Success Story : सफलता का कोई शॉर्टकट नहीं, 12 साल की मेहनत, अथक परिश्रम और SI का बेटा बना अफसर

Success Story, PSC Success Story : उन्होंने जीवन में आने वाली असफलताओं के साथ सामना किया और उनसे सीखा कि किसी भी हालत में हार नहीं माननी चाहिए।

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Success Story, PSC Success Story : सफलता के लिए परिश्रम आवश्यक है। इसका ताजा उदहारण है अमित द्विवेदी। अमित द्विवेदी नाम सुनते ही उनकी मेहनत और लगन की कहानी मनों में ताजगी भर देती है। यह उनकी जुबान से निकली हर बात में दिखता है कि सफलता के लिए कितना बड़ा संघर्ष और महनत करना जरूरी होता है। उन्होंने अपने परिवार के सपनों को पूरा करने में अपने दम पर खड़ा होकर दिखाया है कि अगर कोई ठान ले, तो कुछ भी मुश्किल नहीं।

Success Story : 12 साल का संघर्ष

अमित के माता-पिता का सपना था कि उनका बेटा एक दिन अफसर बनेगा। यह सपना उन्होंने उसकी शिक्षा और तैयारी में समर्पित किया। अमित ने इस सपने को पूरा करने के लिए 12 साल का संघर्ष किया। इस लंबे समय के दौरान, उन्होंने कई प्रतियोगी परीक्षाओं में हिस्सा लिया, लेकिन सफलता का अवसर नहीं मिला। फिर भी, उन्होंने हार नहीं मानी और अपनी मेहनत जारी रखी।

अमित द्विवेदी ने बातचीत में बताया कि उनकी तैयारी के दौरान विभिन्न विषम परिस्थितियों का सामना करना पड़ा, लेकिन उन्होंने कभी हार नहीं मानी। वे हमेशा आगे बढ़ने के लिए तैयार रहे और इसका अंत यही हुआ कि उन्हें उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की सहायक सांख्यिकी अधिकारी के पद पर चयन किया गया। उनकी सफलता उनके परिवार के लिए गर्व का विषय बनी है।

अमित के पिता, श्री श्याम सुंदर द्विवेदी भी उनके सफलता पर अत्यंत गर्वित हैं। वे बताते हैं कि उनके बेटे ने उनके सपने को पूरा कर दिखाया है। उन्हें यह बात बहुत अच्छी लगती है कि उनका बेटा अब अफसर है और समाज के लिए काम कर रहा है। द्विवेदी सांझा करते हैं कि उन्हें अपने बेटे पर अत्यधिक गर्व है और वह उसकी आत्मविश्वास और संघर्ष शक्ति को सराहते हैं।

Success Story : असफलताओं के साथ सामना किया और सीखा

अमित ने अपनी तैयारी के दौरान नौकरी भी की, ताकि उनकी जरूरतों को पूरा कर सकें। उन्होंने बताया कि उनकी मेहनत और दृढ़ संकल्प ने उन्हें उस स्थिति तक पहुंचाया, जहां वे आज हैं। उन्होंने जीवन में आने वाली असफलताओं के साथ सामना किया और उनसे सीखा कि किसी भी हालत में हार नहीं माननी चाहिए।

अमित द्विवेदी अपने संघर्ष की कहानी को सुनाते हुए कहते हैं, “जीवन का हर कठिनाई मुकाबला करना आपको मजबूत बनाता है। मैंने अपनी लगन और इस्टीमाल के बल पर अपना सपना पूरा किया है।” वे आगे बढ़ने और नए लक्ष्यों को हासिल करने के लिए तैयार हैं।

इस गहराई से भरी कहानी में अमित द्विवेदी की मेहनत, लगन और अद्वितीय संघर्ष की झलक साफ दिखती है। उनके इस सफलता के संदेश से यह साबित होता है कि जीवन के हर मोड़ पर हार नहीं माननी चाहिए, बल्कि उससे लड़ना चाहिए और अपने सपनों को पूरा करने के लिए जुट जाना चाहिए।