अम्बिकापुर : वैज्ञानिक अभिरुचि जगाने 1000 आदिवासी औऱ गरीब बच्चो को निशुल्क कोचिंग

अम्बिकापुर 

  • विद्यार्थियों में वैज्ञानिक अभिरूचि जागृत करने 
  • कलेक्टर ने किया कोचिंग का शुभारम्भ
  • 500-500 छात्र-छात्राओं को दी जाएगी कोचिं

 

सरगुजा कलेक्टर श्रीमती ऋतु सैन ने आज कन्या शिक्षा परिसर अम्बिकापुर में जिले के अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति एवं बी.पी.एल. वर्ग के छात्र-छात्राओं में वैज्ञानिक अभिरूचि जागृत करने के उद्देश्य से संचालित कोचिंग कक्षाओं का शुभारंभ किया। जिला प्रशासन के सौजन्य से आयोजित इन कोचिंग कक्षाओं में टेस्ट 2014 के तहत चयनित जिले के 500 छात्र एवं 500 छात्राओं को कोचिंग दिए जाने का लक्ष्य है। कोचिंग के लिए अम्बिकापुर विकासखण्ड के हाई स्कूलों से 80-80 छात्र-छात्रा तथा लखनपुर, मैनपाट, बतौली, सीतापुर, उदयपुर एवं लुण्ड्रा विकासखण्ड के हाई स्कूलों से 70-70 छात्र-छात्राओं का चयन किया गया है। अम्बिकापुर के जिला शिक्षा अधिकारी श्री आर.पी.आदित्य कोचिंग के नोडल अधिकारी बनाए गए हैं। विद्यार्थियों के भोजन और आवास की जिम्मेदारी अम्बिकापुर के विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी श्री एस.पी. जायसवाल को सौंपी गई है।

 

कोचिंग के शुभारंभ अवसर को संबोधित करते हुए कलेक्टर श्रीमती सैन ने कहा कि विज्ञान के विभिन्न विषयों में रूचि उत्पन्न करने के उद्देश्य से इस कोचिंग का संचालन किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि इस जिले सहित राज्य स्तर भी विज्ञान विषयों के अभ्यर्थियों की कमी के कारण विभिन्न विभागों में रिक्तियां नहीं भरी जा सकी हैं। दूरस्थ अंचलों में कई प्रतिभावान विद्यार्थी अध्ययनरत रहते हैं, किन्तु कुछ आवश्यक सूचनाओं, जानकारियों एवं मार्गदर्शन के अभाव में ऐसे बच्चे अपनी प्रतिभा के अनुरूप कैरियर का चुनाव नहीं कर पाते। टेस्ट 2014 में ऐसे ही बच्चों का चयन कर इस कोचिंग के माध्यम से हम उनके अभिरूचि के अनुरूप उचित सूचनाएं, जानकारियां और मार्गदर्शन प्रदान करेंगे, ताकि वे अपने उज्जवल भविष्य का निर्माण कर समाज और राष्ट्र के विकास में अपनी महती भागीदारी सुनिश्चित कर सकें। उन्होंने कहा कि सीखने के लिए बच्चों में अभिरूचि और जिज्ञासा का होना नितान्त आवश्यक है। कोचिंग में विभिन्न विषयों के विशेषज्ञों द्वारा बच्चों को विज्ञान की मूलभूत जानकारियां सहित आगे की पढ़ाई के लिए आवश्यक मार्गदर्शन दिया जाएगा। दसवीं कक्षा उत्तीर्ण करने के बाद विद्यार्थी किन-किन क्षेत्रों में जा सकते हैं, उनके लिए किस तरह की संस्थाएं उपलब्ध हैं ? उनमें प्रवेश के लिए किस समय पर फार्म भरे जाते हैं और उसके लिए किन प्रमाण पत्रों की आवश्यकता होती है, आदि जानकारियां उपलब्ध कराई जाएंगी।

COLLECTOR RITU SEN 2

श्रीमती सैन ने कहा कि विद्यार्थियों को गढ़ने में शिक्षक की भूमिका अहम है, किन्तु बच्चों में भी ज्ञान प्राप्त करने की तीव्र लालसा हो, यह भी जरूरी है। उन्होंने मूर्तिकार और पत्थर की कहानी के माध्यम से बच्चों को बहुत ही सहज भाव से यह बताने का प्रयास किया कि कुछ बनने के लिए, कुछ बेहतर करने के लिए स्वयं को तैयार करना होगा, कुछ कष्ट भी सहने हांेगे, अभिमान का त्याग करना होगा, स्वयं को गुरू के प्रति समर्पित करना होगा- तभी आप एक बेहतर मुकाम हासिल कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि हमारा भविष्य हमारी सोच के अनुसार ही तय होता है, इसलिए अच्छा सोचें और उत्कृष्टता हासिल करें। उन्होंने बच्चों से आग्रह किया कि वे अपने प्रश्नों के माध्यम से जिज्ञासाओं का समाधान करें, कोचिंग की सार्थकता को समझते हुए पूरे मनोयोग से अच्छी बातों को ग्रहण करें, तभी प्रशासन की यह पहल सार्थक होगी। कलेक्टर ने बताया कि बेहतर प्रदर्शन करने वाले विद्यार्थियों और शिक्षकोें को पुरस्कृत किया जाएगा। उन्हें देश के महत्वपूर्ण संस्थानों के भ्रमण पर भेजा जाएगा, ताकि वे अपने कैरियर के लिए उत्कृष्ट संस्थान का चयन कर सकंे।
विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए पुलिस अधीक्षक श्री सुन्दरराज पी ने बच्चों से कहा कि स्वस्थ तन में ही स्वस्थ मन का निर्माण होता है, अतएव अच्छी पढ़ाई-लिखाई के लिए स्वस्थ रहना भी जरूरी है। इसके लिए उन्होंने बच्चों को पोषणयुक्त आहार सहित उचित जीवनचर्या को अपनाने की समझाईश दी। उन्होंने कहा कि आपके बाल मनोभावों का कोई गलत इस्तेमाल न करे-इसके लिए भी सचेत रहना होगा। उन्होंने बच्चों से हमेशा सकारात्मक भाव से कार्य करने का आह्वान किया। सहायक कलेक्टर श्री अभिजित सिंह ने भी बच्चों को प्रेरक उद्बोधन देकर प्रोत्साहित किया। डीईओ द्वारा कोचिंग के उद्देश्यों के बारे में विस्तारपूर्वक बताया गया। कार्यक्रम की शुरूआत में अतिथियों द्वारा माॅ सरस्वती की प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं द्वीप प्रज्जवलन किया गया। बालिकाओं द्वारा सरस्वती वंदना तथा स्वागत गीत की प्रस्तुति भी दी गई। इस अवसर पर अपर कलेक्टर श्री एन.एन. एक्का, डिप्टी कलेक्टर श्री उज्जवल पोरावल, सर्व शिक्षा अभियान के एपीसी श्री राजेश सिंह, आरएमएसए के सहायक परियोजना अधिकारी श्री भरत अग्रवाल, बीईओ श्री एस.पी. जायसवाल, प्राचार्य श्री दिवाकर शर्मा सहित अन्य अधिकारी, शिक्षकगण तथा विभिन्न विकासखण्डों से आए विद्यार्थी उपस्थित थे।

 

कोचिंग की समय -सारणी
कोचिंग कक्षाओं में गणित, जीव विज्ञान, भौतिकी एवं रसायन विज्ञान सहित इंग्लिश लिटरेचर एवं स्पोकन इंग्लिश की कोचिंग दी जाएगी। इसके अतिरिक्त बच्चों को व्यकितत्व विकास एवं खेलकूद संबंधी मूलभूत जानकारियां भी प्रदान की जाएंगी। बच्चों को भोजन एवं आवास की निःशुल्क सुविधा उपलब्ध कराई गई है। कोचिंग कक्षाएं प्रातः 9.30 बजे से प्रारंभ होकर सायं 7 बजे तक संचालित होंगी। एक पीरिएड के लिए 1 घण्टा का समय निर्धारित किया गया है। कक्षाओं के बीच में 12.30 से 2.30 बजे तक तथा 3.30 से 4.30 तक अवकाश रहेगा।

 

कोचिंग एवं आवासीय स्थल
विभिन्न हाई स्कूलों से आए छात्र-छात्राओं के लिए कोचिंग एवं आवास की अलग-अलग व्यवस्था की गई है। बालिकाओं को कन्या शिक्षा परिसर में तथा बालकों को शासकीय बहुउद्देशीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय अम्बिकापुर में कोचिंग प्रदान किया जाएगा। बालिकाओं की आवासीय व्यवस्था कन्या शिक्षा परिसर एवं कन्या क्रीड़ा परिसर स्थिल छात्रावासों में तथा बालकों की आवासीय व्यवस्था मल्टीपरपज कैम्पस स्थित छात्रावास एवं नेहरू छात्रावास-नावापारा में की गई है।