सूरजपुर. जिले के सिलफिली गांव सब्जी के साथ ही अपने दूध उत्पादन के लिए चर्चित है. इसी को देखते हुए राज्य सरकार की मदद से यहां पर कुछ साल पहले मिल्क प्रोसेसिंग प्लांट स्थापित किया गया था. जिसमे आस पास के दूध उत्पादक किसानो का दूध लेकर पनीर, दही जैसे उत्पाद तैयार किए जाते हैं. लेकिन कोरोना संकट का असर सिलफिली के मिल्क प्रोसेसिंग प्लांट मे भी पडा है.
प्लांट की निगरानी करने वाले अधिकारियो के मुताबिक कोरना संकट के पहले प्लांट मे किसानो का करीब हजार , बारह सौ लीटर दूध आता था. जिसको पडोसी जिले कोरिया के साथ सूरजपुर और अम्बिकापुर शहर के मिल्क प्वाईंट मे बिक्री के लिए भेजा जाता था. साथ ही कुछ दूध से पनीर और दही बनाकर विक्रय किया जाता था. लेकिन कोरोना के कारण इस मिल्क प्रोसेसिंग प्लांट मे भी संकट गहरा रहा है. क्योकि कोरोना संकट के बीच यहां किसानो के द्वारा लाए जाने वाले दूध की मात्रा हजार लीटर से बढकर करीब 15 सौ लीटर तक पहुंच गई है.
लॉक डाउन के कारण दूध दूसरे जिलो मे नहीं जा पा रहा है. लिहाजा सूरजपुर कलेक्टर दीपक सोनी के निर्देश पर यहां दूध और पनीर विक्रय के बाद अतिरिक्त बचने वाले दूध से खोवा और मिठाई बनाई जा रही है. जिसको लोगो की डिमांड पर सूरजपुर औऱ अम्बिकापुर मे लोगो के घरो तक पहुंचाया जा रहा है.