रायपुर। इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन को लेकर किए जा रहे संशय को दूर करने के लिए भारत निर्वाचन आयोग द्वारा प्रत्येक ईवीएम से जोड़ी गई वीवीपैट (वोटर वेरिफाइड पेपर आडिट ट्रेल) मशीन इस बार के विधानसभा चुनाव में शहरी मतदान केंद्रों पर 1400 व ग्रामीण मतदान केंद्रों पर 1200 मतों को ही दिखाएगी। मतदान केंद्रों पर मतदाता अधिक होने की स्थिति में या तो मतदान केंद्र बढ़ाया जाएगा या फिर ईवीएम व वीवीपैट मशीन। पूर्व मतदान में भी वीवीपैट का उपयोग किया गया था पर उसमें यह ईवीएम से जुड़ी थी और प्रत्येक मत को दिखाने की क्षमता थी। इस बार वीवीपैट मशीन की सीमा को फिक्स कर दिया गया है। ऐसे में प्रशासन यह सुनिश्चित करने में लगा है कि प्रत्येक मतदान केंद्र पर 1400 मत (नगरीय) व 1200 मत (ग्रामीण) ही रहे। निर्वाचन आयोग ने वैसे इस सीमा को पहले से ही मेंटेन किया है पर इस बार मतदाताओं की संख्या बढ़ने से यह गणित गड़बड़ न हो जाए इसके लिए गुणा-भाग किया जा रहा है। मतदाता सूची के अंतिम प्रकाशन के बाद यह निर्धारित किया जाएगा कि किस बूथ पर कितने मतदाता हैं। वीवीपैट के हिसाब से बूथ पर मतदाताओं को मतदाता सूची में रखा जाएगा, जहां मतदाताओं की संख्या अधिक होगी वहां नए बूथ स्थापित किए जाएंगे। बढ़ने वाले मतदान बूथों की संभावित संख्या के हिसाब से प्रशासन ने अपनी तैयारियों को प्रारंभ कर दिया है।