UP By Election : यूपी उपचुनाव में 10 सीटों के बंटवारे पर मचा घमासान, CM योगी का नया स्ट्रैटेजिक प्लान, अखिलेश के PDA के सामने SS मॉड्यूल!

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By Election 2024, UP By election, UP Politics,CM Yogi Adityanath, I.N.D.I.A, NDA : इस साल मई में हुए लोकसभा चुनाव के परिणामस्वरूप कई सांसद बने विधायक की वजह से उत्तर प्रदेश समेत अन्य राज्यों में विधानसभा सीटें खाली हो गई थीं। उत्तर प्रदेश में इन खाली हुई सीटों के कारण राज्य की कुल 10 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव होना है। खाली हुई सीटों में गाजियाबाद, खैर, मीरापुर, कुंदरकी, करहल, कटेहरी, मिल्कीपुर, सीसामऊ, मझवां और फूलपुर शामिल हैं। इसके अतिरिक्त, राज्य में कुछ अन्य कारणों से भी विधानसभा सीटें रिक्त हुई हैं।

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पहले यह उम्मीद जताई जा रही थी कि निर्वाचन आयोग अक्टूबर के पहले हफ्ते में हरियाणा और जम्मू-कश्मीर के साथ यूपी में भी उपचुनाव करा लेगा। लेकिन आयोग ने अब तक इन सीटों पर चुनाव की तारीखों की घोषणा नहीं की है। अब यह माना जा रहा है कि अक्टूबर के दूसरे हफ्ते में यूपी की 10 सीटों पर उपचुनाव हो सकते हैं।

उपचुनाव वाली 10 सीटों

उत्तर प्रदेश में आगामी उपचुनावों के लिए राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। प्रयागराज जिले की फूलपुर, मिर्जापुर की मझवां, कानपुर की सीसामऊ, अयोध्या की मिल्कीपुर, अंबेडकरनगर जिले की कटेहरी, अलीगढ़ की खैर, गाजियाबाद सदर, मुरादाबाद संभल की कुंदरकी और मुजफ्फरनगर की मीरापुर सीट पर उपचुनाव होना है। 2022 के विधानसभा चुनाव में सपा ने इनमें से पांच सीटें (करहल, कटेहरी, सीसामऊ, मिल्कीपुर और कुंदरकी) जीती थीं। सीसामऊ सीट से सपा विधायक इरफान सोलंकी को आपराधिक मामले में सजा मिलने के बाद इस्तीफा देना पड़ा था।

भाजपा ने गाजियाबाद सदर, खैर और फूलपुर सीटें जीती थीं, जबकि मीरापुर सीट पर सपा के साथ गठबंधन में रालोद ने जीत दर्ज की थी। मझवां सीट राजग के घटक दल निषाद पार्टी की झोली में गई थी, लेकिन अब विधायक विनोद बिंद के सांसद बनने के बाद यह सीट भी खाली हो गई है।

सीट शेयरिंग पर घमासान

उपचुनाव को लेकर सीट शेयरिंग पर घमासान बढ़ गया है। भाजपा और सपा सभी दस सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारना चाहती हैं। भाजपा की सहयोगी निषाद पार्टी ने मझवां और कटेहरी सीट पर दावा ठोक दिया है, जबकि लोकसभा चुनाव से पहले राजग में शामिल हुए रालोद ने मीरापुर और खैर सीटों पर अपनी दावेदारी पेश की है। रालोद का कहना है कि मीरापुर सीट पर उनके विधायक चंदन चौहान के सांसद बनने के बाद उनका स्वाभाविक दावा बनता है और खैर सीट पर मुस्लिम मतदाताओं के कारण उनकी स्थिति मजबूत है।

राजग और इंडिया गठबंधन के बीच सीट बंटवारे को लेकर जारी वार्ता में दोनों पक्षों के बड़े दल अपने सहयोगी दलों को मनाने में जुटे हैं, लेकिन घटक दल अपने वजूद की लड़ाई मानते हुए पीछे हटने के लिए तैयार नहीं हैं।

‘S-S’ प्लान के तहत उपचुनाव के लिए अपनी रणनीति तैयार

इनमें से 5 सीटें NDA (राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन) के पास हैं और 5 सीटें विपक्षी गठजोड़ I.N.D.I.A. के पास हैं। दोनों पक्ष इन सीटों को अपने पाले में लाने के लिए पूरा जोर लगा रहे हैं। इसी कड़ी में सीएम योगी ने ‘S-S’ प्लान (संवाद और सौगात) के तहत उपचुनाव के लिए अपनी रणनीति तैयार की है।

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को मुजफ्फरनगर के मीरापुर विधानसभा क्षेत्र का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने 310 करोड़ रुपये से अधिक की योजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया, नियुक्ति पत्र बांटे और विपक्ष पर निशाना साधा। मीरापुर उन 10 विधानसभाओं में शामिल है जहां उपचुनाव होने हैं। इस कार्यक्रम के माध्यम से सीएम योगी ने भाजपा के लिए उपचुनाव की जमीन तैयार करने की कोशिश की है।

सीएम योगी के इस दौरे में उन्होंने मीरापुर विधानसभा क्षेत्र में सरकारी योजनाओं के लाभार्थियों से मुलाकात की और कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन किया। इसके साथ ही, उन्होंने विपक्ष पर तीखा हमला करते हुए आरोप लगाया कि विपक्ष ने पिछले कुछ वर्षों में जनता की समस्याओं की अनदेखी की है और केवल चुनावी लाभ के लिए मुद्दे उठाए हैं।

लोकसभा उपचुनाव में भाजपा को एक झटका

हालिया लोकसभा उपचुनाव में भाजपा को एक झटका लगा था। विपक्ष ने आरक्षण और रोजगार जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों को जोर-शोर से उठाया, जिससे भाजपा की स्थिति चुनौतीपूर्ण हो गई। भाजपा और उसके संगठन का मानना है कि उपलब्धियों और भागीदारी की स्थिति होने के बावजूद विपक्ष के नैरेटिव को सही तरीके से जवाब नहीं दिया जा सका। उपचुनाव में इस कमी को पूरा करने के लिए भाजपा ने ठोस योजनाओं और विकास की नई तस्वीर को पेश करने पर जोर दिया है।

मीरापुर विधानसभा क्षेत्र में विकास की नई परियोजनाओं की घोषणा

सीएम योगी ने अपने दौरे के दौरान मीरापुर विधानसभा क्षेत्र में विकास की नई परियोजनाओं की घोषणा की। इसमें सड़कें, स्टेडियम और अन्य इंफ्रास्ट्रक्चर विकास योजनाएं शामिल हैं। इसके साथ ही, रोजगार के अवसरों को बढ़ाने के लिए नई योजनाओं की घोषणा की गई। इस तरह की योजनाओं के माध्यम से भाजपा ने जनता को भरोसा दिलाने की कोशिश की है कि उनकी सरकार की प्राथमिकता उनके विकास और कल्याण के मुद्दे हैं।

सीएम योगी ने विपक्षी दलों पर भी निशाना साधा

विकास की योजनाओं के साथ-साथ, सीएम योगी ने विपक्षी दलों पर भी निशाना साधा। उन्होंने अयोध्या के मिल्कीपुर और अंबेडकरनगर के कटेहरी में समाजवादी पार्टी (सपा) के नेताओं के खिलाफ आरोपों और सपा के शीर्ष नेताओं के रुख को लेकर सवाल उठाए। मीरापुर में उन्होंने एक दशक पहले हुए दंगों की याद दिलाई और जातीय विभाजन के खतरों को लेकर चेतावनी दी। इन आरोपों और घटनाओं का मुद्दा बनाकर, सीएम योगी ने विपक्ष की कमजोरी को उजागर करने की कोशिश की है।

यह संवाद और सौगात का सिलसिला आगे भी जारी

सूत्रों के अनुसार, सीएम योगी का यह संवाद और सौगात का सिलसिला आगे भी जारी रहेगा। इसके माध्यम से भाजपा उपचुनाव में अपनी स्थिति को मजबूत करने की कोशिश कर रही है। विकास की योजनाओं को जनता के बीच लाकर और विपक्ष की आलोचना करके भाजपा ने उपचुनाव की तैयारी को और सशक्त बनाने की दिशा में कदम बढ़ाए हैं।

सकारात्मक संदेश देने की कोशिश

उपचुनाव की तैयारी के इस रणनीतिक कदम के माध्यम से भाजपा ने अपने समर्थकों को एक सकारात्मक संदेश देने की कोशिश की है कि उनकी सरकार जनहित में लगातार काम कर रही है और विपक्ष के दावों का सही ढंग से जवाब देने के लिए तैयार है। इस तरह की गतिविधियों से भाजपा उपचुनाव में अपनी स्थिति को बेहतर बनाने के लिए पूरी ताकत झोंक रही है।