Chandipura Virus Alert Explainer : 15 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए काल बन रहा यह वायरस, संक्रमण से अब तक 44 की मौत, तीन राज्यों में बढ़ा खतरा

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Chandipura Virus Alert Explainer, Virus Infection, Chandipura Virus Infection, Chandipura virus, Virus Attack, Virus Alert : देश में एक बार फिर से खतरनाक वायरस फैल रहा है। लगातार इसके मामले में बढ़ोतरी देखी जा रही है। दरअसल चांदीपुरा वायरस का असर देश के तीन सबसे प्रमुख राज्यों में देखने को मिल रहा है। गुजरात के अलावा मध्य प्रदेश और राजस्थान में इसके मामले सामने आ रहे है। हालांकि इसका सबसे ज्यादा असर गुजरात में देखने को मिला है। गुजरात में अब तक इस वायरस से 44 लोगों की जान जा चुकी है जबकि 54 से अधिक मामले सामने आए है।

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गुजरात में चांदीपुरा वायरस (CPHV) के मामलों में लगातार बढ़ोतरी देखी जा रही है, जिससे राज्य के स्वास्थ्य विभाग और नागरिकों में चिंता का माहौल बन गया है। राज्य में वर्तमान में चांदीपुरा वायरस से संक्रमित मरीजों की कुल संख्या 124 हो गई है। इस वायरस की वजह से अब तक 44 मरीजों की मौत हो चुकी है, जबकि 54 मरीज अस्पतालों में भर्ती हैं।

राज्य में बढ़ते मामले

ताजा आंकड़ों के अनुसार, चांदीपुरा वायरस के मामलों में व्यापक वृद्धि हुई है। इन जिलों और नगर निगमों में संक्रमित मामलों की संख्या इस प्रकार है:

  • साबरकांठा: 12 मामले
  • अरावली: 09 मामले
  • महिसागर: 02 मामले
  • खेड़ा: 06 मामले
  • मेहसाणा: 07 मामले
  • राजकोट: 05 मामले
  • सुरेंद्रनगर: 04 मामले
  • अहमदाबाद कॉर्पोरेशन: 12 मामले
  • गांधीनगर: 06 मामले
  • पंचमहल: 15 मामले
  • जामनगर: 06 मामले
  • मोरबी: 05 मामले
  • गांधीनगर निगम: 03 मामले
  • छोटाउदेपुर: 02 मामले
  • दाहोद: 02 मामले
  • वडोदरा: 06 मामले
  • नर्मदा: 02 मामले
  • बनासकांठा: 05 मामले
  • वडोदरा निगम: 02 मामले
  • भावनगर: 01 मामला
  • देवभूमि द्वारका: 01 मामला
  • राजकोट निगम: 04 मामले
  • कच्छ: 03 मामले
  • सूरत निगम: 02 मामले
  • भरूच: 03 मामले
  • अहमदाबाद: 01 मामला
  • जामनगर निगम: 01 मामला

संक्रमण के प्रभाव और गंभीरता

चांदीपुरा वायरस के मामलों में वृद्धि ने स्वास्थ्य विशेषज्ञों को गंभीर चिंताओं में डाल दिया है। इस वायरस के संक्रमण से उत्पन्न होने वाले एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम (AES) के मामलों में वृद्धि देखी जा रही है। AES मस्तिष्क में सूजन का कारण बनता है, जिससे गंभीर स्वास्थ्य समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं। जून से अब तक तीन राज्यों – गुजरात, राजस्थान और मध्य प्रदेश में 15 वर्ष से कम आयु के बच्चों में AES के 78 मामले सामने आ चुके हैं।जिनमें से अधिकांश मामले गुजरात में हैं।

चांदीपुरा वायरस क्या है?

चांदीपुरा वायरस एक रैबडोविरिडे फैमिली का सदस्य है। जो मुख्यतः ग्रामीण इलाकों में फैलता है। यह वायरस बुखार और फ्लू जैसे लक्षणों के साथ शुरू होता है और अगर समय पर उपचार नहीं मिल पाए तो यह मस्तिष्क की सूजन (इंसेफेलाइटिस) का कारण बन सकता है। गंभीर मामलों में, यह कोमा और मृत्यु का कारण भी बन सकता है। इसके संक्रमण की मृत्यु दर 56 से 75 प्रतिशत तक हो सकती है।

स्वास्थ्य मंत्रालय की समीक्षा

चांदीपुरा वायरस के बढ़ते मामलों को लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने विशेषज्ञों के साथ मिलकर गुजरात, राजस्थान और मध्य प्रदेश में स्थिति की समीक्षा की है। स्वास्थ्य सेवा महानिदेशक (डीजीएचएस) डॉ. अतुल गोयल ने एम्स, निमहंस और अन्य राज्य निगरानी इकाइयों के विशेषज्ञों के साथ इस वायरस के प्रभाव का अध्ययन किया है। मंत्रालय ने कहा कि गुजरात में इस वायरस का प्रभाव सबसे अधिक देखा जा रहा है।

स्वास्थ्य मंत्री का बयान

गुजरात के स्वास्थ्य मंत्री रुशिकेश पटेल ने बताया कि राज्य में अब तक चांदीपुरा वायरस के 50 मामले सामने आ चुके हैं और 16 लोगों की मौत हो चुकी है। राजस्थान और मध्य प्रदेश से भी वायरस के तीन मामले रिपोर्ट किए गए हैं। बढ़ते संक्रामक रोग को लेकर लोगों में डर देखा जा रहा है।

चांदीपुरा वायरस का संक्रमण वर्तमान में गुजरात और अन्य पड़ोसी राज्यों में चिंता का विषय बना हुआ है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों और सरकारी अधिकारियों की ओर से सावधानी और जागरूकता बढ़ाने के प्रयास किए जा रहे हैं।