कलम की ताकत से जनता की आवाज तक, सैयद तजमुल इस्लाम का पत्रकारिता से राजनीति तक का सफर, पीडीपी ने बांदीपोरा से दी जिम्मेदारी

श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर की राजनीति में एक महत्वपूर्ण मोड़ तब आया जब वरिष्ठ पत्रकार और राजनीतिक विश्लेषक सैयद तजमुल इस्लाम ने जम्मू-कश्मीर पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) के साथ अपना राजनीतिक सफर शुरू किया। पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान उन्हें बांदीपोरा निर्वाचन क्षेत्र से आगामी 2024 के चुनावों के लिए पार्टी का उम्मीदवार घोषित किया।

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सैयद तजमुल इस्लाम, जिन्होंने दो दशकों से अधिक समय तक विभिन्न प्रमुख मीडिया संस्थानों में काम किया है, ने पत्रकारिता से लेकर राजनीति तक का सफर तय किया है। उनका अनुभव ईटीवी न्यूज, जी सलाम, फर्स्ट इंडिया न्यूज इंटरनेशनल, भारत 24, और सेन चैनल श्रीनगर/कश्मीर जैसे प्रतिष्ठित चैनलों के साथ जुड़ा रहा है। उनकी पत्रकारिता की गहराई और विश्लेषणात्मक दृष्टिकोण ने उन्हें कश्मीर के सामाजिक और राजनीतिक परिदृश्य में एक महत्वपूर्ण स्थान दिलाया।

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मीडिया के क्षेत्र में इतने लंबे समय तक काम करने के बाद, सैयद तजमुल इस्लाम ने राजनीति में आने का फैसला किया। पीडीपी में शामिल होते हुए उन्होंने लोकतंत्र की महत्ता और विचारों की स्वतंत्रता पर जोर दिया। उन्होंने कहा, “विचारों को दबाया या नियंत्रित नहीं किया जा सकता है। लोकतंत्र में विविध दृष्टिकोणों का सम्मान होना चाहिए, और यही वह मूल्य है जो मुझे पीडीपी से जोड़ता है।”

राजनीति में उनके प्रवेश को लेकर महबूबा मुफ्ती ने भी तजमुल इस्लाम की बौद्धिक और राजनीतिक सूझबूझ की सराहना की। उन्होंने आशा जताई कि उनके अनुभव और विचारधारा से पार्टी को बांदीपोरा क्षेत्र में एक नई दिशा मिलेगी। तजमुल इस्लाम ने भी बारामुल्ला जिले में पीडीपी और महबूबा मुफ्ती के योगदान की सराहना की, और आने वाले चुनावों में बांदीपोरा को पुनर्जीवित करने का संकल्प लिया।

सैयद तजमुल इस्लाम ने अपने वक्तव्य में कहा, “राजनीति सिर्फ सत्ता हासिल करने का माध्यम नहीं है, बल्कि इसका उद्देश्य न्याय और सामाजिक प्रगति के सिद्धांतों की रक्षा करना है।” उनके इस विचार ने उनकी गहरी सामाजिक प्रतिबद्धता को उजागर किया, जो पत्रकारिता से राजनीति तक की उनकी यात्रा का आधार है।

मुफ्ती मोहम्मद सईद द्वारा स्थापित मूल्यों और सिद्धांतों के प्रति उनकी निष्ठा और समाज के लिए बेहतर भविष्य की कामना ने सैयद तजमुल इस्लाम को इस नई भूमिका के लिए प्रेरित किया है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि उनका राजनीतिक सफर किस दिशा में आगे बढ़ता है और कैसे वे अपने अनुभव और दृष्टिकोण का उपयोग करते हुए बांदीपोरा और पूरे जम्मू-कश्मीर के विकास के लिए काम करते हैं।