जांजगीर चाम्पा। डां रामलाल धृतलहरे, पिता श्आन्दराम धृतलहरे तत्कालीन मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ अधिकारी जांजगीर जिला जांजगीर चाम्पा गोपनीय सुचना प्राप्त हुई थी। कि उनके द्वारा अपने तथा अपने परिवार वालों के नाम पर अधिक मात्रा में चल, अचल सम्पत्ति का संग्रह किया गया है। डां रामलाल धृतलहरे अपने तथा अपनी पत्नी एवं अपने पुत्र के नाम पर चल, अचल सम्पत्ति कय कर एकत्रित की है। सुचना की गोपनीय तस्दीर करने पर पाया गया कि डां रामलाल धृतलहरे ने लोक सेवक होते हुए अपने आय के ज्ञात स्त्रोतो से अधिक असामानुपात सम्पत्ति अर्जित की है।
विवेचना में संकलित सम्पूर्ण साक्ष्य के आधार पर यह पाया गया कि आरोपी डा. रामलाल धृतलहरे आत्मज आनन्द राम धृतलहरे पद तत्कालीन मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ अधिकरी जांजगीर ने अपने सासकीय सेवा के दौरान आलोच्य अवधि में अपने आय के ज्ञात एवं वैध स्त्रोतो से प्राप्त आय 1,10,64,532 रू. की तुलना में 2,60,63,129 रू. का व्यय किया गया है। जो कि उनके आय के ज्ञात एवं वैध स्त्रोत की तुलना में प्राप्त आय से 1,49,98,597 रू. अधिक है जो कि 135.55 प्रतिशत असमानुपातिक है। जिसके संबंध में आरोपी संतोष जनक लेखा जोखा करने में असफल रहा है। आरोपी का उक्त कृत्य भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की धारा 13 (1). इ 13 (2) का अपराध घटित करने के पर्याप्त साक्ष्य उपलब्ध रहने के आरोपी के विरूद्ध अभियोग पत्र तैयार किया गया। आरोपी को अभियोजित करने के लिए पर्याय साक्ष्य उपलब्ध है। विवेचना पूर्ण कर अभियोग पत्र मामनीय न्यायलय के समक्ष प्रस्तुत किया . जिसमें माननीय न्यायलय ने डां राम लाल घृतलहरे की जमानत याचिका स्वीकार करते हुऐ जमानत दी।
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