोगों ने यह जानकारी दी कि वे लोग दूसरे जिले से आयें हैं वहां के डाक्टर ने यहां रेफर किया है, यहां आने के बाद मालुम चला कि यहां भी ईलाज की व्यवस्था नहीं है, इसलिये अब रायपुर जाना होगा।
निरिक्षण के बाद कांग्रेस के प्रतिनिधि मंडल ने इसकी जानकारी नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव को दी, जिसके बाद नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव ने कलेक्टर सरगुजा एवं मेडिकल काॅलेज के डीन को पत्र लिखकर रात उत्पन्न स्थिति तथा समस्याओं के निदान की मांग की है। नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव ने पत्र में कहा है कि जिला प्रशासन एवं मेडिकल काॅलेज प्रबंधन को शासन स्तर पर एस.एन.सी.यू. वार्ड में बेड एवं अन्य चिकित्सीय उपकरण बढ़ाने हेतु पहल करने की आवश्यकता है। जिससे की नवजात बच्चों का सही ईलाज हो सके। सरगुजा संभाग सहित आस-पास के जिले में एकमात्र बड़ा अस्पताल होने के कारण यहां पर मरिजों की संख्या काफी अधिक है, इसे दृष्टिगत रखते हुए जरूरी चिकित्सीय उपकरण सहित चिकित्सकों की समुचित पदस्थापना की आवश्यकता है। वहीं एस.एन.सी.यू. वार्ड में वेंटिलेटर की व्यवस्था नहीं होने से बच्चों का ईलाज प्रभावित होता है और उन्हंे रायपुर अथवा प्राइवेट अस्पतालों में रेफर किया जाता है। वेंटिलेटर शीघ्र उपलब्ध कराने आवश्यक कार्यवाही करने करने निर्देशित किया है।
नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव ने कहा है कि कल रात्रि निरिक्षण के दौरान एस.एन.सी.यू. वार्ड सहित अस्पताल परिसर में बिजली चली गई और लगभग 30 मिनट तक जनरेटर चालु नहीं किया गया, पुछने पर बताया गया कि डीजल नहीं है, ऐसे में यह अंदाजा लगाया जा सकता है कि कैसे विशेष गहन चिकित्सा कक्ष में बिजली के बिना बच्चों का ईलाज होता होगा, कई लोगों ने बताया कि विगत सप्ताह बिजली नहीं होने से दिनभर अस्पताल में जनरेटर शुरू नहीं हो पाया था, जिससे ईलाज करने में काफी परेशानी हुई थी। मेडिकल काॅलेज में एम. आर. ई. एवं सी. टी. स्केन हेतु एमसीआई के दिशा-निर्देशोें के अनुरूप राज्य सरकार, जिला प्रशासन एवं मेडिकल काॅलेज प्रबंधन सीएसआर, डीएमएफ अथवा अन्य मद जल्द से जल्द व्यवस्था करे, जिससे की आमजनों को राहत मिल सके एवं प्राइवेट सेक्टर के महंगी ईलाज से मुक्ति मिले।
पूर्व में मेडिकल काॅलेज प्रबंधन ने जानकारी दी थी कि नर्सिंग स्टाॅफ की नियुक्ति हेतु परीक्षा का आयोजन कर मेरिट आधार पर नियुक्ति की जायेगी, किन्तु वर्तमान में उक्त प्रक्रिया का पालन न करते हुए सीधे भर्ती की जा रही है, जिसमें कई लोगों ने भर्ती के नाम पर लेन-देन करने की जानकारी दी है, इस पर जांच कराने की आवश्यकता है तथा भर्ती प्रक्रिया एससीआई के दिशा-निर्देशों के अनुरूप हो तो ज्यादा कारगार होगा, आरोप-प्रत्यारोप से भी बचा जा सकता है।
आवश्यकतानुरूप जल्द से जल्द चिकित्सकों एवं अन्य स्टाफ की नियुक्ति की जाये जिससे की आमजनों को राहत मिल सके, वर्तमान में मेडिकल काॅलेज में आवश्यकता से काफी कम स्टाॅफ हैं, जिससे उन पर अतिरिक्त भार होने से ईलाज सही समय पर नहीं हो पाता और विवाद की स्थिति निर्मित होती है।
नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव ने कहा है कि वे इस बात को लेकर विधानसभा में भी चर्चा करेंगे और सरकार से मांग करेंगे कि मेडिकल काॅलेज की व्यवस्था को सुधारने शिघ्र प्रयास किया जाये, जिससे कि सरकारी अस्पतालों में चिकित्सा को लेकर आमजनों का विश्वास बना रहे।
स्वास्थ विभाग के खिलाफ होगा आन्दोलन
मेडिकल काॅलेज की व्यवस्था लगातार बदतर होने, मरिजों का ईलाज सही ढंग से नहीं होने, मेडिकल काॅलेज में सुविधाओं की कमी, मेडिकल काॅलेज में जांच उपकरणों की कमी, स्टाॅफ की कमी सहित पिछले दो वर्षों में मेडिकल काॅलेज में नवजात बच्चों की मौत के बढ़ते मामले सहित विभिन्न विषयों को लेकर जिला कांग्रेस कमेटी द्वारा स्थानीय मेडिकल काॅलेज का प्रबंधन के विरूद्ध धरना प्रदर्शन कार्यक्रम 28 फरवरी 2018 को सुबह 11ः00 बजे से दोपहर 2ः00 बजे तक नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव की उपस्थिति में आयोजित की गई है है। उक्त जानकारी प्रदेश कांग्रेस उपाध्यक्ष बालकृष्ण पाठक ने दी। श्री पाठक ने कहा कि कई बार नेता प्रतिपक्ष टी.एस.सिंह देव सहित जिला कांग्रेस के प्रतिनिधि मंडल ने मेडिकल काॅलेज में व्यवस्था सुधारने ज्ञापन देकर तथा मौखिक रूप से चर्चा कर कहा गया था, किन्तु निरंतर स्थिति बद से बदतर होती जा रही है, हम 28 फरवरी को धरना प्रदर्शन कर व्यवस्था सुधारने अपिल करंेगे, यदि इसके बाद भी व्यवस्था में सुधार नहीं हुआ तो सरगुजा संभाग के कांग्रेसी मेडिकल काॅलेज प्रबंधन एवं राज्य सरकार के विरूद्ध उग्र आंदोलन करेंगे।