
बीजापुर। छत्तीसगढ़ के बीजापुर-दंतेवाड़ा अंतरजिला सीमा स्थित पश्चिम बस्तर डिवीजन में बुधवार सुबह सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच शुरू हुई मुठभेड़ ने उग्र रूप ले लिया। सुबह लगभग 9 बजे डीआरजी दंतेवाड़ा-बीजापुर, एसटीएफ और सीआरपीएफ कोबरा की संयुक्त टीम सर्च ऑपरेशन पर जंगलों की ओर रवाना हुई थी। अभियान के दौरान नक्सलियों की ओर से लगातार रुक-रुक कर फायरिंग की जाती रही, जिसके जवाब में सुरक्षाबलों ने आक्रामक पलटवार किया।
कड़ी कार्रवाई के बीच मौके से अब तक सात नक्सली कैडरों के शव बरामद किए जा चुके हैं। वहीं देश की रक्षा करते हुए डीआरजी बीजापुर के दो बहादुर जवान प्रधान आरक्षक मोनू वडाड़ी और आरक्षक दुकारू गोंडे वीरगति को प्राप्त हुए। मुठभेड़ के दौरान एक अन्य जवान सोमदेव यादव घायल हो गए, जिनका उपचार जारी है।
बस्तर आईजी सुंदरराज पट्टलिंगम के अनुसार मुठभेड़ स्थल से एसएलआर और .303 राइफलों सहित कई हथियार और गोला-बारूद जब्त किए गए हैं। मारे गए माओवादियों की पहचान की प्रक्रिया जारी है। क्षेत्र में अभी भी सर्च ऑपरेशन जारी है और अतिरिक्त रीइन्फोर्समेंट टीमों को मौके पर भेजा गया है। सुरक्षा बलों ने इलाके को घेराबंदी कर पूरी तरह कॉर्डन कर लिया है और जंगलों की गहन तलाशी ली जा रही है।
अधिकारी ने बताया कि अभियान जारी रहने के कारण विस्तृत जानकारी ऑपरेशन पूर्ण होने पर साझा की जाएगी। सुरक्षाबलों की यह कार्रवाई नक्सल विरोधी अभियान में बड़ी सफलता मानी जा रही है।
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