बिलासपुर। एक दिन पहले दुर्ग के बाल संप्रेक्षण गृह से भागे आरोपी किशोर की सरकंडा के अरपा नदी में सुबह लाश मिली थी। गला रेतकर उसकी हत्या की गई थी। एक दिन पहले 1 मई की सुबह 8 बजे वह अपने 6 अन्य साथियों के साथ वहां से फरार हो गया था। पुलिस ने जांच की तो हत्या का राज खुला।
वह चोरी के आरोप में कई बार जेल जा चुका था। साथियों को बताया कि उसने करीब 10 लाख रुपए सरकंडा के चिंगराजपारा श्मशान घाट में गाड़कर रखा है। सभी लालच में आ गए और संप्रेक्षण गृह से भागकर बिलासपुर पहुंचे। यहां किशोर उन्हें इधर-उधर घुमाता रहा। रकम नहीं मिली तो सभी ने मिलकर धारदार हथियार से उसकी हत्या कर दी और भाग निकले।
इनमें से एक भिलाई में पकड़ा गया। पुलिस पूछताछ में उसने पूरी कहानी बताई। चिंगराजपारा से शनिचरी जाने वाले मार्ग पर अरपा नदी के किनारे सुबह पानी में उसकी लाश मिली। पुलिस मौके पर पहुंची। कांस्टेबल प्रमोद सिंह ने शव की पहचान चिंगराजपारा राजीव नगर निवासी राहुल साहू उर्फ सुंडा पिता रामप्रसाद साहू (17 वर्ष) के रूप में की।
वह आदतन चोर था। किसी ने गला रेतकर उसकी हत्या कर दी थी। शव नदी में पड़ा था और नदी के बाहर घसीटने के निशान थे। वहां पर खून भी फैला हुआ था। पुलिस ने शव को बाहर निकलवाकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया। टीआई परिवेश ने किशोर के घरवालों को घटना की जानकारी दी। खबर मिलते ही पिता रामप्रसाद सहित परिजन मौके पर पहुंचे। पिता ने बताया कि राहुल को करीब 5 माह पहले चोरी के किसी मामले में दुर्ग पुलिस ने गिरफ्तार किया था।
रामप्रसाद ने बताया कि राहुल के भागने के बारे में भी उन्हें पता नहीं था और न ही वह घर आया था। बिलासपुर आया तो वह घर क्यों नहीं गया, यह जांच का विषय है। राहुल के साथ भागे हुए किशोर भी उसके साथ आए थे या नहीं। पुरानी रंजिश भी पुलिस देख रही है।
राहुल दुर्ग से शहर कैसे पहुंचा और उसके साथ कौन था, इसका पता लगाने के लिए पुलिस बिलासपुर रेलवे स्टेशन पर लगे सीसीटीवी कैमरे का फुटेज खंगाल रही है।
सरकंडा पुलिस के अनुसार दुर्ग संप्रेक्षण गृह से राहुल के भागने की सूचना नहीं दी गई है। जबकि किसी के भागने पर उस जिले के संबंधित थाना क्षेत्र को इसकी सूचना देना जरूरी होता है।
किशोर नाश्ता देने के समय चैनल गेट को फैलाकर व केयर टेकर से मारपीट कर भागे थे। पुलगांव थाने में इसकी सूचना दी गई थी। भागने वालों में दो किशोर हत्या के आरोपी थे।