78th Independence Day : बीच समुद्र में लहराया भारत का तिरंगा, आज़ादी के जश्न में शामिल रहे छत्तीसगढ़ के जितेन्द्र और विदेशी अधिकारी

Independence Day On Ocean, 78th Independence Day

Independence Day On Ocean, 78th Independence Day : 15 अगस्त को भारत अपना 78वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा है।भारत का स्वतंत्रता दिवस इस साल एक अनोखे अंदाज में मनाया गया। चीफ इंजीनियर जितेंद्र प्रसाद सिंह और उनकी क्रू की पूरी टीम ने समुद्र में जश्न मनाया है। भारतीय जहाज सैन फ्रांसिस्को से ग्वाटेमाला की ओर 8 दिनों की समुद्री यात्रा पर है। क्रू ने समुद्र के बीच में अपने स्वतंत्रता दिवस का जश्न मनाया। इस यात्रा का हिस्सा बने चीफ इंजीनियर जितेंद्र प्रसाद सिंह और उनकी पूरी क्रू टीम ने मिलकर इस विशेष अवसर को खास बना दिया।

सैन फ्रांसिस्को से ग्वाटेमाला के लिए निकला इस जहाज ने अपनी 8 दिनों की यात्रा के दौरान समुद्र के बीच में स्वतंत्रता दिवस का उत्सव आयोजित करने का फैसला किया। यह निर्णय जहाज की क्रू के लिए एक महत्वपूर्ण क्षण था क्योंकि यह उनकी मातृभूमि की स्वतंत्रता को सम्मान देने का एक अनूठा तरीका था। जब वे समुद्र की गहराइयों में थे और किसी भी भूमि से दूर थे।

चीफ इंजीनियर जितेंद्र प्रसाद सिंह ने निभाई महत्वपूर्ण भूमिका

चीफ इंजीनियर जितेंद्र प्रसाद सिंह छत्तीसगढ़ के अंबिकापुर से हैं। उन्होंने इस समारोह को संयोजित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनके नेतृत्व में जहाज के डेक पर स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर एक भव्य समारोह का आयोजन किया गया। भारतीय ध्वज को गर्व के साथ फहराया गया और भारतीय संस्कृति की झलक प्रस्तुत की गई। इस विशेष दिन पर, जहाज के क्रू ने भारत की स्वतंत्रता की 77वीं वर्षगांठ को समर्पित करते हुए भारतीय राष्ट्रगान का गायन किया और स्वतंत्रता संग्राम के नायकों को श्रद्धांजलि अर्पित की।

अन्य देशों के क्रू मेंबर भी शामिल

स्वतंत्रता दिवस की इस खुशी में सिर्फ भारतीय क्रू सदस्य ही नहीं, बल्कि अन्य देशों के क्रू मेंबर भी शामिल हुए। विभिन्न राष्ट्रीयताओं के क्रू सदस्य इस आयोजन का हिस्सा बनकर भारतीय स्वतंत्रता की खुशी में शामिल हुए। यह समारोह अंतरराष्ट्रीय एकता और सहयोग का प्रतीक था, जो समुद्र के बीच भी सभी को एकजुट कर गया।

समारोह की शुरुआत भारतीय ध्वज के सम्मान के साथ

समारोह की शुरुआत भारतीय ध्वज के सम्मान के साथ हुई, जिसे पूरे आदर और गर्व के साथ फहराया गया। इसके बाद स्वतंत्रता संग्राम के शहीदों की वीरता और बलिदान की कहानियों का स्मरण किया गया। चीफ इंजीनियर जितेंद्र प्रसाद सिंह ने अपने संबोधन में कहा “यह हमारे लिए गर्व का क्षण है कि हम समुद्र के बीच अपनी मातृभूमि की स्वतंत्रता का उत्सव मना सके। यह हमें याद दिलाता है कि स्वतंत्रता की भावना कहीं भी और कभी भी जीवित रहती है।”

समुद्र के बीच मनाए गए इस स्वतंत्रता दिवस ने साबित कर दिया कि भारत की स्वतंत्रता की भावना केवल सीमाओं तक सीमित नहीं है, बल्कि यह हर भारतीय के दिल में बसी हुई है। यह विशेष अवसर न केवल भारतीय संस्कृति और इतिहास की महत्ता को दर्शाता है, बल्कि यह भी दिखाता है कि देश की एकता और अखंडता को संजोने का संकल्प हर जगह और हर समय कायम रहता है। समुद्र की लहरों के बीच इस स्वतंत्रता दिवस ने भारतीय संस्कृति और एकता की अनूठी मिसाल प्रस्तुत की, जो सभी के दिलों को छू गई।